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Chitrakoot News: वर्ल्ड वाइड बुक आर्फ रिकार्ड्स से स्वर्णिमा की गई सम्मानित
Chitrakoot News: प्रतिभा की कोई सीमा नहीं होती। यह पांच वर्षीय स्वर्णिमा सिंह ने साबित कर दिखाया है। स्वर्णिमा के पिता धर्मराज सिंह डा बीआर अंबेडकर पब्लिक स्कूल में शिक्षक हैं। मां पूजा देवी ग्रहणी हैं।
Chitrakoot News: प्रतिभा की कोई सीमा नहीं होती। यह पांच वर्षीय स्वर्णिमा सिंह ने साबित कर दिखाया है। स्वर्णिमा के पिता धर्मराज सिंह डा बीआर अंबेडकर पब्लिक स्कूल में शिक्षक हैं। मां पूजा देवी ग्रहणी हैं। इससे पहले भी स्वर्णिमा सिंह ने इसी वर्ष इंडिया बुक आफ रिकार्ड्स और एशिया बुक आफ रिकार्ड्स में भी अपना नाम दर्ज करवाया था।
आवर्त सारिणी के सभी 118 तत्वों के नाम केवल 66 सेकंड में बताया
अभी हाल ही में स्वर्णिमा को सबसे कम उम्र में विज्ञान की आवर्त सारिणी के सभी 118 तत्वों के नाम केवल 66 सेकंड में बोलने के लिए वर्ल्ड वाइड बुक आफ रिकार्ड्स ने प्रमाण पत्र और मेडल देकर सम्मानित किया गया है। आवर्त सारिणी को याद करना एमबीबीएस की पढ़ाई कर रहे विद्यार्थियों का सपना होता है। स्वर्णिमा पढ़ लिखकर आईएएस बनना चाहती है।
ढाई वर्ष की उम्र में स्वर्णिमा की स्मरण शक्ति है बेहद तेज़
स्वर्णिमा की स्मरण शक्ति की बात करें, तो उसके पिता बताते हैं कि स्वर्णिमा को महज ढाई वर्ष की उम्र में ही विश्व के सभी देशों के नाम, राजधानियां, मुद्राएं, नक्शे, झंडे, मानचित्र में सभी देशों की स्थिति, महापुरुष, महाद्वीप, महासागर, ग्रह, आविष्कारक, नदियां, तालाब, नाटो एवं सार्क संगठन के सभी देश, भारत के सभी राज्य, केंद्र शासित प्रदेश, पड़ोसी देश, उत्तर प्रदेश के सभी मंडल, जिले, आवर्त सारणी के सभी तत्व, श्रीमद्भागवत गीता के श्लोक आदि कई सारी चीजें कंठस्थ थी। इसी कारण स्वर्णिमा गूगल गर्ल के नाम से भी मशहूर है।