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शर्मनाक: वरिष्ठ पत्रकार नवलकांत पर जानलेवा हमला करने वाले गिरफ्तार,पूछताछ जारी
प्रदेश में गुंडागर्दी काम होने का नाम ले रही। बदमाशों के होंसले इस कदर बुलंद है कि चाहे नेता हो या कोई भी बड़ी हस्ती, आये दिन उनपर जानलेवा हमले की खबर सामने आ रही है। ताजा मामला है होसड़िया चौराहे का जहां प्रदेश के जाने माने पत्रकार नवलकां
लखनऊ: राजधानी के जाने-माने पत्रकारों में शुमार नवलकांत सिन्हा पर जानलेवा हमला करने वाले दो बदमाशों को लखनऊ पुलिस ने देर शाम गिरफ्तार कर लिया। पकड़े गए आरोपियों का नाम वैभव सिंह और नीरज दीक्षित हैं। गिरफ्तार दोषियों में से वैभव सिंह रिलायंस जियो का मैनेजर है। आरोपी को जब पुलिस थाने में लाई तो वह खुद को आईजी कानपुर आलोक सिंह का रिश्तेदार बताकर पुलिस पर धौंस जमा रहा था। प्रमुख सचिव गृह अरविन्द कुमार ने इससे इंकार करते हुए कहा है कि उन्होंने खुद आईजी कानपुर आलोक सिंह से बात की है। उनका इस नाम का कोई भांजा नहीं है। पुलिस पर किसी तरह का कोई दबाव नहीं है।
हंगामा मचने के बाद पुलिस ने किया गिरफ्तार
आपको बता दें कि 19 जनवरी की देर रात वरिष्ठ पत्रकार की गाड़ी का पीछा कर बदमाशों ने हमला बोल दिया था। पत्रकार के सिर व आंखों के पास गंभीर चोटें आईं थीं। वरिष्ठ पत्रकार नवलकांत सिन्हा पर हमला होने के बाद से मीडिया जगत में हड़कंप मच गया। इसके बाद 20 जनवरी को दिनभर पत्रकारों के हो—हल्ला मचाने के बाद राजधानी पुलिस की नींद टूटी और बदमाशों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया।
पूरी घटना इस प्रकार है
यूपी में अपराध चरम पर हैं। दिनदाहाड़े हत्या, लूटपाट, डकैती और रेप की घटनाएं आम हैं। अब ताजा मामला प्रदेश के जाने माने वरिष्ठ पत्रकार नवलकांत सिन्हा पर जानलेवा हमले का है। इसमें उन्हें सिर और आंखों में गंभीर चोटे आई है। राजधानी में दिन दहाड़े गुंडागर्दी का आलम यह है कि सफारी सवार बदमाशों ने जान से मारने के मकसद से इंदिरानगर स्थित घर तक नवल का पीछा किया। यह संयोग ही है कि इंदिरानगर के जिस बाजार में बदमाश श्री सिन्हा की गाड़ी जबरन रूकवाने में सफल हुए, वहां चहल—पहल थी। फिर भी बेखौफ बदमाशों ने उन्हें नहीं बख्शा और दिनदहाड़े घटना को अंजाम देकर फरार हो गए।
नवलकांत सिन्हा शुक्रवार की रात करीब 10:40 बजे अपने दफ्तर का काम निपटा कर इंदिरानगर स्थित आवास की तरफ जा रहे थे। इसी बीच उनकी कार को गोमतीनगर स्थित हुसड़िया चौराहे के पास एक सफेद सफारी कार यूपी 32 डीई 0444 ने पीछे से ठोकर मार दी। सफारी सवार युवकों को इस पर उनसे माफी मांगनी चाहिए थी पर इसके उलट बदमाशों ने उन्हें गालिया देनी शुरू कर दी। मौके की नजाकत भांप नवलकांत ने अपनी गाड़ी शहीद पथ की तरफ बढ़ा दी, पर बेखौफ बदमाश नहीं मानें, वह बदमाश भी सफारी से नवलकांत की गाड़ी का पीछा करने लगे।
नवलकांत का कहना है उस वक्त सड़क पर सन्नाटा पसरा था। इसलिए उन्होंने अपनी गाड़ी वहां नहीं रोकी और इंदिरानगर स्थित अपने घर की तरफ बढ गए। उधर सफारी सवार बदमाश भी उनका पीछा करते हुए इंदिरानगर तक पहुंच गए और जबरन गाड़ी रूकवाकर उनके साथ अभद्रता शुरू कर दी, उनसे पैसे की मांग करने लगे। इतना ही नहीं उनकी पर्स में मौजूद सात सौ रूपये भी निकलवा लिए। जब नवलकांत ने बदमाशों से थाने पर चलने को कहा, तब वह और आक्रामक हो गए और असलहे लहराने लगे। उन्हें सफारी कार में बिठाने का प्रयास करने लगे।
यह घटना देख सड़क पर राहगीर इकट्ठा होने लगे, उन्हें अगवा करने में असफल रहने पर बदमाशों ने नवलकांत पर असलहों की बट से ताबड़तोड़ हमला शुरू कर दिया और उन्हें लहुलुहान कर फरार हो गए। अचानक हुए हमले में घायल नवलकांत अचेत हो गए। जब उन्हें होश आया तो नजदीकी अस्पताल में जाकर अपना इलाज कराया। मामले की प्राथमिकी धारा 307,308,394 और 504 में गाजीपुर थाने में दर्ज हुई।
ये है पूरा मामला
- राजधानी में रात करीब 10:40 बजे वरिष्ठ पत्रकार नवलकांत सिन्हा दफ्तर का काम निपटाकर इंदिरानगर स्थित अपने आवास की तरफ जा रहे थे।
-रास्ते में एक सफेद सफारी (UP 32 DE 0444) ने उनको पीछे से टक्कर मार दी।
-सफारी में सवार कुछ बदमाश माफी मांगने और मामला सुलझाने के बजाए उनसे बहस करने लगे।
-बदमाशों ने नवल का पीछा करते हुए उनको इंदिरानगर में उनके घर के पास रोक लिया और पैसे की मांग करने लगे।
-नवलकांत से बदमाशों ने पैसे की मांग की। मौके की नजाकत को भांपते हुए वह बदमाशों को पैसा देने को तैयार भी थे। -उसके बावजूद बदमाशों ने उनके सिर पर असलहे की बट से हमला किया और फरार हो गए।
-गाजीपुर थाने में अज्ञात बदमाशों के खिलाफ तहरीर दी गई।
-घटना की जानकारी के बाद पत्रकार जगत में हड़कंप मच गया।