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Gorakhpur News: बाबुओं की चूक से जूनियर हो गए 205 दरोगा, हाईकोर्ट के संज्ञान के बाद शुरू हुआ सुधार
Gorakhpur News: यूपी के तीन जिलों (गोरखपुर, अयोध्या और बरेली) के लिपिकों ने अपने यहां ज्वाइन करने वाले सब इंस्पेक्टर को दो साल जूनियर कर दिया था।
Gorakhpur News: उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में बाबुओं की लिपिकीय चूक से 205 दरोगा दो साल तक जूनियर हो गए है। मामले का संज्ञान हाईकोर्ट ने लिया। हाईकोर्ट के दखल के बाद एसएसपी ने सुधार की कवायद शुरू कर दी है। 21 दरोगा के बैच में सुधार हो गया है। 7 साल बाद शुरू हुई प्रक्रिया के बाद दरोगा खुश हैं।
यूपी के तीन जिलों (गोरखपुर, अयोध्या और बरेली) के लिपिकों ने अपने यहां ज्वाइन करने वाले सब इंस्पेक्टर को दो साल जूनियर कर दिया था। उन्होंने जिले की ज्वाइनिंग डेट को ही बैच बना दिया था, जबकि अन्य जिलों ने ट्रेनिंग डेट को बैच बनाते हुए पीएनओ जारी किया था। इससे एक ही साथ काम करने वाले दरोगा अगर इन तीनों जिले में नौकरी ज्वाइन किए तो दो साल जूनियर हो गए, जबकि यूपी के अन्य जिलों में ज्वाइन करने वाले उनके साथी दरोगा दो साल सीनियर हो गए। दरोगा ने यह मामला उठाया पर बाबू गुमराह करते रहे। अयोध्या में तैनात एक दरोगा हाईकोर्ट चला गया। हाईकोर्ट ने जब संज्ञान लिया तब मुख्यालय ने गलती सुधारने का निर्देश दिया और अयोध्या ने अपने यहां गलती सुधार ली। गोरखपुर ने भी सभी दरोगा से आवेदन मांगे गए। पता चला कि गोरखपुर में 205 के करीब दरोगा को जूनियर किया गया था। एसएसपी डॉ.गौरव ग्रोवर का कहना है कि 2015 की जगह 2017 बैच एलॉट होने वाले दरोगा से आवेदन लेकर उनका पीएनओ नम्बर ठीक कराया जा रहा है। अब तक 21 का पीएनओ ठीक कर दिया गया है। गोरखपुर में तैनात 161 का ठीक कराना है। कुछ लोग ट्रांसफर पर दूसरे जिले में चले गए हैं उनकी प्रक्रिया भी पूरी कराई जाएगी।
21 दरोगा के बैच में हुआ सुधार
दो साल जूनियर हुए दरोगा के बैच के सुधार की प्रक्रिया सात साल बाद तेज हो गई है। अब तक 21 दरोगा का बैच सुधारा जा चुका है, जबकि 184 का सुधारना अभी बाकी है। इनमें 44 का जिले से ट्रांसफर हो गया है। उन्हें भी सूचना दी जा रही है ताकि वे अपना आवेदन भर सकें। सुधार की इस प्रक्रिया पर एसएसपी स्वयं नजर रख रहे हैं। वहीं एसपी ऑफिस इससे जुड़ी दिक्कतों पर मुख्यालय से बात कर ठीक करा रहा है। एसएसपी ने बताया कि इसी सप्ताह गोरखपुर में तैनात सभी दरोगा का बैच सुधार कर 2015 का पीएनओ जारी करा दिया जाएगा। सात साल की नौकरी के दौरान इन दरोगा ने ढेर सारी जांच और विवेचनाएं की होंगी। कुछ मामलों का ट्रायल शुरू हो गया होगा तो कुछ का होने वाला होगा। ऐसे में नया बैच एलॉट करने के साथ पुराने बैच का भी सर्विस बुक में जिक्र रहेगा, ताकि उन्हें ट्रेस करने में किसी तरह की दिक्क्त न हो।