Gorakhpur News: बाजार के लिए जरूरी है मशीनों का प्रयोग, गुणवत्ता के साथ प्रोडक्ट बनाने में आएगी तेजी

Gorakhpur News: सेमिनार के शिल्पकारी सत्र में विशेषज्ञ देवानंद गुप्त ने शिल्पकारों को नए नए गुण समझाए। उन्होंने अपने कहा कि मृद् भांड नव पाषाण काल से चला आ रहा है किंतु आज वर्तमान समय में पूजा पाठ की सामग्री तक ही सीमित रह गया है।

Purnima Srivastava
Published on: 30 July 2024 2:58 PM GMT
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Gorakhpur News: उत्तर प्रदेश खादी तथा ग्रामोद्योग बोर्ड के तत्वावधान में उत्तर प्रदेश माटी कला बोर्ड द्वारा विपणन विकास सहायता एवं प्रचार प्रसार योजनान्तर्गत एक दिवसीय मंडल स्तरीय माटी कला सेमिनार एवं टूल किट्स प्रमाण पत्र वितरण कार्यक्रम का आयोजन कंबल कारखाना खजनी गोरखपुर में मंगलवार को किया गया। सेमिनार के तकनीकी सत्र को संबोधित करते हुए तकनीकी सत्र विशेषज्ञ मनोज कुमार ने कहा कि आधुनिक युग में कार्य को सुलभ बनाने हेतु बहुत सी मशीन आ गई है जिनके प्रयोग से अपने प्रोडक्ट की अच्छी क्वालिटी के साथ कम से कम समय में अधिक से अधिक उत्पाद में तैयार किया जा सकती है। श्री मनोज कुमार ने कहा कि माटी कला के कारीगरों के लिए जो भट्टी प्रयोग की जाती है वह वस्तुतः दो प्रकार की होती है। जिन्हे अप ड्राफ्ट और डाउन ड्राफ्ट भट्टी के तौर पर जाना जाता है। उन्होंने कहा कि कारीगरों के लिए उत्तम भट्टी वही होती है जो स्थानीय रूप से सर्वसुलभ हो। जिससे सस्ती ईंधन आसानी से प्राप्त हो जाए।उन्होंने कहा कि छोटे स्तर पर कार्य करने पारंपरिक भट्टी का ही इसेमाल करना चाहिए।

सेमिनार के शिल्पकारी सत्र में विशेषज्ञ देवानंद गुप्त ने शिल्पकारों को नए नए गुण समझाए। उन्होंने अपने कहा कि मृद् भांड नव पाषाण काल से चला आ रहा है किंतु आज वर्तमान समय में पूजा पाठ की सामग्री तक ही सीमित रह गया है। उन्होंने कहा कि कुछ शिल्पकार हैं जो दैनिक जीवन में प्रयोग आने वाली वस्तुओं का निर्माण कर रहे हैं। इन्हीं वस्तुओं का अधिक से अधिक उत्पादन करके अपने व्यवसाय में वृद्धि किया जा सकता है। उन्होंने मृद् भांड सामग्री, गृह निर्माण सामग्री, सजावटी सामग्री एवं मूर्ति खिलौना के निर्माण तथा इनमें आनी समस्याओं के निदान पर प्रकाश डाला।


मार्केटिंग पर सरकार कर रही काम

सेमिनार में व्यावसायिक सत्र को संबोधित करते हुए सत्र विशेषज्ञ अजय कुमार ने उत्पादों के बाजार में उतारने से लेकर व्यवसाय की सफलता तक के हर पहलू की चर्चा की। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा विभिन्न प्रकार की योजनाओं का संचालन किया जा रहा है जिससे शिल्पकार समृद्ध हो। उन्होंने कहा की माटी कला के व्यावसायिक अवसरों की पहचान उत्पादों की बाजार में मांग उत्पादों की कीमत निर्धारण मार्केटिंग और ब्रांडिंग गुणवत्ता नियंत्रण पैकेजिंग और परिवहन बिक्री और वितरण प्रदर्शनियां और नवाचार पर सरकार जोर दे रही है जिससे शिल्पकारों के व्यवसाय में किसी भी प्रकार की कोई दिक्कत न आए और व्यवसाय सुचारू रूप से चले।


शिल्पकारों में टूल किट और प्रमाण पत्र का हुआ वितरण

इससे पूर्व सेमिनार का उद्घाटन तहसीलदार खजनी कृष्ण गोपाल त्रिपाठी एवं पूर्व विधायक पूर्व सदस्य उत्तर प्रदेश खादी तथा ग्रामोद्योग बोर्ड लल्लन तिवारी परिषेत्रीय ग्रामोद्योग अधिकारी ए के पाल ने दीप प्रज्वलित कर किया। तहसीलदार कृष्ण गोपाल त्रिपाठी ने कहा कि तकनीकी शिल्पकारी तथा व्यावसायिक सत्र में हिस्सा लेने वाले शिल्पकारों के विकास में यह सेमिनार मील का पत्थर साबित होगा। उन्होंने सेमिनार में बढ़ चढ़कर हिस्सा लेने की अपील की। श्री त्रिपाठी ने सेमिनार के उपादेयता पर प्रकाश डाला और सरकार की योजनाओं की जानकारी प्रतिभागियों को दी।


सेमिनार की अध्यक्षता करते हुए पूर्व विधायक एवं पूर्व सदस्य उत्तर प्रदेश खादी तथा ग्रामोद्योग बोर्ड लल्लन तिवारी ने सेमिनार की सफलता के लिए आयोजको को बधाई देते हुए कहा कि ऐसे आयोजन शिल्पियों में उत्साह एवं ऊर्जा भरते है। उन्होंने कहा कि आज का यह सेमिनार हुनरमंद हाथों को अपने व्यवसाय को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा करेगा। अतिथियों का स्वागत करते हुए परिक्षेत्रीय ग्रामोद्योग अधिकारी ए के पाल ने कहा उत्तर प्रदेश माटी कला बोर्ड की योजनाओं से शिल्पकारों को अवगत कराया। शिल्पकारों को टूल किट्स एवं प्रमाण पत्र वितरण भी किया गया।

Shalini singh

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