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ऐतिहासिक हो सकता है ये चुनाव, चुनावी रण में इस बार BSP के खिलाफ लड़ेंगी मायावती

यूपी के विधानसभा चुनाव में बसपा को चुनौती देने खुद मायावती चुनाव में उतर आई है | अब आप सोच रहे होंगे की ये हम क्या बोल रहे हैं। मगर ये बात सच है।चौकिये मत ,पूर्व सीएम और बीएसपी की सुप्रीमो मायावती नहीं हैं।

tiwarishalini
Published on: 5 Feb 2017 11:51 AM IST
ऐतिहासिक हो सकता है ये चुनाव, चुनावी रण में इस बार BSP के खिलाफ लड़ेंगी मायावती
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इलाहबाद: यूपी के विधानसभा चुनाव में बसपा को चुनौती देने खुद मायावती मैदान में उतर आई हैं। अब आप सोच रहे होंगे की ये हम क्या बोल रहे हैं। मगर ये बात सच है। चौंकिए मत , यह पूर्व सीएम और बीएसपी की सुप्रीमो मायावती नहीं हैं बल्कि यह दलित की बेटी मायावती है। उसकी अपनी अलग पहचान है, फिर भी वह इस चुनाव में ऐसी कामयाबी चाहती है कि उसका नाम इतिहास के पन्नों में दर्ज हो जाए। दूसरे चुनाव तो उसने लड़े हैं, लेकिन विधानसभा चुनाव में वह पहली बार किस्मत आजमाने जा रही है।

आगे की स्लाइड में पढ़ें कौन है मायावती ...

कौन है ये दूसरी मायावती?

-यह मायावती चौधरी अजीत सिंह की पार्टी आरएलडी की नेता है।

-उसकी उम्र महज पचीस साल है और उसने इलाहाबाद युनिवर्सिटी से एमबीए की पढ़ाई की है।

-राजनीति की दुनिया में वह अपनी हमनाम यूपी की पूर्व सीएम मायावती से भी आगे बढ़कर नाम कमाना चाहती हैं।

-किसानों को लेकर उसके दिल में खासा हमदर्दी है। पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह उसके आदर्श हैं।

-इसलिए वह शुरू से ही उनकी बनाई पार्टी आरएलडी में है। ​

मायावती के खिलाफ मायावती

-दलित की यह बेटी इस बार के विधानसभा चुनाव में जिन सियासी पार्टियों के खिलाफ ताल ठोंक रही है उसमें सपा भाजपा के अलावा बसपा भी शामिल है|

-इलाहाबाद की रिजर्व सीट कोरांव में वह बीएसपी के मौजूदा विधायक के खिलाफ चुनाव ​लड़ कर इसकी शुरुआत कर रही है।

-इस चुनाव में वह बीएसपी विधायक को करारी मात देने के संकल्प के साथ मैदान में है।

-उसका मानना है कि बीएसपी विधायक ने इस सीट के वोटरों के साथ इंसाफ नहीं किया है।

-लिहाजा वह उन्हें धूल चटाकर खुद चुनाव जीतने की फिराक में है।

यह बातें सुनकर आप हैरत में पड़ गए होंगे। हालांकि इसमें झूठ कुछ भी नहीं है। एक-एक बात पत्थर की लकीर की तरह सौ फीसदी सच है। कुमारी मायावती इस चुनाव में इलाहाबाद के यमुनापार इलाके की कोरांव सीट से बीएसपी के मौजूदा विधायक और उम्मीदवार राजबली जैसल के खिलाफ चुनाव मैदान में हैं|

आगे की स्लाइड में पढ़ें मायावती का इतिहास ...

कुमारी मायावती का इतिहास

-दलित परिवार में जन्मी यह मायावती इलाहाबाद शहर से करीब पचहत्तर किलोमीटर दूर एक छोटे से गांव की रहने वाली है।

-उसके पिता की जूते-चप्पलों की गुमटी है। मायावती कुछ दिनों पहले आरएलडी के टिकट पर ज़िला पंचायत का चुनाव भी लड़ चुकी है।

-करीब पचास हजार वोटरों वाले इस चुनाव में उसे महज सात वोटों से हार का सामना करना पड़ा था।

-मायावती की मंशा राजनीति में सही मुकाम हासिल कर अपने दलित समाज को शिक्षित और जागरूक करना है।

-उसका कहना है कि वह कुछ पाने के लिए नहीं बल्कि लोगों को कुछ देने और चुनावी राजनीति में धनबल व बाहुबल के प्रभाव को ख़त्म करने के लिए आई हुई है।

-अपना औपचारिक प्रचार वो 6 फरवरी को नामांकन दाखिल करने के बाद ही शुरू करेंगी।

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tiwarishalini

Excellent communication and writing skills on various topics. Presently working as Sub-editor at newstrack.com. Ability to work in team and as well as individual.

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