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Lucknow News: बलरामपुर अस्पताल में जल्द शुरू होगी कैंसर मरीज़ों की OPD, KGMU व SGPGI पर दबाव होगा कम

Balrampur Hospital: बलरामपुर अस्पताल (Balrampur Hospital) द्वारा सराहनीय पहल की जा रही है, जहां जल्द ही सामान्य कैंसर मरीज़ों के लिए ओपीडी शुरू की जाएगी।

Shashwat Mishra
Published on: 6 Jun 2022 2:56 PM IST
बलरामपुर अस्पताल में जल्द शुरू होगी कैंसर मरीज़ों की OPD, KGMU व SGPGI पर दबाव होगा कम
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बलरामपुर अस्पताल (कॉन्सेप्ट फोटो साभार- सोशल मीडिया)

Lucknow News Today: राजधानी लखनऊ (Lucknow) के चिकित्सा संस्थानों में पूरे प्रदेश के सभी जिलों के मरीज़ों का भार होता है। ख़ासकर गंभीर बीमारियों के लिए। जिसमें कैंसर (Cancer) का नाम सबसे पहले आता है। चाहे व्यक्ति को सामान्य कैंसर के ही लक्षण (Cancer Symptoms) क्यों न हों, उसे किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्विद्यालय यानी KGMU और संजय गांधी परास्नातक आयुर्विज्ञान संस्थान मतलब SGPGI के चक्कर लगाने ही पड़ते हैं।

क्योंकि, इन्हीं दोनों संस्थानों में सभी तरह के कैंसर का इलाज (Cancer Treatment) संभव है और डॉक्टरों की ओपीडी (OPD) चलती है। लेकिन, अब बलरामपुर अस्पताल (Balrampur Hospital) द्वारा सराहनीय पहल की जा रही है, जहां जल्द ही सामान्य कैंसर मरीज़ों के लिए ओपीडी शुरू की जाएगी। इससे लखनऊ के बाक़ी संस्थानों पर दबाव कम होगा।

डीएनबी की पढ़ाई करने वाले रेजिडेंट डॉक्टर लेंगे ओपीडी

डीएनबी (डिप्लोमैट ऑफ नेशनल बोर्ड) की पढ़ाई करने वाले डॉक्टर बलरामपुर अस्पताल (Balrampur Hospital) में कैंसर मरीज़ों का ओपीडी में उपचार करेंगे। जानकारी के मुताबिक, ये रेजिडेंट्स पहले मरीज़ों की स्क्रीनिंग करेंगे। उसके बाद, जांच करेंगे। फ़िर, अस्पताल में उपलब्ध इलाज उन्हें मुहैया कराएंगे। यदि मरीज़ की स्थिति के आधार पर इलाज नहीं किया जा सकता, तो उसे केजीएमयू व एसजीपीजीआई में रेफर भी किया जाएगा।

बता दें कि अस्पताल में इलाज पूर्णतया मुफ़्त होगा। इससे मरीज़ों को सहूलियत मिलेगी। क्योंकि, बाहर से आने वाले पेशेंट्स को चिकित्सा संस्थानों में इलाज जल्दी नहीं मिल पाता।

मेडिकल सप्लाई कारपोरेशन को लिखा गया पत्र

अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ. जीपी गुप्ता (Dr. GP Gupta) का कहना है कि कैंसर मरीज़ों की ओपीडी शुरू करने के लिए, मेडिकल सप्लाई कारपोरेशन को पत्र लिखकर दवा की मांग की गई है। जैसे दवाएं अस्पताल में आ जाएंगी, डीएनबी रेजिडेंट्स की निगरानी में ओपीडी को शुरू कर दिया जाएगा। इससे बेशक़ केजीएमयू और एसजीपीजीआई जैसे संस्थानों पर दबाव कम पड़ेगा।

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Shreya

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