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Etah News: खून के आंसू रो रहे शिक्षामित्र, परिवार की भूख से हुए मजबूर फिर भी नहीं सुन रही सरकार

Etah News: प्राथमिक विद्यालयों में कार्यरत शिक्षामित्रों को बीते अक्टूबर माह के बाद मानदेय के लिए जूझना पड़ रहा है। लगभग दो माह से मानदेय नहीं मिलने से शिक्षामित्रों को आर्थिक संकट से जूझना पड़ रहा है।

Sunil Mishra
Published on: 22 Dec 2024 7:06 PM IST
Etah News ( Pic- Newstrack)
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Etah News ( Pic- Newstrack)

Etah News: जनपद में प्रदेश मुखिया योगी आदित्यनाथ जहाँ शिक्षामित्रों से दूरियां कम करने को लेकर प्रयासरत हैं। वहीं विभागीय अधिकारियों के उत्पीड़नात्मक रवैये के चलते प्राथमिक विद्यालयों में कार्यरत शिक्षामित्रों को बीते अक्टूबर माह के बाद मानदेय के लिए जूझना पड़ रहा है। लगभग दो माह से मानदेय नहीं मिलने से शिक्षामित्रों को आर्थिक संकट से जूझना पड़ रहा है। मानदेय न मिलने से शिक्षामित्र कर्ज लेकर परिवार का भरण पोषण करने के लिए मजबूर बने हुए हैं। परिणामस्वरूप डीजी का मानदेय भुगतान सम्बन्धी आदेश मखौल बना हुआ है।

बेसिक शिक्षा योजना अंतर्गत चयनित तहसील क्षेत्र के राघवेन्द्र पाल सिंह,जयपाल सिंह राजपूत,पुष्पेन्द्र कुमार शर्मा, रामप्रताप सिंह, विमला देवी, श्रीकृष्ण, गजेन्द्र सिंह कुशवाह आदि शिक्षामित्रों ने बताया कि गत नवम्बर माह का मानदेय अभी तक नहीं मिला है। लगभग दो महीने से मानदेय नही मिलने से शिक्षामित्रों को भयंकर आर्थिक संकट से जूझना पड़ रहा है। मानदेय नहीं मिलने से शिक्षामित्रों का आर्थिक संकट गहराता जारहा है। शिक्षामित्र कर्ज ले ले कर परिवार का भरण पोषण करने के लिए मजबूर हो रहे हैं। जबकि प्रदेश सरकार द्वारा विभाग को पहले ही ग्रान्ट उपलब्ध कराई जा चुकी है।

डीजी शिक्षा के आदेश को लग रहा है पलीता।

जलेसर। प्रदेश के महानिदेशक स्कूली शिक्षा द्वारा पूर्व में प्रत्येक माह की 2 तारीख तक विकासखंड कार्यालय से वित्त एवं लेखाधिकारी कार्यालय को उपस्थित भेजे जाने तथा माह की 8 तारीख तक मानदेय शिक्षामित्रों के खाते में भेजने का शासनादेश जारी किया जा चुका है। परंतु अधिकारियों की सौतेले रवैये की वजह से शिक्षामित्रों को एक माह बाद तीसरे माह में भी मानदेय नही मिल पा रहा है। परिणाम स्वरूप महानिदेशक स्कूली शिक्षा का आदेश पूरी तरह से हवाहवाई होकर रह गया है।



Shalini Rai

Shalini Rai

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