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Jalaun: बारिश ने बढ़ाई मुसीबत, माताटीला-राजघाट से छोड़े गये पानी से यमुना का बढ़ा जलस्तर
Jalaun: मूसलाधार बारिश के बाद माताटीला और राजघाट से पानी छोड़े जाने के बाद बेतवा व पहुंज नदी के जलस्तर में तेजी से बढ़ोत्तरी हुई है। जिससे कई गांव में बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो गई।
Jalaun News: जिले में बीते दिनों हुई मूसलाधार बारिश के बाद माताटीला और राजघाट से पानी छोड़े जाने के बाद बेतवा व पहुंज नदी के जलस्तर में तेजी से बढ़ोत्तरी हुई है। जिससे कई गांव में बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो गई। वहीं यमुना नदी खतरे के निशान 108 मीटर से बढ़कर 64 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है। जिससे जनपद के कई गांव प्रभावित हुए हैं। वहीं कालपी के यमुना किनारे बसे दर्जनों गांव का तहसील मुख्यालय से संपर्क टूट गया है। जिसको देखते हुए प्रशासन पूरी तरह से सतर्क है। नाव के साथ-साथ एसडीआरएफ को लगा दिया गया है जिससे लोगों को सकुशल राहत शिविर तक पहुंचाया जा सके। वहीं यमुना में बढ़ता जल स्तर को देखने के लिए डीएम-एसपी ने प्रशासनिक अमले के साथ यमुना पट्टी के किनारे बसे गांव पहुंचकर का बाढ़ का जायजा लिया ।
बता दें कि यमुना वेतवा और पहुंज नदी में आई बाढ़ के कारण कोंच तहसील का सलैया बुजुर्ग और नदीगांव ब्लॉक के मऊ गांव, माधौगढ़ तहसील के गांव कूसेपुरा, डिकौली जागीर, किशनपुरा, महारापूरा, निनावली जागीर तथा यमुना के जलस्तर बढ़ने से कालपी तहसील के पड़री,रायड दिवारा मगरौल गांव बाढ़ से प्रभावित हुए हैं। जलस्तर तेजी से बढ़ाने के कारण दर्जनों लोग प्रभावित हुई है। कई गांव में बाढ़ की चपेट में आए है।
शनिवार को जिलाधिकारी राजेश कुमार पांडे एवं पुलिस अधीक्षक डॉक्टर दुर्गेश कुमार पूरे प्रशासनिक अमले के साथ बाढ़ क्षेत्र का दौरा कर अधिकारियों को दिशा निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि बाढ़ पीड़ितों की हर संभव मदद की जाए। साथ ही जिन गांवों में बाढ़ में लोग फंसे हैं। उन्हें रेस्क्यू कर राहत कैंपों में पहुंचाया जाए। जहां उनके खाने-पीने की व्यवस्था के साथ में स्वास्थ्य को देखते हुए टीम को भी लगाया जाए। वही कोंच तहसील में बनाए गए राहत कैंप में उप जिलाधिकारी कोंच ज्योति सिंह ने बाढ पीड़ितों को राहत किट वितरण की।