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Jhansi News: जिला प्रशासन ने मृत बच्चों के परिजनों के खातों में भेजी 5 लाख रुपए की सहायता धनराशि : डीएम
Jhansi News: जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने यह भी बताया कि मेडिकल कॉलेज में दुःखद अग्निकांड घटना के बाद मेडिकल कॉलेज प्रशासन द्वारा अस्पताल के मेडिकल रिकॉर्ड के परीक्षण के 49 बच्चों की सूची तैयार की गई
Jhansi News: मेडिकल कॉलेज में घटित दुःखद अग्निकांड घटना में मृतक बच्चों के परिजनों को दी जा रही सहायता राशि के बारे में जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने कहा कि मुख्यमंत्री द्वारा इस दुखद घटना का संज्ञान लेते हुए मृतक बच्चों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपए की सहायता धनराशि एवं घायल बच्चों के परिजनों को पचास-पचास लाख की सहायता धनराशि की घोषणा की गई थी, जिसके क्रम में अग्निकांड घटना में जो दस बच्चों की मृत्यु हुई है उनमें से नौ बच्चों के परिजनों के खातों में पांच लाख रुपए की धनराशि प्रेषित की जा चुकी है तथा शेष एक बच्चे के परिजन का बैंक खाता न होने के कारण सहायता धनराशि नहीं पहुंची है, बैंक खाता खोलने के पश्चात संबंधित परिजन के खाते में उक्त धनराशि का प्रेषण किया जाएगा।
जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने यह भी बताया कि मेडिकल कॉलेज में दुःखद अग्निकांड घटना के बाद मेडिकल कॉलेज प्रशासन द्वारा अस्पताल के मेडिकल रिकॉर्ड के परीक्षण के 49 बच्चों की सूची तैयार की गई, इसके अनुसार 49 बच्चों में से रेस्क्यू किए गए 38 बच्चे उपचार की स्थिति में हैं। 16 नवंबर 2024 तक 10 बच्चों की बर्न इंज्यूरी के कारण मृत्यु हो चुकी थी तथा शेष 01 बच्चे की पहचान न हो पाने के कारण स्थिति स्पष्ट नहीं हो रही थी, जिसकी पहचान के संबंध में कॉलेज प्रशासन द्वारा सत्यापन की प्रक्रिया पूर्ण होने पर संबंधित बच्चे को उसके परिजनों को सौंप दिया गया है।
जिलाधिकारी ने स्थिति को स्पष्ट करते हुए यह भी बताया कि 49 बच्चों में से 10 बच्चों की दुखद अग्निकांड घटना में मृत्यु हुई थी, इसके अतिरिक्त 38 बच्चों का इलाज मेडिकल कॉलेज एवं अन्य प्राइवेट अस्पतालों में चल रहा है और जो भी बच्चे दुःखद अग्निकांड घटना में रेस्क्यु किए गए थे, उनमें से कोई भी बच्चा बर्न इंज्यूरी से पीड़ित नहीं था। उन्होंने यह भी बताया कि एसएनसीयू में वही बच्चे उपचार हेतु भर्ती किए जाते हैं जिनकी स्थिति गंभीर होती है। दुःखद अग्निकांड घटना के पश्चात एनएससीयू (नियोनेटल इंटेंसिव केयर यूनिट) से शिफ्ट किए गए बच्चों में से 03 बच्चों की स्थिति पूर्व से ही गंभीर थी। इन 03 बच्चों में से 01 बच्चे की मृत्यु आज हुई है, जिसका कारण बर्न इंज्यूरी नहीं है।