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Lakhimpur Khiri News: सावधान लखीमपुर खीरी वालों, मगरमच्छ अलर्ट, इन 42 गांवों में चेतावनी जारी

Lakhimpur Khiri Crocodile Alert: उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जनपद में इन दिनों बाघ और तेंदुए ज्यादा मगरमच्छों का आतंक देखने को मिल रहा है। वन विभाग ने जनपद के 42 गांवों में अलर्ट जारी कर दिया है।

Jugul Kishor
Published on: 19 Aug 2023 9:05 AM GMT
Lakhimpur Khiri News: सावधान लखीमपुर खीरी वालों, मगरमच्छ अलर्ट, इन 42 गांवों में चेतावनी जारी
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Lakhimpur Khiri Crocodile Alert (Social Media)

Lakhimpur Khiri Alert Crocodile: उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जनपद में इन दिनों बाघ और तेंदुए ज्यादा मगरमच्छों का आतंक देखने को मिल रहा है। मगमच्छों ने गुजरे डेढ़ महीने में जनपद के ईसानगर, फूलबेहड़ में एक-एक किसान और निघासन में दो लोगों को मौत के घाट उतार चुका है। इसको लेकर वन विभाग ने जनपद के 42 गांवों में अलर्ट जारी कर दिया है। बारिश के बाद से जनपद के पांच तहसीलों के 42 गांवों पर खतरा मंडरा रहा है। 42 गांवों में रहने वाली 70 हजार से अधिक आबादी दहशत में जी रही है।

लोगों के आंगन तक पहुंच जाते हैं मगरमच्छ

जनपद में खेतों पर काम करने वाले लोगों पर मगरमच्छ हमला कर दे रहे हैं। मानसून सीजन में बारिश के बाद बाढ़ आने से शहर से सटे क्षेत्रों में नदी नाले के सहारे मगरमच्छ रिहायशी इलाकों में पहुंच जाते हैं। पलिया, निघासन, धौरहरा और सदर तहसील के नदी के किनारे बसे 42 गांवों में अलर्ट जारी किया गया है। गांव वालों का कहना है कि मगरमच्छ नदी नालों से निकलकर गांव में घुस जाते हैं। कभी खलिहान में बैठे रहते है कभी आंगन तक आ जाते हैं।

400 से ज्यादा मगरमच्छ होने का अनुमान

शहर से सटकर बह रही नदी कंडवा और शारदा नदी में भारी संख्या में मगरमच्छ रहते हैं। दोनों नदियों में चार सौ से ज्यादा मगरमच्छ होने का अनुमान है। हालांकि वन विभाग का कहना है कि यह सही आंकड़ा नहीं है, मगरमच्छों की संख्या चार सौ से ज्यादा भी हो सकती है। इसीलिए वन विभाग अलर्ट हो गया है। डीएफओ दक्षिण खीरी संजय कुमार विश्वाल ने बताया कि नदी के बाहर निकलकर आने वाले मगरमच्छों के हमले में जान गंवाने वाले परिजनों को पांच लाख और गंभीर रूप से घायल को ढाई लाख की आर्थिक मदद देती है। उन्होने कहा कि यह आर्थिक मदद हमला पुष्टि होने के बाद दी जाती है।

पिछले साल 113 मगरमच्छों का किया गया था रेस्क्यू

वन विभाग ने दावा किया है कि मगरमच्छों को लेकर रेस्क्यू आपरेशन चलाया जाता रहता है। बीते साल दक्षिण खीरी वन प्रभाग और दुधवा टाइगर रिजर्व के मध्यवर्ती क्षेत्र में करीब 113 मगरमच्छों का रेस्क्यू किया गया था।

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