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खतरे में घिरा कोतवाल, कांग्रेस MLC ने Twitter पर लगाई वाट
जिस जीडी शुक्ला ने बतौर सलोन कोतवाल होते हुए कांग्रेस के विधान परिषद सदस्य (एमएलसी) दीपक सिंह समेत 60 समर्थकों पर मुकदमा दर्ज कराया है उन पर ही कांग्रेस एमएलसी ने बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है। पुलिस कागजात के प्राविधान के मु
अमेठी: जिस जीडी शुक्ला ने बतौर सलोन कोतवाल होते हुए कांग्रेस के विधान परिषद सदस्य (एमएलसी) दीपक सिंह समेत 60 समर्थकों पर मुकदमा दर्ज कराया है उन पर ही कांग्रेस एमएलसी ने बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है। पुलिस कागजात के प्राविधान के मुताबिक़ कोई एसएचओ-एसआई अपने रेंज के किसी भी थाने में बतौर प्रभारी तैनात नहीं रह सकता, पर कांग्रेस एमएलसी का कहना है कि जीडी शुक्ला ने नौकरी की शुरुआत ही फ्राड से की थी।
इस बाबत कांग्रेस एमएलसी ने ट्विट भी किया है और डाक्यूमेंट प्रूफ भी दिए हैं। इसको लेकर जीडी शुक्ला बुरी तरह घिरते नज़र आ रहे हैं।
राहुल के दौर पर सलोन में एएसपी से अभद्रता का मामला
गौरतलब है कि राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने के बाद राहुल गांधी अमेठी संसदीय क्षेत्र में 15 जनवरी को आए थे। उनके अपने संसदीय क्षेत्र के सलोन विधानसभा क्षेत्र में भारतीय जनता पार्टी (BJP) कार्यकार्ताओं ने काले झंडे दिखाए थे। जवाब में कांग्रेस कार्यकार्ताओं की बीजेपी कार्यकार्ताओं से झड़प हुई थी। बीच बचाव में आई पुलिस से कांग्रेसी अभद्रता कर बैठे थे। खुद कांग्रेसियों की अभद्रता का शिकार रायबरेली के एएसपी शशिशेखर सिंह भी हुए थे।
इन धारओं में दर्ज हुआ केस
अधीक्षक शशिशेखर सिंह ने बताया कि सलोन कोतवाल जीडी शुक्ला की तहरीर पर दीपक सिंह समेत 60 लोगों के विरुद्ध आईपीसी की धारा 147, 149, 323, 504, 506, 332, 352, 353 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।
एमएलसी ने ट्वीटर पर लिखा ये:
इस पर ट्वीट करते हुए एमएलसी दीपक सिंह ने लिखा है कि थानाध्यक्ष सलोन से आला अफसर और स्मृति ईरानीे ने जिस दबाव से मेरे और कांग्रेस जनो के विरुद्ध फर्जी FIR करवाया उसके कुछ रोचक तथ्य ये हैं।
1-इसका 12 जनवरी को ही सलोन से बछरांवा स्थान्तरण हो गया था परंतु सलोन ही रहा FIR लिखने के तुरंत बाद कार्यमुक्त किया।
2-जनपद में ही तैनाती की गई है जो अवैध है।
स्मृति ईरानी की मजबूरी है राहुल का नाम लेना:दीपक सिंह
इस मामले पर कांग्रेस एमएलसी ने कहा कि ये सब कुछ स्मृति ईरानी के दबाव में हुआ। उन्होंंने कहा कि स्मृति ईरानी की मजबूरी है वो कहीं छपती और कहीं दिखती नहीं हैं। जब वो फिल्मी अंदाज़ में अपने मुखर बिंदु से राहुल गांधी का नाम लेती हैं तब उनको मीडिया में जगह मिलती है, या जब उनकी फ़र्जी डिग्री की चर्चा होती है तब उन्हें मीडिया में जगह मिलती है। तो उनकी मजबूरी है राहुल जी का नाम लेती रहें जब तक वो प्रधानमंत्री न बन जाये।