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UP News: डॉक्टर के सामने पूर्व MP बेटे की ज़िंदगी की मांग रहे थे भीख फिर भी नहीं मिला बेड; सत्ताधारियों का ये हाल तो आम इंसान बेहाल!
UP News: बेटे की मौत के बाद भाजपा के पूर्व सांसद ने पीजीआई इमरजेंसी में धरना भी दिया। बाद में पीजीआई के निदेशक आरके धीमान के जांच के आश्वासन पर उन्होंने धरना समाप्त किया और बेटे के शव को लेकर रवाना हो गए।
UP News: बांदा के पूर्व भाजपा सांसद भैरो प्रसाद मिश्र के बेटे प्रकाश मिश्र की पीजीआई में इलाज न मिलने के कारण मौत हो गई। बेटे की मौत के बाद भाजपा के पूर्व सांसद ने आरोप लगाया है कि वे डॉक्टर से बेटे का इलाज करने की गुहार लगाते रहे मगर इलाज न मिलने के कारण बेटे की मौत हो गई।
बेटे की मौत के बाद भाजपा के पूर्व सांसद ने पीजीआई इमरजेंसी में धरना भी दिया। बाद में पीजीआई के निदेशक आरके धीमान के जांच के आश्वासन पर उन्होंने धरना समाप्त किया और बेटे के शव को लेकर रवाना हो गए। पीजीआई के डायरेक्टर ने मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया है। वहीं स्वास्थ्य मंत्री बृजेश पाठक ने प्रथम दृष्टया जांच में दोषी पाए गए डॉक्टर को कार्यमुक्त कर दिया।
पीजीआई के डॉक्टरों ने नहीं सुनी गुहार
भाजपा के पूर्व सांसद ने बताया कि उनका बेटा प्रकाश मिश्र गुर्दे की बीमारी से जूझ रहा था और शनिवार की रात हालत गंभीर होने पर वे बेटे को लेकर पीजीआई पहुंचे थे। इमरजेंसी में बेड नहीं खाली होने की बात कह कर 42 वर्षीय प्रकाश को पीजीआई में भर्ती नहीं किया गया। उन्होंने बताया कि उनके बेटे का पीजीआई में ही इलाज चल रहा था मगर हालत गंभीर होने पर उन्हें पीजीआई के डॉक्टरों की ओर से समय पर इलाज नहीं मिल सका।
उन्होंने कहा कि वे इमरजेंसी मेडिकल अफसर से लगातार अपने बेटे को भर्ती करने की गुहार लगाते रहे मगर उनकी गुहार को अनसुनी कर दिया गया। इलाज न मिलने के कारण एक घंटे में ही बेटे की मौत हो गई।
डायरेक्टर के आश्वासन पर खत्म किया धरना
भाजपा नेता भैरो प्रसाद मिश्र ने 2014 के लोकसभा चुनाव में बांदा लोकसभा सीट से जीत हासिल की थी। बेटे की मौत के बाद भाजपा के पूर्व सांसद पीजीआई इमरजेंसी में धरने पर बैठ गए। उनके धरने पर बैठने की जानकारी मिलने के बाद पीजीआई के निदेशक डॉक्टर आरके धीमान और सीईओ मौके पर पहुंचे। उन्होंने पूर्व सांसद को पूरे मामले की जांच करने का आश्वासन दिया। पीजीआई निदेशक के आश्वासन के बाद भाजपा के पूर्व सांसद बेटे का शव लेकर रवाना हो गए।
घटना की जांच के लिए कमेटी का गठन
पीजीआई के निदेशक ने बताया कि इस मामले की जांच के लिए कमेटी का गठन किया गया है। तीन सदस्यीय इस कमेटी में डॉक्टर संजय राय, डॉ डीके पालीवाल और डॉक्टर आरके सिंह को सदस्य बनाया गया है। उन्होंने बताया कि कमेटी से 48 घंटे के भीतर रिपोर्ट मांगी गई है और रिपोर्ट मिलने के बाद इस मामले में कार्रवाई की जाएगी।
वैसे पीजीआई की इमरजेंसी में बेड न मिलने के कारण पहले भी मौत की घटनाएं सामने आ चुकी हैं। हाल में पीजीआई की ओर से बेड बढ़ाने की दिशा में कदम उठाया गया है मगर मरीजों का भारी दबाव होने के कारण अभी भी काफी संख्या में मरीजों को बेड न मिलने की शिकायतें सामने आती रही हैं।