Kanpur: 9 दिन में दौड़ लगाकर अयोध्या पहुंचेगा कानपुर का अनुराग, बोला- रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का बनूंगा साक्षी

Kanpur News: अनुराग तिवारी ने बताया कि, उसका दोस्त कार्तिकेय इंदौर से दौड़ते हुए अयोध्या, तो वहीं कार्तिकेय का दोस्त असम से दौड़ते हुए अयोध्या पहुंच रहा है। दोनों को देख रात में इन दोनों ने सोचने को मजबूर कर दिया।

Anup Pandey
Published on: 13 Jan 2024 12:30 PM GMT
Kanpur News
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अनुराग तिवारी अन्य लोगों के साथ (Social Media) 

Ramlala Pran Pratishtha: अयोध्या में इस समय राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा की तैयारियां जोर-शोर से चल रही है। राम नगरी में हर कोई अपनी उपस्थिति दर्ज करना चाहता है। इसी कड़ी में कानपुर के एक युवक ने अयोध्या जाने के लिए अनोखा विचार के साथ सभी को दंग कर दिया। उसने दोस्तों के साथ कानपुर से दौड़ लगाते हुए प्राण-प्रतिष्ठा वाले दिन अयोध्या पहुंचने का मन बनाया है।

9 दिन का सफर

इस युवक का नाम अनुराग तिवारी है। newstrack.com से बातचीत में अनुराग ने बताया कि, वह प्रतिदिन 35 से 40 किलोमीटर का सफर तय करने के साथ 9 दिन में अयोध्या पहुंच जाएगा। प्राण प्रतिष्ठा के बाद दर्शन करने के बाद ही कानपुर वापस लौटेगा। उसके साथ मोहल्ले के तीन दोस्त देवेश, अंश और राम साइकिल से जा रहे हैं। तीनों दोस्त साथ-साथ चलेंगे।

पूजन के बाद अनुराग के कदम अयोध्या के लिए बढ़े

आपको बता दें, अयोध्या में 22 जनवरी को श्री रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम है। ऐसे में कानपुर के अनुराग दौड़ते हुए अयोध्या तक का सफर तय करेंगे। अनुराग ने शनिवार (13 जनवरी) को मंदिर में दर्शन किए। फूल-माला पहनकर इलाके के लोगों ने उसका स्वागत किया। अनुराग का उत्साहवर्धन किया। वहीं, इनके साथ तीन साथी साइकिल से अयोध्या जा रहे हैं। पूजन और स्वागत के बाद अनुराग दौड़ते हुए अयोध्या के लिए रवाना हो गए।

चकेरी निवासी है अनुराग

अनुराग तिवारी के पिता ऋषिकांत तिवारी सेना से रिटायर हैं। परिवार में मां सीमा, छोटा भाई अनुभव के साथ रहते हैं। अनुराग डिफेंस के बच्चों को ट्रेनिंग देता है। साल 2018 में एक्सीडेंट होने की वजह से पैर में इंजरी होने के बाद प्रैक्टिस बंद कर दी थी। साल 2022 में चोट ठीक होने के बाद अनुराग ने दोबारा एथलीट बनने की तैयारी शुरू कर दी।

मैराथन में पा चुके हैं 8 पदक

अनुराग तिवारी स्टेट प्रतियोगिता खेल चुका है। वहीं, इसमें अनुराग ने कांस्य पदक जीतने के साथ मैराथन में आठ पदक अपने नाम कर चुके हैं। तीन स्वर्ण पदक पा चुके हैं। मेरे परिवार का सपना है कि राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर खेलकर देश का नाम रोशन करना चाहता हूं। इसके साथ ही, वार्ड- 62 के लोगों ने फूल माला पहनाकर उसे अयोध्या के लिए रवाना किया। अनुराग ने दौड़ से पहले शहरवासियों को स्वस्थ रहने और फिट रहने का संदेश दिया।

दोस्त को देखकर ली प्रेरणा

अनुराग तिवारी ने बताया कि, उसका दोस्त कार्तिकेय इंदौर से दौड़ते हुए अयोध्या, तो वहीं कार्तिकेय का दोस्त असम से दौड़ते हुए अयोध्या पहुंच रहा है। दोनों को देख रात में इन दोनों ने सोचने को मजबूर कर दिया। फिर मन में विचार आया कि, मैं भी दौड़ते हुए अयोध्या पहुंचूंगा। पूरी ताकत लगा अयोध्या पहुंचकर भगवान श्रीरामलला की प्राण प्रतिष्ठा का हिस्सा बनूंगा।

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अमन कुमार - बिहार से हूं। दिल्ली में पत्रकारिता की पढ़ाई और आकशवाणी से शुरू हुआ सफर जारी है। राजनीति, अर्थव्यवस्था और कोर्ट की ख़बरों में बेहद रुचि। दिल्ली के रास्ते लखनऊ में कदम आज भी बढ़ रहे। बिहार, यूपी, दिल्ली, हरियाणा सहित कई राज्यों के लिए डेस्क का अनुभव। प्रिंट, रेडियो, इलेक्ट्रॉनिक और डिजिटल मीडिया चारों प्लेटफॉर्म पर काम। फिल्म और फीचर लेखन के साथ फोटोग्राफी का शौक।

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