Kannauj News: मोहर्रम पर निकाला ताजिया मातमी का जुलूस

Kannauj News: जिले में इमाम हुसैन व उनके 72 साथियों की शहादत पर ताजिया मातमी जुलूस के साथ निकाला गया। तलवार, जंजीर व लाठी से कई तरह के हैरतअंगेज करतब के साथ, अमन चैन के लिए दुआ भी मांगी गई।

Pankaj Srivastava
Published on: 17 July 2024 4:43 PM GMT
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Kannauj News (Pic: Newstrack)

Kannauj News: मुहर्रम की 10वीं तारीख को हुसैन की शहादत की याद में गम और शोक के प्रतीक के तौर पर जुलूस के रूप में ताजिया निकाला जाता है। मुहर्रम की 10वीं तारीख को 'आशूरा' कहते है। आशूरा के दिन हजरत रसूल के नवासे हजरत इमाम हुसैन, उनके बेटे व घरवाले और उनके साथियों सहित कर्बला के मैदान में सभी को शहीद कर दिया गया था। इसलिए मुहर्रम के इस दिन मुस्लिम समुदाय के लोग गमजदा होकर शोक मनाते हैं। इस दिन मुसलमान लोग हुसैन की शहादत को याद करते हैं और उनके प्रति अपना शोक व्यक्त करते हैं। इस दिन देश भर में ताजिये का जुलूस निकाला जाता है। ताजिये का जुलूस इमाम बारगाह से निकलता है और कर्बला में जाकर खत्म होता है। कहा जाता है ताजिये की शुरुआत मुस्लिम शासक तैमूर के दौर में हुई थी। तब से आज ताजिये के साथ मातमी जुलूस निकाला जाता है।

कन्नौज जिले में इमाम हुसैन व उनके 72 साथियों की शहादत पर मनाए जाने वाले गमी के पर्व मोहर्रम पर आज बुधवार को ताजिया मातमी जुलूस के साथ निकाला गया। तलवार, जंजीर व लाठी से कई तरह के हैरतअंगेज करतब साथ, अमन चैन के लिए दुआ भी मांगी गई। जिले भर में इस दौरान सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे। दुद्धी ने शहीदाने कर्बला की याद में मोहर्रम का जुलूस बड़े बड़े झंडे व बड़ी ताजिया के साथ विभिन्न अखाड़ों से मस्जिद तिराहे के पास सुबह बजे भोर पहुंची। जहां विभिन्न ताजियादारों व अखाडों के उस्तादों ने अपने कलाओं का प्रदर्शन किया।

प्रदर्शन के बाद जुलूस लाखन चौराहा पर हुजूम बना कर फन ए सिपाहगीरी का प्रदर्शन किया और बड़े बाजार मे मिलान कर या हसन या हुसैन के गगनचुंबी नारों से समा बांध दी। तत्पश्चात सभी अखाड़े के लोग अपने गंतव्य चौकों के लिए रवाना हो गए। सुरक्षा व शांतिपूर्ण तरीके से कार्यक्रम को सम्पन्न कराने के दृष्टिकोण से जिलाधिकारी शुभ्रान्त कुमार शुक्ल के साथ पुलिस अधीक्षक अमित कुमार आनंद और क्षेत्राधिकारी कमलेश कुमार सहित पीएसी व पुलिस बल के जवानों के साथ भोर से सुबह तक डटे रहे।

जंजीर के मातम के साथ गूंजी या हुसैन की सदाऐ

शिया समुदाय 10 मुहर्रम को जंजीर का मातम करते हुए राजापुर बम्बे स्थित कर्बला तक या हुसैन की सदाऐ गूंजती हुए गए। सौरिख सहित ग्राम कबीरपुर एवं राजापुर के शिया समुदाय के युवाओं ने जंजीर के मातम में खून से नहाएं। इस मौके पर अली अब्बास, तौसीफ युसुफ, इंतजार अली, मेराज अली, शान मोहम्मद बाबू, शमशुल प्रधान, साहिबे आलम, तहजीबुल हुसैन, मुर्रवत हुसैन, शीलू नकवी, दिलदार हुसैन, आदि लोग मौजूद रहे।


Durgesh Sharma

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