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चेतन हत्याकांड: चश्मदीद गवाह सावित्री की हत्या के बाद अब दामाद को गोलियों से भूना
जिले में क्राइम कंट्रोल होने का नाम ही नहीं ले रहा। बीते दिनों सरूरपुर में गवाह सावित्री की हत्या का मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि सोमवार (12 फ़रवरी) को बदमाशों ने सरधना में सावित्री के दामाद को गोलियों से भून डाला। बाइक सवार बदमाशों ने घटना को अंजाम दिया।
मेरठ: जिले में क्राइम कंट्रोल होने का नाम ही नहीं ले रहा। बीते दिनों सरूरपुर में गवाह सावित्री की हत्या का मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि सोमवार (12 फ़रवरी) को बदमाशों ने सरधना में सावित्री के दामाद को गोलियों से भून डाला। बाइक सवार बदमाशों ने घटना को अंजाम दिया।
बताया जा रहा है, कि सरधना के झिटकरी गांव निवासी 35 वर्षीय युवक बबलू पुत्र राजबल सोमवार को अपने घर में नहा रहा था। इसी दौरान बाइक सवार तीन बदमाशों ने घर में घुसकर बबलू पर ताबडतोड़ गोलियां बरसा दी। हमले में बबलू को दो गोली पेट में और एक सिर में लगी। इसके बाद बदमाश हवाई फायरिंग करते मौके से भाग निकले। घायल बबलू को परिजन आनन-फानन में सीएचसी ले गए। डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
पुलिस महकमें में मचा हड़कंप
सूचना पाते ही कई थानों की पुलिस फोर्स एसपी देहात राजेश कुमार सहित मौके पर पहुंचे। परिजनों के अनुसार, बबलू रजापुर निवासी सावित्री का दामाद था। उनका आरोप है कि सरूरपुर में हुई चेतन की हत्या में गवाही देने के चलते कुछ दिन पूर्व कुख्यात सुमित जाट ने चेतन की मां सावित्री की हत्या कराई। अब गांव के प्रधान संत सिंह द्वारा दोनों मामलों में बबलू पर आरोपियों से समझौते का दबाव बनाया जा रहा था। पुलिस ने आरोपी संतकुमार को हिरासत में लिया है। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। गांव में पुलिस बल तैनात किए गए हैं।
सावित्री को भी दागी थी गोलियां
चेतन हत्याकांड की चश्मदीद गवाह चेतन की मां सावित्री ने पिछले बुधवार को इलाज के दौरान दम तोड़ दिया था। सावित्री पर 3 फरवरी को दिनदहाड़े जानलेवा हमला हुआ था। उसके सिर में दो गोलियां मारी गई थी। एक गोली आॅपरेशन से निकाली गई थी, जबकि दूसरी गोली फंसी रह गई थी। गोली पोस्टमार्टम के दौरान निकाली गई थी।
क्या था मामला?
17 जुलाई 2016 को सरूरपुर के हसनपुर रजापुर गांव में बच्चों में किक्रेट खेलने के विवाद के चलते सावित्री के बेटे चेतन की हत्या कर दी गई थी। इस मामले में गांव के सुमित जाट, सुजीत कुमार समेत पांच लोग जेल गए थे। सुमित को छोड़कर बाकि आरोपी जमानत पर जेल से छूटे थे। चेतन हत्याकांड में सावित्री के अलावा चेतन का भाई मितन भी चश्मदीद गवाह है। एक फरवरी को दोनों गवाही की तारीख पर कचहरी पहुंचे थे। गवाही की तारीख छह फरवरी होने के कारण मां-बेटे ने एसएसपी के पास पहुंचकर सुरक्षा की गुहार लगाई थी। आरोपियों ने गवाही से रोकने के लिए सावित्री पर हमला किया था, जिसमें सावित्री को गोली लगी थी।