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सत्ता में बैठी सरकार पर विपक्ष का वार, अब लाशों पर होगी राजनीति

यूपी में गंगा किनारे बसे जिलों में लगातार गंगा में शव मिलने की सूचना आ रही है। पुलिस प्रशासन द्वारा कोरोना संक्रमित काफी शव गंगा नदी से बरामद भी किए गए हैं।

Neena Jain
Reporter Neena JainPublished By Vidushi Mishra
Published on: 18 May 2021 3:06 PM IST
Information is being received about the bodies found in the Ganges continuously in the districts situated along the Ganges.
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नदी के किनारे लाशें (फोटो-सोशल मीडिया)

सहारनपुर: उत्तर प्रदेश के गंगा किनारे बसे जिलों में लगातार गंगा में शव मिलने की सूचना आ रही है। पुलिस प्रशासन द्वारा कोरोना संक्रमित काफी शव गंगा नदी से बरामद भी किए गए हैं। इसी को लेकर अब लाशों पर सियासत भी तेज होती जा रही है। क्योंकि राजनीति खेल ही ऐसा है क्यों की चाहे वह मौजूदा सरकार हो या विपक्ष हो कोई भी कोई भी राजनीति में एक दूसरे के ऊपर सवालिया वार करने से नहीं चुकता है।

ऐसे में अगर बात की जाए, उत्तर प्रदेश के सहारनपुर की तो सहारनपुर से कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेता इमरान मसूद ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि सरकार को सिर्फ और सिर्फ चुनावी रैलियों से मतलब है।

ना तो सरकार गरीब लोगों के बारे में सोच रही है और ना ही जो लोग कोविड-19 से मर चुके हैं उनके देह संस्कार के बारे में सोच रही है। इसीलिए लगातार गरीब लोग जिनके पास देह संस्कार करने के लिए पैसे नहीं है। उनके द्वारा कोरोना संक्रमित जो लोग मर चुके हैं, उनके शव को गंगा में या नहर में बहाया जा रहा है।

जीते जी नहीं मिला इलाज

जहां नहरों में और गंगा के किनारे शवों के मिलने के बाद हड़कंप मचा हुआ है। तो वहीं अब राजनीति भी तेज होती जा रही है। सहारनपुर पूर्व विधायक और कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेता इमरान मसूद का कहना है कि अगर जीते जी इलाज नहीं मिल पाया, तो मरने के बाद कम से कम सम्मान जनक अंतिम संस्कार तो मिल जाता।

आपको बता दें कि जहां मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मुजफ्फरनगर के बाद सहारनपुर में कोरोनावायरस को लेकर भ्रमण कर जायजा लेने के बाद प्रेस ब्रीफिंग की गई थी। जिसमें उन्होंने बताया था कि हम उत्तर प्रदेश के अंदर दूसरी लहर से तो लड़ ही रहे हैं।

तीसरी लहर से लड़ने के लिए तैयार भी हो रहे हैं, तो वहीं ऐसे में दूसरी तरफ इमरान मसूद का बड़ा बयान सामने आया है जिसमें उन्होंने कहा कि इस समय प्रदेश में अंदर शमशान घाटों के अंदर अंतिम संस्कार करने के लिए लकड़ियों का अभाव है तो वहीं परिजनों के पास लकड़ियां खरीदने के पैसे भी नहीं है।

जहां सरकार दावा करती है कि हम शवों का सम्मान पूर्वक अंतिम संस्कार कराएंगे, अगर ऐसा होता तो गंगा के किनारे वह लाशें नहीं मिलती! आपने देखा होगा कि मुरादाबाद से बलियापुर तक गंगा के अंदर, किनारों व घाटों पर लाशों के अंबार हैं बहुत दुखद स्थिति है।

यह हमारे अपने लोग हैं तो वही गांव में फैल रहे कोरोनावायरस इमरान मसूद ने बोलते हुए कहा कि यह सरकार इस मामले में गंभीर नहीं है। पिछले 1 साल पूरा खराब कर दिया जब पिछले 1 साल में काम किया जाना था, तो यह सरकार अपनी महिमा मंडल में लगी रही।

आखिर वह वेंटिलेटर है कहां

इससे बड़ी दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति और क्या हो सकती है कि जो देश सबसे बड़ा ऑक्सीजन उत्पादक देश है। उसी देश में ऑक्सीजन की कमी से लोग मर रहे हैं कारण। जो ऑक्सीजन का एक्सपोर्ट है हमने पिछले 1 साल में दुगना कर दिया यानी 45सौ मिलियन टन जो एक्सपोर्ट था।

उसे हमने पिछले दो साल पहले दुगना कर दिया यानी 52सौ मिलियन टन कर दिया यानी दुगना से भी ज्यादा जब हमें ऑक्सीजन को स्टोर करना चाहिए था। तो उस वक्त हमने एक्सपोर्ट कर दिया और हॉस्पिटलों में बेड को दुगना करना चाहिए था। तो उस वक्त आपने किया नहीं,तो वही वेंटिलेटर का भी भरपूर इस्तेमाल नहीं किया गया।

केंद्र सरकार ने केवल शोर मचाया , 2000 वेंटिलेटर या उससे ज्यादा वेंटिलेटर आये, आखिर वह वेंटिलेटर है कहां। तो वही वेंटिलेटर को ऑपरेट करने के लिए ऑपरेटर नहीं है, टेक्नीशियन नहीं है।

मुख्यमंत्री जी को केवल हवाई दौरे करने का शौक है और अपने होल्डिंग लगवाने का शौक है। वह वही काम भी कर रहे हैं। कोरोनावायरस को लेकर सरकार बिल्कुल भी गंभीर नहीं है और यही कारण है कि प्रदेश ही नहीं पूरा देश इस स्थिति से निपट नहीं पा रहा है।



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Vidushi Mishra

Vidushi Mishra

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