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Hapur News: सैंपल की जाँच से बचना है तो 50 हजार दो, वरना होगी कार्रवाई
Hapur News: शासन की ओर से रक्षा बंधन व जन्माष्टमी पर खाद्य पदार्थों की जांच के अभियान चलाने के निर्देश प्राप्त हुए थे। इस संबंध में जिलाधिकारी ने खाद्य सुरक्षा विभाग के सभी अधिकारियों की बैठक ली थी।
Hapur News: खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग के अधिकारियों के उत्पीड़न से जिले के व्यापारी परेशान हैं। सैंपल भरने की धमकी देकर दुकानदारों ने 20 से 50 हजार रुपये तक की डिमांड की जा रही है। विरोध करने पर कारोबार नहीं करने देने की धमकियां दी जा रही हैं। वहीं लाइसेंस नवीनीकरण के नाम पर भी पांच से 20 हजार रुपये तक की वसूली की जा रही है। उत्पीड़न से परेशान व्यापारी खौफ के साए में जी रहे हैं। समाज सेवी व उद्योग व्यापार मंडल के पदाधिकारी प्रवीण मित्तल ने इसकी शिकायत मुख्यमंत्री और जिलाधिकारी सहित वरिष्ठ अधिकारियों से की है।
यह है स्थिति
शासन की ओर से रक्षा बंधन व जन्माष्टमी पर खाद्य पदार्थों की जांच के अभियान चलाने के निर्देश प्राप्त हुए थे। इस संबंध में जिलाधिकारी ने खाद्य सुरक्षा विभाग के सभी अधिकारियों की बैठक ली थी। उसमें निर्देश दिए गए थे कि खाद्य पदार्थों की गुणवत्ता बनाए रखने के लिए पहल करनी है। मिलावटी, अधाेमानक व स्वास्थ्य के लिए खतरनाक खाद्य पदार्थों की बिक्री किसी कीमत नहीं होने पाए। वहीं बेवजह व्यापारियों का उत्पीड़न नहीं होने पाए। अभियान के लिए दो टीमों का गठन किया गया था। दोनों टीमों ने अभियान चलाया और सैंपल लेकर जांच को भेजे।
सैंपल लेने के नाम पर खेल
खाद्य सुरक्षा विभाग के मानक के अनुसार सैंपल लेकर मौके पर ही सील करना होता है। उसकी सीलिंग पर दुकानदार के भी हस्ताक्षर होते हैं। खाद्य सुरक्षा अधिकारी सैंपल को मौके पर सील नहीं कर रहे हैं। कई स्थानों पर वह दुकानदार से सैंपल लेकर आ जाते हैं। उसके बाद सौदेबाजी शुरू होती है। दुकानदारों से उगाही की जाती है। रुपये नहीं देने वालों के सैंपल जांच को भेज दिए जाते हैं, जबकि अन्यों के स्थानीय स्तर पर ही रफा-दफा कर दिए जाते हैं। ऐसे कई मामले शहर, धौलाना और पिलखुआ क्षेत्र में सामने आए हैं।
अब डरा-धमकाकर की जा रही वसूली
खाद्य सुरक्षा अधिकारी अब दुकानदारों पर दबाव बनाकर वसूली कर रहे हैं। दुकानदारों से 20 से 50 हजार रुपये तक देने का दबाव बनाया जा रहा है। जो दुकानदार रुपये नहीं दे रहे हैं, उनको सैंपल लेने और किसी कीमत पर कारोबार नहीं करने देने की धमकी दी जा रही है। वहीं खाद्य लाइसेंस बनाने के नाम पर पांच से 20 हजार रुपये तक मांगे जा रहे हैं। दुकानदारों तक मैसेज पहु़ंचने से रोकने के लिए सिस्टम में उनके नंबर बदल दिए गए हैं। इस पर प्रवीण मित्तल ने इसकी शिकायत मुख्यमंत्री, प्रमुख सचिव खाद्य सुरक्षा, कमिश्नर खाद्य सुरक्षा, मंडलायुक्त और जिलाधिकारी से की है।
क्या बोले व्यापार प्रकोष्ठ के प्रदेश संयोजक
विनीत शारदा नें कहा कि, कुछ अधिकारी सपा-बसपा शासन के अपने व्यवहार को बदलने को तैयार नहीं है। वह व्यापारियों का उत्पीड़न करके आग से खेल रहे हैं। इसको किसी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जाएगा। मैं मुख्यमंत्री के समक्ष व्यक्तिगत रूप से भी इस मामले को उठाऊंगा।
अधिकारी नें जाँच के दिए आदेश
उपायुक्त-खाद्य-सुरक्षा महेंद्र श्रीवास्तव नें जानकारी देते हुए बताया कि,मेरे संज्ञान में ऐसा कोई मामला नहीं है। किसी ने शिकायत भी नहीं दी है। शिकायत आती है तो उसके आधार पर जांच की जाएगी। किसी हालत में व्यापारियों का उत्पीड़न स्वीकार नहीं होगा। संबंधित अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।