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यूक्रेन से वापस वतन लौटे छात्र ने सुनाई आपबीती की दास्तान, कहा- पल-पल डर के साये में गुजर रहा था समय
यूक्रेन से वापस फ़िरोज़ाबाद के सिरसागंज लौटे छात्र ने यूक्रेन में मौजूदा परिस्थितियों के बारे में बताया। छात्र ने कहा रूस यूक्रेन तनाव के कारण पल-पल डर के साये में गुजर रहा था समय, घर आकर मिली खुशी।
फ़िरोज़ाबाद। जिले के सिरसागंज के आशुतोष जैन ने 2017 से यूक्रेन में रहकर ओडेषा नेशनल यूनिवर्सिटी (Odesa National Medical University) में डॉक्टरी की पढाई की शुरूआत की थी, आशुतोष ने 4 साल से अधिक वहाँ पढ़ाई की लेकिन पिछले दिनों उनके परिवार को रूस-यूक्रेन तनाव (Russia-Ukraine tension) की खबर मिली। परिवार ने जब सुना कि यूक्रेन पर रूसी आक्रमण का साया मंडरा रहा है तब सभी चिंतित हो गए।
विदेश में रह रहे अपने बेटे आशुतोष से उनके माता पिता ने बात की तो वह भी काफी चिंतित होने लगे और बेटे को घर पर वापिस आने के लिये कहा, तो बेटे ने भी कहा कि यहां के हालात बेहद डराने वाले हैं, यहां पढ़ने वाले छात्र छात्राएं काफी परेशान हैं, तो आशुतोष के परिवार वालों ने उसे घर वापिस आने के लिए बोल दिया। आशुतोष 18 फरवरी 2022 को फ्लाइट से अपने घर वापस आ गये, उनके आने से परिवार में काफी खुशी है लेकिन आशुतोष की माने तो उनके जैसे काफी स्टूडेंट अभी भी वहां फंसे हुए हैं।
आशुतोष जैन स्टूडेंट मेडिकल कॉलेज यूक्रेन से वापस आने के बाद बताया की रूस-यूक्रेन विवाद (Russia-Ukraine dispute) में लड़ाई की खबर हम सुन रहे थे, लेकिन हमारी यूनिवर्सिटी वालों ने कहा कि आप पढ़िए कोई चिंता की बात नहीं, जब हमने 2 दिन बाद एंबेसी वालों से बात की तो वह कहने लगे अगर आपको अपनी जान प्यारी है तो आप यह देश छोड़कर चले जाइये। अगर आपको रुकना है तो हम आपको सुरक्षा दे पाएंगे या नहीं दे पाएंगे आप सोच लीजिए। फिर हम जिस सिटी में पढ़ते थे वहां के एयरपोर्ट पर गए वहां से टिकट बुक कराए फिर हवाई जहाज से यूक्रेन से दुबई, दुबई से मुंबई और मुंबई से दिल्ली और दिल्ली से यहां आ गए।
अभी भी करीब 1 हज़ार भारतीय बच्चे यूक्रेन में हैं फंसे
आशुतोष ने बताया कि अभी भी करीब 1 हजार बच्चे वहां फंसे हुए हैं, जो वहां से आना चाह रहे हैं लेकिन फ्लाइट की जो टिकट है वो काफी महंगे हो चुके है, फिर भी धीरे-धीरे लोग वहां से आ रहे हैं। वहां स्थिति यह हो गई है कि लोग सड़कों प्रदर्शन कर रहे हैं, कुछ लोग डर की वजह से कम निकल रहे हैं और डर की वजह से लोग वहां से आना चाह रहे हैं, कॉलेज वाले मना करते है कि आप मत जाइए। लेकिन हमें डर था, और घर वाले भी काफी पैनिक में रहे थे, तो हमें आना था अगर यह युद्ध होता है तो क्या स्थिति रहती है कितने लोग जिंदा रहते हैं, यूनिवर्सिटी ठीक रहती है यह हम नहीं कह सकते, और मैं सरकार से कहना चाहता हूं जो भी वहां फसे है उन्हें भी लाया जाए।
बेटे के वतन वापसी से मां खुश
आशुतोष जैन के यूक्रेन से आने के बाद परिवार में काफी खुशी है, उनकी मां संगीता जैन अपने बेटे के वापस आने के बाद उसे काफी दुलार कर रही हैं और मिठाई खिलाकर उसके माथे को चूम रही हैं कि वह सही सलामत वापस आ गया। आशुतोष की मां संगीता जैन ने बताया कि हमें बहुत खुशी है कि मेरा बेटा सही सलामत घर वापस आ गया। हमारे कई रिश्तेदारों ने कहा कि यूक्रेन और रूस में झगड़ा हो रहा है अपने बेटे को वापस बुला लीजिये, हमने फिर अपने बेटे को बोला कि हम टिकट करा दे रहे हैं लेकिन वह खुद टिकट करा कर वापस आ गया। हम तो सरकार से यही कहेंगे कि वहां पर जो लोग फंसे हुए हैं, जो स्टूडेंट फंसे हुए हैं उन्हें भी वापिस बुलाया जाए।
आशुतोष के पिता ने कहा
आशुतोष जैन के आने पर घर में रिश्तेदार और परिवार के लोग भी आ गए, आशुतोष ने वहां मेडिकल की पढ़ाई की ओर इस बार पांचवी साल थी लेकिन जिस तरह यूक्रेन में रूस में झगड़ा हुआ है उसके लेकर घर वाले बहुत भी चिंतित थे, और आशुतोष के पिता भी काफी चिंता में थे जब तक वह वापस नहीं आया।
आशुतोष जैन ने पिता ने बताया की मेरा बेटा यूक्रेन में पढ़ रहा था लेकिन हमें अभी इस बार लगा था की खबरें आ रही थी कि जो यूक्रेन और रूस में झगड़ा होने वाला है। इसको लेकर हम अपने बेटे से बराबर संपर्क में रहें, रात और दिन उससे बात की हम तो भगवान से प्रार्थना करें कि बच्चे का भविष्य अच्छा बन जाए यही हमारी इच्छा है, और जो लोग वहां फंसे हुए हैं उन्हें भी जल्द से जल्द भारत देश में लाया जाए।