Gorakhpur News: विशेष संचारी रोग नियंत्रण, स्टॉप डायरिया और दस्तक अभियान का हुआ आगाज, किया गया जागरूक

Gorakhpur News: एक महीने तक चलने वाले विशेष संचारी रोग नियंत्रण, दो महीने तक प्रस्तावित स्टॉप डायरिया अभियान और 21 दिन तक घर-घर चलने वाले दस्तक अभियान की शुरुआत सोमवार से हो गई।

Purnima Srivastava
Published on: 1 July 2024 10:25 AM GMT
Special communicable disease control, stop diarrhea and Dastak campaign started, awareness created
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विशेष संचारी रोग नियंत्रण, स्टॉप डायरिया और दस्तक अभियान का हुआ आगाज, किया गया जागरूक: Photo- Newstrack

Gorakhpur News: उत्तर प्रदेश के गोरखपुर जिले में एक महीने तक चलने वाले विशेष संचारी रोग नियंत्रण, दो महीने तक प्रस्तावित स्टॉप डायरिया अभियान और 21 दिन तक घर-घर चलने वाले दस्तक अभियान का सोमवार से आगाज हो गया। महापौर डॉ. मंगलेश श्रीवास्तव ने सोमवार को मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय से अभियान संबंधी प्रचार वाहनों, नगर निगम के वाहनों और स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों व कर्मचारियों की रैली को हरी झंडी दिखा कर रवाना किया। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ.आशुतोष कुमार दूबे के साथ उन्होंने टाऊनहाल चौराहे तक रैली का नेतृत्व भी किया। जिले के सभी ब्लॉक से जनप्रतिनिधियों ने भी इन अभियानों का शुभारंभ किया।

मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ.आशुतोष कुमार दूबे ने इस मौके पर ने बताया कि इंसेफेलाइटिस, डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया, स्क्रबटाइफस और लेप्टोस्पायरोसिस जैसी बीमारियों पर नियंत्रण के लिए एक माह तक विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान 01 जुलाई से 31 जुलाई तक चलेगा। इसके लिए चिकित्सा विभाग, आईसीडीएस, ग्राम्य विकास व पंचायती राज, शिक्षा, नगर निगम व शहरी विकास, कृषि, पशुपालन दिव्यांग कल्याण स्वच्छ भारत मिशन, सूचना, चिकित्सा शिक्षा, जल निगम और खाद्य व औषधि प्रशासन विभाग मिल कर कार्य करेंगे। स्वास्थ्य विभाग नोडल की भूमिका में रहेगा।


उन्होंने बताया कि ग्राम्य विकास व पंचायती राज विभाग ग्रामीण क्षेत्र में, जबकि नगर निगम व शहरी विकास विभाग शहरी क्षेत्र में वेक्टर नियंत्रण गतिविधियां, स्वच्छ पेयजल, पर्यावरणीय स्वच्छता और व्यक्तिगत स्वच्छता के लिए कार्य करेंगे। शिक्षा विभाग नोडल अध्यापकों के जरिये वेक्टर जनित रोगों, जल जनित रोगों और दस्त से बचाव, बीमारियों की रोकथाम व उपचार के लिए अभिभावकों और बच्चों का संवेदीकरण करेगा। विभिन्न प्रतियोगिताओं और डेमो के जरिये बीमारियों से बचाव के लिए नोडल अध्यापकों के जरिये व्यवहार परिवर्तन किया जाएगा। पशुपालन विभाग, पशुपालकों को पशु बाड़ों की स्वच्छता, कचरा निस्तारण और मच्छररोधी जाली से पशु बाड़ों को ढकने के लिए प्रेरित करेगा।

डॉ. दूबे ने बताया कि खाद्य व औषधि प्रशासन विभाग खुले में बिकने वाले दूषित खाद्य पदार्थों पर नियंत्रण, कृषि व उद्यान विभाग चूहा, छछूंदर पर नियंत्रण की गतिविधियां व मच्छररोधी पौधे लगाने, सिंचाई विभाग तालाबों और नहरों के आसपास जलजमाव की साफ सफाई के जरिये मच्छरों पर नियंत्रण, स्वच्छ भारत मिशन लोगों को शौचालयों का प्रयोग करने के बारे में जनजागरूकता और आईसीडीएस विभाग कुपोषित बच्चों की पहचान व उपचार के लिए गतिविधि करेगा। मत्स्य विभाग के जरिये हाई रिस्क गांवों के जलस्रोतों में गम्बुजिया मछली डाली जाएंगी। स्वास्थ्य विभाग बीमारियों से बचाव के बारे में जागरूक करेगा और साथ ही मच्छरों के सघन घनत्व वाले क्षेत्रों को चिन्हित कर उनकी सूची संबंधित विभागों को उपलब्ध कराएगा। इस मौके पर अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ एके चौधरी़, डॉ एनएल कुशवाहा, डॉ गणेश कुमार यादव, जिला सर्विलांस अधिकारी डॉ राजेश कुमार, जिला मलेरिया अधिकारी अंगद सिंह, जेई-एईएस कंसल्टेंट सिद्धेश्वरी सिंह, सहयोगी संस्था डब्ल्यूएचओ, यूनिसेफ और पाथ के प्रतिनिधिगण प्रमुख तौर पर मौजूद रहे।

ऐसे चलेगा दस्तक अभियान

सीएमओ ने बताया कि 11 से 31 जुलाई तक दस्तक अभियान चलेगा, जिसमें आशा और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता साथ साथ घर घर जाकर बुखार के रोगियों को खोजेंगी। इस दौरान टीबी, फाइलेरिया, मलेरिया आदि के संभावित मरीजों को खोज कर उनकी सूची बनाई जाएगी और उन्हें जांच व उपचार की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। दस्तक के दौरान आशा कार्यकर्ता लोगों का आभा आईडी भी जेनरेट करेंगी। इसके लिए संबंधित व्यक्ति को आधार नंबर बताना होगा ।

ऑनलाइन होगी निगरानी

जिला मलेरिया अधिकारी अंगद सिंह ने बताया कि विशेष संचारी रोग नियंत्रण और दस्तक अभियान की निगरानी ऑनलाइन डैशबोर्ड के जरिये प्रतिदिन की जाएगी। सहयोगी संस्थाओं के सहयोगात्मक पर्यवेक्षण के आधार पर जहां कहीं भी कमियां मिलेंगे, ब्लॉक स्तरीय अधिकारी इस डैशबोर्ड के जरिये देख कर उन्हें ठीक करवा सकेंगे। दस्तक के दौरान लोगों को डेंगू से बचाव के बारे में खासतौर से जागरूक किया जाएगा और मच्छरों के प्रजनन स्रोतों को नष्ट करने के लिए भी प्रेरित करेंगे।


दो महीने चलेगा स्टॉप डायरिया अभियान

मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने बताया कि पहली बार एण्टी डायरिया अभियान को विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान के साथ शुरू किया जा रहा है। इसके तहत जिन घरों में पांच वर्ष से कम उम्र के बच्चे हैं उन घरों में आशा कार्यकर्ता व आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ओआरएस का पैकेट देंगी। अगर दस्त से पीड़ित बच्चे वाला घर है तो वहां जिंक की गोलियां भी दी जाएंगी। सभी अस्पतालों पर ओआरएस काउंटर बनाए जाएंगे। आंगनबाड़ी केंद्र भी ओआरएस डिपो की तरह कार्य करेंगे। पंचायती राज और नगरीय निकाय से जुड़े कर्मी स्वच्छ पेयजल और साफ सफाई सुनिश्चित कराएंगे। शिक्षा विभाग विद्यार्थियों और उनके अभिभावकों को डायरिया के बारे में जागरूक करेगा। डायरिया रोको अभियान 31 अगस्त तक चलेगा। इसके जरिये प्रयास होगा कि डायरिया से होने वाली जटिलताओं को रोक कर बच्चों की मृत्यु दर को कम किया जाए।

Shashi kant gautam

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