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Jhansi News: मकर सक्रांति के पर्व पर आमजन रेल पटरियों के आसपास न करें पतंगबाजी, पकड़े जाने पर होगी ये सजा
Jhansi News:वर्तमान में झांसी मंडल में सभी रेल खंडों पर विद्युत कर्षण पर रेलगाड़ियां संचालित की जा रही है। DRM ने अपील की है कि रेल पटरियां के आसपास पतंगबाजी न करें।
Jhansi News: भारतवर्ष में मकर सक्रांति का पर्व बड़े धूमधाम और हर्षोल्लास से मनाया जाता है। झांसी मंडल एवं आसपास के इलाकों में इस पर्व पर लोगों द्वारा पतंगबाजी भी की जाती है। हर वर्ष रेलवे ट्रैक के पास पतंगबाजी के चलते कई लोग दुर्घटना का शिकार हो जाते हैं। वर्तमान में झांसी मंडल में सभी रेल खंडों पर विद्युत कर्षण पर रेलगाड़ियां संचालित की जा रही है। रेलवे प्रशासन ने अपील की है कि रेल पटरियां के आसपास पतंगबाजी न करें।
मंडल रेल प्रबंधक दीपक कुमार सिन्हा ने बताया कि रेलवे ट्रैक के ऊपर से गुजर रही विद्युत तारों में 25 हजार वोल्ट की विद्युत धारा का प्रवाह रहता है। इन तारों के पतंग की डोर के संपर्क में आ जाने पर तेज विद्युत का करंट लग सकता है। विशेषकर धातु युक्त मांझे से यह करंट तीव्र गति से झटका पहुंचा सकता है, जो कि जानलेवा भी हो सकता है। साथ ही रेलवे ट्रैक पर गुजर रही तीव्र रेलगाड़ियों से आप दुर्घटना का शिकार भी हो सकते हैं। रेलवे प्रशासन आम लोगों से अपील करता है कि पतंगबाजी करते रेलवे ट्रैक एवं रेलवे परिसरों से दूर रहें।
पतंगबाजी करते पकड़े गए तो होगा छह माह का कारावास
रेलवे ट्रैक को अनाधिकृत स्थानों से पार करना रेल अधिनियम 1989 की धारा 147 के अनुसार दंडनीय अपराध भी है,इसके लिए आपको 1000 रुपए तक के आर्थिक दंड अथवा 6 माह का कारावास या दोनों से एक साथ दंडित किया जा सकता है।
रेलवे सुरक्षा बल ने मानव तस्करी को रोकने के लिए उठाए गए कदम
राज्य पुलिस द्वारा जारी मानक संचालन प्रक्रियाओं का पालन करते हुए, रेलवे सुरक्षा बल मानव तस्करी के मुद्दे को संबोधित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है, जो प्रचलित कानूनों के अनुसार आवश्यक दिशानिर्देशों का पालन कर रहा है।रेलवे सुरक्षा बल ने 2022 में बचपन बचाओ आंदोलन के साथ एक समझौता ज्ञापन लागू किया है, जो मानव तस्करी के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई और तस्करी के शिकारों के बचाव के लिए है, जिसमें आरपीएफ मौजूदा कानून के अनुसार व्यापक रूप से काम कर रहा है और यात्रियों को नवीनतम तकनीकों से संवेदनशील बना रहा है। आरपीएफ मानव तस्करी को रोकने के लिए व्यापक कदम उठा रहा है और समय-समय पर आरपीएफ के महानिदेशक द्वारा क्षेत्रीय इकाइयों को निर्देश जारी किए गए हैं।