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फिर कानूनी शिकंजे में आजम खान, अमिताभ ठाकुर को बताया था कलंक, कोर्ट ने किया तलब
कोर्ट ने सीनियर आईपीएस अमिताभ ठाकुर और राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ पर आजम खान की टिप्पणी को मानहानिपूर्ण, अपमानजनक और अफवाह फैलाने वाला करार देने वाले आरोपों को प्रथम दृष्टया सही पाया है। कोर्ट ने कहा कि मामले में विचार के लिए पर्याप्त सबूत मौजूद हैं।
लखनऊ: एक स्थानीय कोर्ट ने वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी पर टिप्पणी को लेकर सूबे के काबीना मंत्री आजम खान को तलब किया है। आजम खान ने आईपीएस अमिताभ ठाकुर को प्रशासनिक सेवा के नाम पर कलंक बताया था। कोर्ट ने आजम खान को समन जारी करते हुए 24 जनवरी को तलब किया है। इससे पहले बुलंदशहर रेप पीड़िता मामले में आजम खान को सुप्रीम कोर्ट से फटकार के बाद बिना शर्त माफी मांगनी पड़ी थी।
आजम खान फंसे
-कोर्ट ने सीनियर आईपीएस अमिताभ ठाकुर और राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ पर आजम खान की टिप्पणी को मानहानिपूर्ण, अपमानजनक और अफवाह फैलाने वाला करार देने वाले आरोपों को प्रथम दृष्टया सही पाया है।
-कोर्ट ने कहा कि आजम खान के मामले में विचार के लिए उनके खिलाफ पत्रावली पर पर्याप्त सबूत मौजूद हैं।
-यह आदेश सीजेएम सन्ध्या श्रीवास्तव ने अमिताभ ठाकुर की ओर से दाखिल एक परिवाद पर संज्ञान लेते हुए दिया है।
-कोर्ट ने अमिताभ ठाकुर को भी यह आदेश दिया है कि वह 15 दिन में गवाहों की सूची दाखिल करें।
ठाकुर के आरोप
-आईपीएस अमिताभ ठाकुर के परिवाद में आरोप लगाया गया है कि 30 नवंबर, 2015 को रामपुर में एक पत्रकार वार्ता के दौरान आजम खान ने उनके लिए अत्यन्त अमर्यादित व अनुचित शब्दों का इस्तेमाल किया।
-आजम खान ने कहा कि अमिताभ ठाकुर प्रशासनिक अधिकारी के नाम पर कलंक हैं।
-यह भी कहा गया कि आजम खान ने आरएसएस के लिए भी बेहद अमर्यादित शब्दों का इस्तेमाल किया था।
समन जारी करने के आदेश
-अमिताभ का कहना था कि वह अपने खिलाफ व्यक्तिगत टिप्पणी व संघ से जुड़ाव के कारण उसके खिलाफ भी अनुचित टिप्पणी से बेहद आहत हैं।
-लिहाजा आजम खान के खिलाफ मानहानि व समाज में विद्वेष पैदा करने के आरोप में कार्रवाई की जाए।
-करीब साल भर की अदालती कार्यवाही के बाद सीजेएम ने प्रथम दृष्टया अमिताभ ठाकुर के आरोपों को वाजिब माना।
-लिहाजा बतौर मुल्जिम आजम खान के विरुद्ध आईपीसी की धारा 500, 504 व 505 के तहत समन जारी करने का आदेश दिया।
-मामले की अगली सुनवाई 24 जनवरी को होगी।