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Lucknow: डर्मेटोलॉजिस्ट डॉ. सुमित गुप्ता बोले, एक से दूसरे व्यक्ति में नहीं फैलता है सफेद दाग
Lucknow: डर्मेटोलॉजिस्ट डॉ. सुमित गुप्ता ने कहा कि खुजली, पैरों में लाल चकत्ते पड़ना, गर्दन व गुप्तांग के आस-पास कालापन और सफेद दाग आम बीमारियां हैं।
Lucknow: भारत में त्वचा सम्बंधित कई तरह की समस्याओं से आम लोगों को जूझना पड़ता है। इसके कई कारण होते हैं, जिनमें किसी अन्य बीमारी की भी भूमिका अहम होती है। साथ ही, दवाओं के सेवन से भी तरह-तरह की स्किन की समस्याएं उत्पन्न हो जाती हैं। जो कि बेहद घातक रूप भी ले लेती है। खुजली, पैरों में लाल चकत्ते पड़ना, गर्दन व गुप्तांग के आस-पास कालापन और सफेद दाग आम बीमारियां हैं। जिसके बारे में 'न्यूज़ट्रैक' से मशहूर डर्मेटोलॉजिस्ट व 'इंडियन एसोसिएशन ऑफ डर्मेटोलॉजिस्ट (Indian Association of Dermatologists), वेनेरोलॉजिस्ट एंड लेप्रोलॉजिस्ट्स' (Venereologists and Leprologists') के सदस्य डॉ. सुमित गुप्ता (Dermatologist Dr. Sumit Gupta) ने विस्तार से बात की।
'कोर्स पूरा कर ही पा सकेंगे खुजली से निजात'
डॉ. सुमित गुप्ता ने बताया कि स्किन एलर्जी और खुजली के कई अलग कारण हो सकते हैं। जिसमें एलर्जी की दवाओं के अलावा कई और दवाइयों की भी भूमिका होती है। और, कई बार एलर्जी की दवा की डोज़ बढ़ाने से भी फायदा मिलता है। उन्होंने बताया कि इसका उपचार लंबा होता है, लेकिन कारगर होता है। बार-बार दवा नहीं रोकना चाहिए। कोर्स पूरा करना चाहिए।
'वजन बढ़ने, थॉयराइड व डायबिटीज से होता है गर्दन व गुप्तांग के आस-पास का कालापन'
गर्दन का कालापन या गुप्तांग के आस-पास के कालेपन का मुख्य कारण वजन का बढ़ना और कई बार थॉयराइड या डायबिटीज भी होता है। डॉ. सुमित गुप्ता ने बताया, गर्दन के आसपास का कालापन वजन कम करके और डायबिटीज व थॉयराइड को कंट्रोल करके ख़त्म किया जा सकता है।
'पैरों में सही से रक्त संचार का न होना है लाल चकत्ते पड़ने का कारण'
पैरों में लाल चकत्ते (स्ट्राबेरी लेग्स) पड़ने का मुख्य कारण पैरों में रक्त का संचार रुकना होता है। जिसमें एक बड़ी वजह ख़ून की धमनियों का सही से कार्य न करना और पैरों में सूजन आना हो सकता है। उन्होंने कहा कि इनका इलाज नसों को टाइट करने से होता है। स्क्लोरीसिन एजेंट डालकर एवं लेजर से इसे टाइट कर सकते हैं। इसके अलावा, पैरों को गर्म पट्टी से बांधकर रखने से भी पैर टाइट हो सकते हैं। जिससे रक्त संचार बना रहा।
'एक से दूसरे व्यक्ति में नहीं फैलता है सफेद दाग'
डॉ. सुमित गुप्ता ने बताया सफेद दाग को एक गलत भ्रांति के तहत छुआछूत माना जाता है। कई बार ऐसे पेशेंट से कोई शादी भी नहीं करता है। जबकि ये गलत है। ये कोई छुआछूत की बीमारी नहीं है। न ही एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी में जाती हैं। विदेशों में इसे बीमारी नहीं मानते हैं। उन्होंने कहा कि इसमें सिर्फ़ रंग बनना बंद होता है। बाक़ी, शरीर के अंदर के सारे अंग कार्य करते रहते हैं। एसोसिएशन के माध्यम से यह जागरूकता फैलाने का कार्य किया गया कि ऐसी सोच और मानसिकता से दूर रहें।