TRENDING TAGS :

Aaj Ka Rashifal

TMC सांसद महुआ ने किया ट्वीट, बीजेपी नेताओं का चढ़ा पारा, डिप्टी सीएम ने दिया चैलेंज

पश्चिम बंगाल की सियासत का रुख अचानक बनारस की ओर मुड़ गया है. टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा के एक ट्वीट ने बनारसियों को बैठे बैठाए बकैती का नया मुद्दा थमा दिया.

Monika
Published on: 2 April 2021 7:50 PM IST
TMC सांसद महुआ ने किया ट्वीट, बीजेपी नेताओं का चढ़ा पारा, डिप्टी सीएम ने दिया चैलेंज
X

Deputy CM Keshav Prasad Maurya (फाइल फोटो )

वाराणसी: पश्चिम बंगाल की सियासत का रुख अचानक बनारस की ओर मुड़ गया है. पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उसके बाद टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा के एक ट्वीट ने बनारसियों को बैठे बैठाए बकैती का नया मुद्दा थमा दिया. वाराणसी से चुनाव लड़ने को लेकर ममता दीदी के दिल में क्या है, इस जवाब का तो पता नहीं लेकिन उनकी सांसद महुआ मोइत्रा ने बयानबाजी ने यूपी के भाजपा नेताओं को जरुर चुनौती दे दी है. चर्चा का दौर अब सोशल मीडिया से निकलकर सियासी मैदान में उतर आया है. एक दिवसीय वाराणसी दौरे पर पहुंचे केशव प्रसाद मौर्या ने ममता बनर्जी के वाराणसी से चुनाव लड़ने की खबरों पर करारा प्रहार किया.

ममता बनर्जी पर डिप्टी सीएम का पलटवार

उन्होंने कहा कि ममता बनर्जी वाराणसी क्या, यूपी के किसी भी संसदीय क्षेत्र से चुनाव लड़कर दिखाएं. उन्हें नंदीग्राम से बड़ी पराजय का सामना करना पड़ेगा. दरअसल पश्चिम बंगाल में चुनावी पारा अपने शबाब पर है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा था कि दीदी ने नंदीग्राम में अपनी हार स्वीकार कर ली है. इसलिए वो किसी दूसरी सीट से चुनाव लड़ सकती हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इस बयान पर टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा ने एक ट्वीट किया था, जिसमें उन्होंने लिखा था कि ममता बनर्जी दूसरी जगह से चुनाव जरुर लड़ेगी. वो जगह होगी वाराणसी. महुआ मोइत्रा के इसी बयान के बाद वाराणसी में सियासी अटकबाजी का दौर चल पड़ा है. शायद यही कारण है कि जब डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य वाराणसी पहुंचें तो ममता बनर्जी पर पलटवार करने से रोक नहीं पाए.

बीजेपी का अभेद्य किला माना जाता है बनारस

पूर्वी उत्तर प्रदेश के सबसे बड़े सियासी केंद्र बनारस को बीजेपी का अभेद्य किला माना जाता है. पिछले तीन दशकों से बनारस की सियासत में बीजेपी का सिक्का चलता रहा है. शायद यही कारण है कि जब नरेंद्र मोदी ने गुजरात की राजनीति से बाहर कदम रखा तो उन्होंने बनारस को ही चुना. नरेंद्र मोदी पिछले दो बार से बनारस से सांसद चुने गए. खुद नरेंद्र मोदी भी बनारस के प्रति अपने प्यार और लगाव को समय-समय पर दुनिया के सामने जाहिर करते रहे हैं. वो खुद को बनारस के सांसद के तौर पर नहीं बल्कि बेटे के तौर पर पेश करते हैं. नरेंद्र मोदी की इस ताकत का एहसास पिछले दोनों लोकसभा चुनाव की नतीजों से भी जाहिर होता है. ऐसा नहीं है कि बनारस में मोदी को घेरने की कोशिश नहीं हुई. साल 2014 के लोकसभा चुनाव में आदमी आदमी पार्टी सुप्रीमो अरविंद केजरीवाल ने नरेंद्र मोदी के खिलाफ ताल ठोंका था लेकिन उन्हें कामयाबी नहीं मिली. अब एक बार से ममता बनर्जी के चुनाव लड़ने की चर्चा ने अटकलबाजियों को पंख दे दिया है.

रिपोर्ट- आशुतोष सिंह



\
Monika

Monika

Content Writer

पत्रकारिता के क्षेत्र में मुझे 4 सालों का अनुभव हैं. जिसमें मैंने मनोरंजन, लाइफस्टाइल से लेकर नेशनल और इंटरनेशनल ख़बरें लिखी. साथ ही साथ वायस ओवर का भी काम किया. मैंने बीए जर्नलिज्म के बाद MJMC किया है

Next Story