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CM योगी BBAU में बोले, बाबा साहब पर होगा शोध कार्य, स्मारक और सांस्कृतिक केंद्र बनाने का लिया संकल्प
CM Yogi In BBAU: सीएम योगी ने अपने संबोधन में कहा, बाबा साहेब का नाम पूरे सम्मान के साथ लिया जाता है। उनकी सभी उपलब्धियाँ, समाज उत्थान के सभी कार्यों के पीछे उनकी सकारात्मकता है।
CM Yogi Adityanath (Photo - Newstrack)
Lucknow News: 'अप्प दीपो भवः' अर्थात अपना प्रकाश स्वयं बने। यही भगवान बुद्ध का संदेश था और यही डॉ. अम्बेडकर का जीवन। डॉ अम्बेडकर का जन्म जिस काल खंड में हुआ, उस समय छूआछूत और भेदभाव चरम पर था, मगर कोई भी चुनौती डॉ. अम्बेडकर को तोड़ नहीं पाई। आज पूरे विश्व में उनकी ख्याति है, पूरा देश उन्हें भारत के शिल्पी के रूप में जानता है और जब भी वंचितों के उत्थान की बात होती है। ये बातें उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय में, अम्बेडकर जयंती और विवि के स्थापना दिवस के मौके पर कही।
सीएम योगी ने अपने संबोधन में कहा, बाबा साहेब का नाम पूरे सम्मान के साथ लिया जाता है। उनकी सभी उपलब्धियाँ, समाज उत्थान के सभी कार्यों के पीछे उनकी सकारात्मकता है, यह हमारी सकारात्मकता ही है, जो हमें आगे विकास के पथ पर अग्रसर करती है। जबकि नकारात्मकता हमें पतन की ओर ले जाती है। हम सभी को अपने अंदर सकारात्मक विचारों को प्रबल करने की आवश्यकता है।'
'बाबा साहब पर होगा शोध कार्य'
सीएम योगी ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा, कि 'सभी विद्यार्थियों को बाबा साहेब के जीवन से प्रेरणा लेने की आवश्यकता है। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रेरणा लेते हुए उत्तर प्रदेश में डॉ अम्बेडकर के नाम से स्मारक और सांस्कृतिक केंद्र बनाने का संकल्प हमने लिया है। इस केंद्र के माध्यम से बाबा साहेब पर शोध कार्य किया जाएगा। इसके लिए स्कॉलरशिप का भी प्रावधान होगा। विद्यार्थियों के लिए यह एक अच्छा अवसर होगा। सभी में अवसर को उपलब्धि में बदलने की काबिलियत होनी चाहिए, भविष्य में वही लोग याद रखे जाएंगे जिनमें यह काबिलियत होगी। अंत में उन्होंने विवि को पांच गांव गोद लेकर वहां जागरूकता और विकास कार्य किये जाने पर बधाई दी और शिक्षण संस्थानों से अनुरोध किया कि वे विद्यार्थियों को सैद्धान्तिक ज्ञान के साथ व्यवहारिक ज्ञान प्रदान करने का भी प्रयास करे और इसके लिए विद्यार्थियों को समाज से जुड़ने के लिए प्रेरित करे।
विवि ने ले रखें हैं पांच गांव गोद
इस मौके पर विवि के कुलपति आचार्य संजय सिंह ने सभी का कार्यक्रम में स्वागत किया। उन्होंने वर्ष 1989 में जब विवि की नींव रखी गई थी, तब से अब तक के सफर के बारे में भी बताया। कुलपति ने विवि द्वारा निरंतर की जा रही प्रगति के बारे में भी जानकारी दी। साथ ही, सभी को विवि की एनआईआरएफ रैंकिंग, विवि द्वारा गोद लिए गए 5 गांवों में हो रहे विकास कार्यों, शीर्ष के 10 केंद्रीय विश्वविद्यालयों की सूची में बीबीएयू को स्थान प्राप्त होने, अत्याधुनिक तकनीक से लैस विवि के गौतम बुद्ध केंद्रीय पुस्तकालय के बारे में भी जानकारी दी।
गरीब और वंचित के उत्थान हेतु किया कार्य
उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठक ने कार्यक्रम की प्रशंसा करते हुए कहा, कि 'विद्यार्थियों को बाबासाहेब पर शोध करने की आवश्यकता है। जिस प्रकार बाबासाहेब गरीब और वंचित वर्ग के उत्थान के लिए कार्यरत थे। उसी प्रकार वर्तमान सरकार भी इस वर्ग के उत्थान के कार्य कर रही है।
'समानता की बात करते थे'
इस मौके पर बीजेपी विधायक असीम अरुण ने कहा, कि 'बाबासाहेब सभी के लिए अवसर की समानता की बात करते थे। वर्तमान सरकार भी इस दिशा में कार्य कर रही है।' उन्होंने सरकार द्वारा वंचित वर्ग के उत्थान की योजना बनाने में विवि की भूमिका पर भी चर्चा की।