लखनऊ पहुंची कृषि ड्रोन यात्रा: ड्रोन छिड़काव से 7 मिनट में एक एकड़ खेत में होगा स्प्रे, मंत्री सूर्य प्रताप शाही बोले- 'ड्रोन तकनीक से होगा कृषि का कायाकल्प'

Lucknow News: लखनऊ के रहीमाबाद क्षेत्र में आयोजित कृषि ड्रोन डेमोंसट्रेशन कार्यक्रम में कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही शामिल हुए।

Shashwat Mishra
Published on: 1 Sep 2022 2:23 PM GMT (Updated on: 1 Sep 2022 3:25 PM GMT)
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कृषि ड्रोन डेमोंसट्रेशन कार्यक्रम में कृषि मंत्री

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Lucknow News Today: प्रदेश सरकार राज्य के किसानों की आर्थिक समृद्धि के लिए कृषि क्षेत्र में इजाद की जाने वाली हर नई तकनीक को किसान के खेत तक ले जाने के लिए प्रतिबद्ध है, जिससे किसानों के समय, धन और श्रम की बचत होगी और वे उच्च गुणवत्ता वाला उत्पादन प्राप्त कर सकेंगे। सरकार ड्रोन टेक्नोलॉजी के माध्यम से कृषि क्षेत्र में हानिकारक रासायनिक उर्वरकों के प्रयोग को घटाकर, उनके स्थान पर तरल नैनो दवाओं व उर्वरकों के प्रयोग को बढ़ावा देगी।" ये बातें कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने लखनऊ के रहीमाबाद क्षेत्र में आयोजित कृषि ड्रोन डेमोंसट्रेशन कार्यक्रम में कही।

'ड्रोन तकनीक करेगी कृषि का कायाकल्प'

कृषि मंत्री ने ड्रोन तकनीक को कृषि का कायाकल्प करने वाली तकनीक बताया। इस दौरान कृषि ड्रोन निर्माता कंपनी के विशेषज्ञों ने किसानों को कृषि ड्रोन के लाभ और उपयोग करने के तरीकों के विषय में विस्तार से बताया। सूर्य प्रताप शाही ने कहा कि 1 एकड़ भूमि के लिए नैनो यूरिया के आधे लीटर का घोल पर्याप्त है। वर्तमान में इसके लिए कई किलो ठोस यूरिया का प्रयोग किया जाता है। नैनो तरल दवाओं और उर्वरकों के उपयोग से मानव स्वास्थ्य और मिट्टी दोनों को बचाया जा सकता है।


उत्तर प्रदेश को मिले 32 ड्रोन

कृषि मंत्री शाही ने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के प्रयासों से केंद्र सरकार द्वारा उत्तर प्रदेश को कुल 32 ड्रोन उपलब्ध कराए जा रहे हैं। इनमें से 4 कृषि विश्वविद्यालयों को, 10 कृषि विज्ञान केंद्रों को और शेष 18 आईसीएआर के संस्थानों को उपलब्ध कराए जाएंगे। 32 ड्रोनों के द्वारा प्रदेश भर में कुल 8 हजार हेक्टेयर भूमि पर डेमोंसट्रेशन किया जाना है। इन ड्रोनों को खरीदने के लिए केंद्र सरकार द्वारा 5 करोड़ 60 लाख रुपयों की धनराशि अवमुक्त कर दी गई है।


ड्रोन डिमांस्ट्रेशन के कार्यक्रम होंगे आयोजित

शाही ने बताया कि ये कृषि ड्रोन प्रदेश के कृषि स्नातकों को 50 प्रतिशत अनुदान पर और कृषि उत्पादन संगठनों को ऑपरेटिव सोसाइटीज को 40 प्रतिशत अनुदान पर उपलब्ध कराए जाएंगे। इस प्रकार किसी कृषि स्नातक को लगभग 10 लाख रुपए मूल्य के इस ड्रोन के लिए केवल 5 लाख रुपए चुकाने होंगे। उन्होंने कहा कि आगामी दिनों में प्रदेश के अलग-अलग स्थानों में किसानों को जागरूक करने के लिए ड्रोन डेमोंसट्रेशन के कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।


ड्रोन छिड़काव से 7 मिनट में एक एकड़ खेत में होगा स्प्रे

इस दौरान ड्रोन निर्माता कंपनी के विशेषज्ञों द्वारा कार्यक्रम में उपस्थित लगभग 300 किसानों को इस तकनीक के बारे में बताया गया। उन्होंने बताया कि ड्रोन छिड़काव से किसानों को केवल सात मिनट में एक एकड़ खेत में स्प्रे करने में मदद मिल सकती है। कंपनी का दावा है कि वह भारत के 13 राज्यों में ड्रोन छिड़काव के बारे में 10 हजार से अधिक किसानों को प्रशिक्षित करेगी। कार्यक्रम के दौरान सैकड़ों किसान व कृषि विभाग के अनेक अधिकारी उपस्थित रहे।

Deepak Kumar

Deepak Kumar

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