Gorakhpur News: सीतानगरी से गोरक्षनगरी होते हुए रामनगरी जाएगी अमृत भारत ट्रेन, रेलवे ने जारी किया शिड्यूल

Gorakhpur News: सीतानगरी से गोरक्षनगरी होते हुए रामनगरी तक जाने वाली अमृत भारत ट्रेन का रेलवे ने शिड्यूल जारी कर दिया है। गोरखपुर से ट्रेन देर रात अयोध्या के लिए रवाना होगी।

Purnima Srivastava
Published on: 27 Dec 2023 2:34 AM GMT
Gorakhpur News: सीतानगरी से गोरक्षनगरी होते हुए रामनगरी जाएगी अमृत भारत ट्रेन, रेलवे ने जारी किया शिड्यूल
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Gorakhpur News: अयोध्या में 22 जनवरी को होने वाले प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम से पहले रेलवे से लेकर परिवहन निगम इस तैयारी में जुट गए हैं कि देश के विभिन्न हिस्सों से लोग अयोध्या तक आसानी से पहुंच सकें। इसी क्रम में सीतानगरी से गोरक्षनगरी होते हुए रामनगरी तक जाने वाली अमृत भारत ट्रेन का रेलवे ने शिड्यूल जारी कर दिया है। गोरखपुर से ट्रेन देर रात अयोध्या के लिए रवाना होगी। देर रात निकले श्रद्धालुओं को सुबह रामलला के दर्शन की सहूलियत होगी।

सीतानगरी को रामनगरी से जोड़ने वाली देश की पहली अमृत भारत ट्रेन का ट्रायल रन टाइमटेबल को जारी कर दिया गया। पुश-पुल तकनीक से चलने वाली यह ट्रेन बिहार के दरभंगा से दिन में तीन बजे चल कर रात 11.10 बजे गोरखपुर जंक्शन पर पहुंचेगी और यहां 15 मिनट रुकने के बाद अयोध्या रवाना हो जाएगी। पौने तीन घंटे के सफर के बाद यह ट्रेन देर रात 2.45 बजे अयोध्या पहुंचेगी और फिर यहां से आनंद विहार के लिए रवाना हो जाएगी। इस ट्रेन को 30 दिसम्बर को पीएम नरेन्द्र मोदी हरी झंडी दिखाएंगे। बताया जा रहा है कि ट्रायल रन का टाइम टेबल ही रूटीन संचलन के लिए भी लागू रहेगा।

सामान्य यात्रियों के ध्यान रखते हुए सिर्फ स्लीपर और जनरल कोच

शुरुआत में ट्रेन में सिर्फ स्लीपर और जनरल कोच लगेंगे। एक ट्रेन की रेक में स्लीपर के 12, जनरल के 8, एक-एक पार्सल यान और ब्रेक यान (गार्ड यान) सहित कुल 22 कोच लगाए जाएंगे। आने वाले दिनों में एसी कोच भी लगाए जाएंगे। फिलहाल, स्लीपर व जनरल के कारण मध्यमवर्गीय यात्रियों को राहत मिलेगी। यह ट्रेन गोरखपुर व आसपास के यात्रियों के लिए काफी सुविधाजन होगी। देर रात 2.45 बजे अयोध्या पहुंच कर श्रद्धालु सरयू में स्नान कर भोर में ही रामलला और हनुमानगढ़ी के दर्शन कर सकेंगे।

दो इंजनों से संचालित होगी ट्रेन

अयोध्या तक जाने वाली यह ट्रेन वंदे भारत की तरह पुश-पुल ट्रेनों में भी दोनों तरफ पावरफुल इंजन लगेंगे। आगे वाला इंजन ट्रेन को खींचेगा, पीछे वाला धक्का देगा। दोनों इंजनों के संचालित होने से ट्रेन की गति बढ़ जाएगी। ट्रेन स्टेशनों पर जिस गति से रुकेंगी, उसी गति से रफ्तार भी पकड़ लेगी। स्टेशन से छूटने के साथ आगे के स्टेशनों पर ठहराव और प्रस्थान में लगने वाले समय की बचत होगी।

Monika

Monika

Content Writer

पत्रकारिता के क्षेत्र में मुझे 4 सालों का अनुभव हैं. जिसमें मैंने मनोरंजन, लाइफस्टाइल से लेकर नेशनल और इंटरनेशनल ख़बरें लिखी. साथ ही साथ वायस ओवर का भी काम किया. मैंने बीए जर्नलिज्म के बाद MJMC किया है

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