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Jalaun News: जालौन में तेजी से फैल रहा वायरल बुखार, DM ने जिला अस्पताल का किया औचक निरीक्षण
Jalaun News: उत्तर प्रदेश का जालौन जिला कोरोना से मुक्त हो गया है। लेकिन अब रहस्यमयी बुखार का डर सताने लगा है।
जिला अस्पताल का औचक निरीक्षण करतीं डीएम प्रियंका निरंजन (डिजाइन फोटो:न्यूज़ट्रैक)
Jalaun News: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) का जालौन (Jalaun) जिला कोरोना से मुक्त हो गया है। लेकिन अब रहस्यमयी बुखार का डर सताने लगा है। जिले में दो मामले सामने आने के बाद जिला प्रशासन सतर्क हो गया है। जालौन जिलाधिकारी ने आज जिला अस्पताल का औचक निरीक्षण किया और डेंगू वार्ड का जायजा लिया।
बता दें कि प्रदेश भर में फैले रहस्यमयी बुखार के कहर अब जिले में भी हाहाकार मचने लगा है। गांव से लेकर शहरों तक वायरल बुखार व निमोनिया के मरीजों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। जिला अस्पताल से लेकर निजी अस्पतालों में बुखार के मरीजों की लंबी लाइन लगी रहती है। शुक्रवार को जिला अस्पताल में 975 मरीजों का ओपीडी हुआ। इसमें सात सौ से अधिक मरीज वायरल बुखार, निमोनिया तथा डायरिया से पीड़ित थे। यूपी के कुछ शहरों में सैकड़ों बच्चे रहस्यमयी बुखार से तप रहे हैं।
डेंगू वार्ड का निरीक्षण करतीं जिलाधिकारी प्रियंका निरंजन
जिले में दो रहस्यमयी बुखार के मामले सामने आए
अचानक बुखार इस कदर बढ़ जाता है कि सांसें थमने लगती हैं। वहीं जालौन के एट में रहस्यमयी बुखार के दो मामले सामने के बाद जिला प्रशासन हरकत में आ गया है। जालौन जिलाधिकारी प्रियंका निरंजन ने आज जिला अस्पताल में स्थापित ऑक्सीजन प्लांट का निरीक्षण किया। वहीं डेंगू वार्ड की तैयारी को लेकर डीएम डेंगू वार्ड का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने सीएमओ और सीएमएस को निर्देश दिए कि सारी तैयारियां पूरी करने के निर्देश दिए हैं।
डीएम प्रियंका निरंजन ने बताया ऑक्सीजन प्लांट का निरीक्षण किया गया है
वहीं डीएम प्रियंका निरंजन ने बताया कि ऑक्सीजन प्लांट का निरीक्षण किया गया और जो कमियां थी उन्हें दूर करने के निर्देश दिए गए हैं। जिले में 4 ऑक्सीजन प्लांट क्रियाशील हो चुके हैं। शासन के जो निर्देश प्राप्त हुए है उस आधार पर डेंगू को लेकर तैयारियां कर ली गई है।
उन्होंने आगे बताया कि डेंगू की दवाइयों बांटने को लेकर सीएमओ से कह दिया गया है। अल्ट्रासाउंड को लेकर एक महिला ने शिकायत की है। उसकी जांच के लिए सीएमओ से कह दिया गया है। डॉक्टर की कमी है. शासन स्तर पर उनकी संख्या बढ़ाने का प्रयास किया जा रहा है।