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35 दिन बाद भी नहीं हुआ शव का अंतिम संस्कार, DM ने मदद से किया इनकार
कानपुरः ग्रेटर नोएडा में बीती 19 अप्रैल को एक बिल्डिंग की 17वीं मंजिल से गिरकर मरने वाली बीटेक स्टूडेंट का अभी तक अंतिम संस्कार नही हो सका है। डीएम ने एक बार फिर स्टूडेंट के पिता की दोबारा पीएम कराने की अपील के लिए इनकार कर दिया है।
घटना के 35 दिन बीत चुके हैं परिजनों ने स्टूडेंट का शव नेचुरोथेरपी द्वारा सुरक्षित रखा है। नोएडा पुलिस ने स्टूडेंट की मौत को सुसाइड बताया था, जबकि परिजन अपनी बेटी की मौत को एक प्री-प्लांड मर्डर बताकर दोबारा पीएम की मांग कर रहे हैं।
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डीएम ने क्या कहा
स्टूडेंट के पिता ने कन्नौज के डीएम को दोबारा पोस्टमार्टम के लिए लेटर लिख कर अपील की थी लेकिन उन्होंने मना कर दिया कि इसमें मै आपकी कोई मदद नही कर सकता हूं। डीएम के इस जवाब के बाद परिजन के मन को यही बात कचोट रही है कि क्या मेरी बेटी को न्याय नहीं मिल पाएगा।
क्या है मामला
-मूल रूप से कन्नौज के रहने वाले विसंभर सिंह यादव की बेटी नोएडा के एक कॉलेज से बीटेक प्रथम वर्ष की स्टूडेंट थी।
-वह अपने कॉलेज से 12 किमी दूर एनआरआई सिटी के अपार्टमेंट में अपनी तीन क्लास मेट्स के साथ रहती थी।
-बीते 19 अप्रैल को ऋतू संदिग्ध अवस्था में 17 मंजिल से कूद कर जान दे दी थी।
छात्रा के पिता ने newztrack से कहा
उन्होंने बताया कि नोएडा पुलिस ने मेरी गैर मौजूदगी में बेटी का पोस्टमार्टम करा दिया था। जबकि मै भी नेचुरल थैरेपिस्ट हूं, उन्होंने बताया कि जब मैं बेटी का शव लेकर कन्नौज आय तो मैंने कई डाक्टरों को अपनी बेटी का शव दिखाया उन्होंने भी कहा कि यदि वह 17वीं मंजिल से कूदती तो उसके शरीर की हड्डियां व सर फट जाता जबकि ऐसा कुछ भी नहीं था।
उन्होंने बताया कि 33 दिन हो चुके है पुलिस मेरी मदद नही कर रही है सुसाइड नोट में एक विशाल नाम के लड़के का जिक्र था पुलिस उसको नही पकड़ रही है। जब बेटी की हत्या हुई तो वह उस वक्त वह वहीं पर मौजूद था, जबकि उसकी तीन सहेलियों को पुलिस ने अरेस्ट कर लिया है।
स्टूडेंट की मौत से पहले हुई थी ये वारदात
मामले की जांच में जुटी ग्रेटर नोएडा की कासना पुलिस के मुताबिक, रितु ने 16 अप्रैल को एनआरआई रेजीडेंसी के पास स्थित जगत फार्म मार्केट स्थित एक डिपार्टमेंटल स्टोर से शॉपिंग के दौरान एक कॉस्मेटिक टोनर चुरा लिया था। इसकी कीमत करीब 85 रुपए बताई गई। 19 अप्रैल को जब रितु की दो रूममेट उसी स्टोर में वापस शॉपिंग करने गईं तो स्टोर के ओनर ने उसकी सहेलियों को धमकी देते हुए कहा था कि अगर रितु ने दो दिनों में टोनर की कीमत नहीं जमा की या उसे लौटाया नहीं तो वह पुलिस में केस कर देगा और सीसीटीवी फुटेज सौंप देगा।
तानेबाजी बनी सुसाइड की वजह?
कसाना पुलिस के मुताबिक, दोनों रूममेट्स ने वापस पहुंचकर रितु को यह बात बताई। इस बात को लेकर काफी बहस हुई और उसके रूममेट्स ने उसको इस चोरी को लेकर ताना भी दिया। इसके बाद उसी रात जब रूम में सब सो गए, तब वो छत पर गई और वहां से कूद गई। सुबह उसका शव एनआरआई रेजिडेंसी के परिसर में मिला। पुलिस के मुताबिक़ उसने 17वीं मजिल से कूदकर सुसाइड किया था।
मरने से पहले आया था आखिरी कॉल
रितु के बाबा राम मोहन सिंह जो कन्नौज में रहते हैं, उन्होंने newztrack को बताया कि जिस रात यह हादसा हुआ, उसी रात रितु ने अपने घरवालों से बात की थी। उनके मुताबिक, 19 अप्रैल को रात 10 बजे रितु ने अपने पिता से मोबाइल पर बात की। इसके बाद उसने अपनी मां से बात करते हुए कहा कि मम्मी मैं पापा, इशु और भाई सभी से बहुत प्यार करती हूं , लेकिन मैं अब आप लोगों के लिए कुछ नही कर पाऊंगी। इतना कहने के बाद उसने फोन काट दिया। इसके बाद उसकी मां ने वापस कॉल की। एक बार तो मोबाइल पर रिंग गई, लेकिन इसके मोबाइल स्विच ऑफ बताने लगा। इसके बाद 20 अप्रैल की सुबह साढ़े छह बजे कसाना थाने से कॉल आई कि आपकी बेटी ने सुसाइड कर लिया है। आप जल्दी से नोएडा पहुंचें।
सुसाइड नोट में रितु ने बयान किया है अपना दर्द
परिवार ने बताया कि रितु के कमरे से मिले सुसाइड नोट में लिखा है,”मैं यह काम अपनी रूममेट्स ऋचा, विजया, प्रीति और सुमरा की जोर-जबदस्ती पर कर रही हूं। उन्होंने कल मुझे बहुत मारा और टॉर्चर किया। विजया ने कल मुझे बीयर कि बोतल से मारा और ऋचा ने भी बहुत मारा। इन लोगों ने मुझे बहुत उल्टा सीधा बोला और मुझ पर सेक्स रैकेट चलाती हूं जैसे कई गंदे आरोप लगाए। यह सब प्रीति के ब्वॉयफ्रेंड विशाल के सामने हुआ, लेकिन किसी ने इन लोगों को नहीं रोका, इट हर्ट्स मी।
I LOVE YOU MUMMY PAPA, मैं आप लोगों की और इन्सल्ट नही करुंगी, इसलिए अब जा रही हूं बहुत दूर।”
क्या हैं पुलिस की कहानी में लूपहोल ?
रितु के परिवार का आरोप है कि ग्रेटर नोएडा की पुलिस की थ्योरी में कई कमियां हैं, जिसकी वजह से रितु की मौत एक प्री-प्लांड मर्डर लग रही है न कि सुसाइड।
-पुलिस ने कानपुर से फैमिली के पहुंचने से पहले शव का पोस्टमार्टम करा दिया।
-रितु के शव को देखकर कहीं से नहीं लग रहा था कि उसने 17वीं मंजिल से कूदकर सुसाइड किया है,क्योंकि इतनी ऊंचाई से कूदने के बाद उसके शरीर की सारी हड्डियां बुरी तरह से टूट चुकी होतीं, जबकि उसकी हड्डियां इतनी बुरी तरह से प्रभावित नहीं हुई हैं।
-कसाना के एसओ अनिल प्रताप से जब पोस्टमार्टम रिपोर्ट्स के बारे में पूछा गया तो उन्होंने फैमिली को देने से इनकार कर दिया।
-जिस कमरे में रितु रहती थी उस कमरे में भी फैमिली को नहीं जाने दिया गया और कहा गया उसको सीज कर दिया गया है जांच के समय खुलेगा।
-रितु की मौत के बाद पुलिस ने फारेंसिक टीम को भी नहीं बुलाया।
-रितु ने अपने सुसाइड नोट में अपनी रूम पार्टनर के ब्वॉयफ्रेंड का जिक्र किया है, पुलिस ने अभी तक उससे भी पूछताछ नहीं की है।
-पुलिस ने रितु के मोबाइल को फैमिली को नहीं सौंपा है और न ही उसके बारे में कुछ बता रही है।
-चार लड़कियों के फ्लैट में इतनी रात गए रितु की रूममेट का ब्वॉयफ्रेंड क्या कर रहा था? पुलिस ने यह भी पूछताछ करने की जहमत नहीं उठाई।
-सुसाइड नोट में रितु ने उसे बियर की बोतल से मारे जाने का जिक्र किया है, उस रात लड़कियों के रूम में बियर लेकर कौन आया था ?
-जिस क्रीम को चुराने की बात डिपार्टमेंटल स्टोर के मालिक ने की थी उसने सीसीटीवी फुटेज क्यों नहीं दिखाया।
-रितु ऐसे परिवार से थी जो उसे हर महीने उसे जरुरत के हिसाब से एक्स्ट्रा पैसे भेजता था, ऐसे में उसके 85 रुपए की क्रीम चुराने का आरोप लगा।
कौन है रितु यादव?
रितु कानपुर के बर्रा थाना क्षेत्र के विश्व बैंक कालोनी में रहने वाले डॉ विश्वम्भर सिंह की बेटी है। डॉ सिंह पत्नी माधुरी, छोटी बेटी इशु और बेटे हर्ष के साथ रहते हैं। डॉ विश्वम्भर सिंह यादव एक नेचुरल थेरेपिस्ट हैं। उन्होंने अपनी बड़ी बेटी रितु यादव का एडमिशन ग्रेटर नोयडा के गलगोटिया कॉलेज में बीटेक (कंप्यूटर साइंस) में कराया था। रितु का सेकेंड सेमेस्टर चल रहा था और मई में इस सेमेस्टर के एग्जाम होने वाले हैं। एडमिशन के वक्त रितु को गलगोटिया कालेज के हॉस्टल में रूम नहीं मिल पाया तो उसने कालेज से लगभग 12 किलोमीटर दूर एनआरआई सिटी के 17वी मंजिल में रूम रेंट पर लिया था। रितु के साथ उसकी चार फ्रेंड ऋचा, विजया, प्रीति और समरा भी रहती थीं।
कहां रखा है रितु का शव ?
रितु के बाबा राम मोहन ने बताया कि उन लोगों ने अपने पैतृक गाँव कन्नौज के सहानपुर के घर में रितु के शव को 5 फीट गहरे गड्ढे में रखा है। उसके शव को सुरक्षित रखने के लिए रितु के पिता डॉ. विश्वम्भर ने नेचुरल थेरेपी का इस्तेमाल किया है। गड्ढे में पहले फूल बिछाकर शव पर इत्र और घी का लेप लगाया गया है। गड्ढे में मिट्टी नहीं डाली गई है, बल्कि गड्ढे को एक पालीथीन से ढककर उस पर लकड़ी के पटरे रख दिए गए हैं। फैमिली रितु का दोबारा पोस्टमार्टम न कराए जाने और मामले की जांच कर दोषियों के खिलाफ एक्शन न लिए जाने पर जल्द ही सीएम अखिलेश यादव से मिलने लखनऊ जाएगी।