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Hardoi: इस घास के है कई फ़ायदे, हरदोई का यह युवा किसान विशेष घास की खेती कर कमा रहा अच्छा मुनाफ़ा

Hardoi News: हरदोई के नीर गांव के रहने वाले किसान अभिमन्यु ने अपने खेत के एक हेक्टेयर में पामारोजा घास की खेती की है। इस खेती से वह प्रत्येक वर्ष डेढ़ से दो लाख रुपए का मुनाफा कमा रहे हैं।

Pulkit Sharma
Published on: 30 March 2024 8:47 AM GMT (Updated on: 30 March 2024 8:48 AM GMT)
Hardoi News
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प्रतीकात्मक इमेज  source: Newstrack 

Hardoi News: हरदोई के किसान लगातार अत्याधुनिक खेती को बढ़ावा दे रहे हैं। युवा किसान लगातार हरदोई में कुछ ऐसा कर रहे हैं जो देश में मिसाल भी बन रहा है।हरदोई के युवा किसान कम लागत में अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं चाहे वह ड्रैगन फ्रूट की खेती हो या अन्य कोई खेती। ऐसे ही हरदोई का युवा ने एक नई खेती कर लाखों का मुनाफा कमा रहा हैं। इस खेती में लागत तो ना के बराबर है लेकिन मुनाफा काफी है।

सबसे अच्छी बात तो यह है कि इस फसल को आवारा पशु भी नहीं खाते हैं। इसी के साथ यह खेती औषधि गुणों से भरपूर है।हरदोई का युवा किसान शहर से लगभग 7 किलोमीटर की दूरी पर पामारोजा की खेती कर अच्छा मुनाफा कमा रहा है। पामारोजा की घास औषधि के रूप में इस्तेमाल होती है।इससे निकलने वाला तेल कई औषधीय में डाला जाता है। इसी के साथ पामारोज़ा की मांग देश में काफी अधिक है।

एक साल में होता लाखों का मुनाफ़ा

हरदोई के नीर गांव के रहने वाले किसान अभिमन्यु ने अपने खेत के एक हेक्टेयर में पामारोजा घास की खेती की है। इस खेती से वह प्रत्येक वर्ष डेढ़ से दो लाख रुपए का मुनाफा कमा रहे हैं। इस घास की मांग हरदोई जिले से सटे कन्नौज में सबसे अधिक है। इस घास से कन्नौज में अत्याधुनिक मशीनों द्वारा तेल निकाला जाता है। इस तेल से कई औषधीय बनाई जाती है। इसी के साथ मच्छर भगाने में भी इसके तेल का काफी प्रयोग किया जाता है।

इस घास में गुलाब की तरह खुशबू भी आती है। अभिमन्यु ने बताया कि प्रति एकड़ 3 किलोग्राम बीज की आवश्यकता होती है। प्रति एकड़ करीब 70 से 80 किलोग्राम तेल पामारोजा घास से निकाला जाता है। हरदोई में आयुर्वेदिक और यूनानी की डॉक्टर आशा रावत ने बताया कि पमारोजा घास से निकलने वाला तेल जेनिलियल पामारोजा के तेल से अलग करने के बाद स्वाद उद्योग सौंदर्य प्रसाधन में इसका प्रयोग किया जाता है।

इसी के साथ यह अन्य कई बीमारियों में भी काम आता है।आयुर्वेदिक पद्धति में इसका काफी महत्व है। पामारोजा की खेती कर रहे हैं अभिमन्यु ने बताया कि इस घास की सबसे अच्छी बात यह है कि यह शुष्क जमीन में उगाई जाने वाली घास है। इस घास को उगाने के लिए ना ही ज्यादा पानी की जरूरत है और ना ही खाद की। इसकी फसल एक बार बोने के बाद 5 साल तक चलती है। फसल जितनी पुरानी होती जाती है मुनाफा उतना बढ़ता जाता है।पामारोजा घास की फसल 1 साल में तीन बार और उससे ज्यादा पुरानी होने पर कई बार कटिंग की जाती है।

Aakanksha Dixit

Aakanksha Dixit

Content Writer

नमस्कार मेरा नाम आकांक्षा दीक्षित है। मैं हिंदी कंटेंट राइटर हूं। लेखन की इस दुनिया में मैने वर्ष २०२० में कदम रखा था। लेखन के साथ मैं कविताएं भी लिखती हूं।

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