Hapur News: आफत बन रहा पेंशन पाना, दर-दर भटकने को मजबूर बुजुर्ग

Hapur News: पिपलैड़ा से चलकर पहुंची दिव्यांग सेठानी बताती हैं कि उनके पति भी दिव्यांग हैं। वह महीनों से पेंशन पाने को चक्कर लगा रहे हैं। उनकी दरकार एक दिव्यांग साइकिल पाने की हैं, लेकिन कोई परेशानी सुनने तक को तैयार नहीं है।

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Published on: 11 Sep 2024 11:35 AM GMT (Updated on: 11 Sep 2024 11:35 AM GMT)
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Hapur News (Pic: Newstrack)

Hapur News: जीवन के अंतिम पड़ाव पर दस्तक देते इन मजबूरों को देखिए। इनके चेहरों की झुर्रियां, आंखों की लाचारी, कमजोर शरीर और कांपती आवाज अपने हालात बयां करने के लिए काफी हैं। इनकी स्थिति ही बता रही है कि दो वक्त की रोटी की जरूरत न होती, तो यह इस तरह नहीं भटक रहे होते। सिस्टम की बेरुखी ही इनकी लाचारी को विकास भवन तक खींच लाई है। सुबह से भूख-प्यास और दुत्कार सहकर इनकी लालसा बस इतनी है, कि अफसर इनकी फरियाद सुन लें और बाबू दुत्कारें नहीं। यह एक हजार रुपये की पेंशन के लिए कई-कई महीने से भटक रहे हैं, लेकिन जिम्मेदारों को इनकी लाचारी और अपने कर्तव्य का अहसास तक नहीं है।

पेंशन की आस में दर-दर की खा रही ठोकरें

जिले के विभिन्न क्षेत्रों से चलकर विकास भवन में पहुंची इन महिलाओं को पेंशन की बेहद जरुरत है। इनकी पेंशन एकाएक रोक दी गई हैं। एक हजार रुपये पेंशन की आस में यह हफ्तों-महीनों तक विकास भवन में बैंच-फर्स और सीढ़ियों पर बैठकर अपना हक पाने का इंतजार करती हैं। इनमें किस्मत की मारी विधवाएं, जीवन से थक सी गई बुजुर्ग महिलाएं और मुश्किल से चल-फिर पा रही दिव्यांग हैं। इनका कार्य बस इतना है कि पेंशन की फाइल में आधार कार्ड लग जाए। शासन ने पिछले दिनों पेंशन को आधार कार्ड से अटैच कर दिया है। जिनके आधार कार्ड अटैच नहीं हुए हैं, उनकी पेंशन रुक गई है। यह उन अधिकारियों से फरियाद लगाने आईं हैं, जो आफिस के दरवाजे तक इनके खोलने को तैयार नहीं हैं।

पेंशन पाने वाली विधवा और बुजुर्ग परेशान

पिपलैड़ा से चलकर पहुंची दिव्यांग सेठानी बताती हैं कि उनके पति भी दिव्यांग हैं। वह महीनों से पेंशन पाने को चक्कर लगा रहे हैं। उनकी दरकार एक दिव्यांग साइकिल पाने की हैं, लेकिन कोई परेशानी सुनने तक को तैयार नहीं है। यही हाल रफीकन का है। वह कम सुनती भी हैं, ऐसे में आने-जाने में बड़ी परेशानी होती है। कैलाशों और हसीना सभी का हाल एक जैसा ही है। सभी अफसरों की दुत्कार और फटकार की शिकार हैं और पेंशन पाने को मारी-मारी फिर रही हैं। तहसील के अधिकारियों से निराश होकर यह जिला मुख्यालय तक आई हैं, लेकिन यहां पर भी विधवा और बुजुर्ग सभी परेशान हैं।

क्या बोली अधिकारी ?

जिला प्रोवेजन अधिकारी स्मिता सिंह नें कहा की पेंशन को पिछले दिनों आधार कार्ड से लिंक कर दिया गया हैं। ऐसे में महिलाएं पेंशन से आधार को अटैच कराने आ रही हैं। हमारा पूरा प्रयास है कि कोई परेशान न हो। स्टाफ को प्राथमिकता के आधार पर इनके कागजात लेकर लगाने को कहा गया है। संख्या ज्यादा होने के कारण किसी को कुछ परेशानी हो सकती है। इस कार्य में और सुधार किया जाएगा।

Durgesh Sharma

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