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Lucknow Ka Mausam 04 October 2023: लखनऊ में आज बूंदाबांदी के आसार, बादलों की मौजूदगी दिलाएगी गर्मी से राहत
Lucknow Ka Mausam 04 October 2023: बारिश की वजह से धान की फसल को बहुत फायदा मिला है। करीब-करीब मुरझा रहे फसलों को संजीवनी मिली है।
Lucknow Ka Mausam 04 October 2023: उत्तर प्रदेश के मौसम में उतार-चढ़ाव का दौर जारी है। मौसम विभाग के अनुसार, बारिश की स्थिति बनी हुई है। दक्षिण-पश्चिम मानसून (South-West Monsoon) के वापसी की रेखा देश के विभिन्न शहरों सहित यूपी के इटावा होकर गुजर रही है। इस वजह से प्रदेश के तापमान में बदलाव देखने को मिल रहा है। राजधानी लखनऊ के आसमान में मंगलवार को बादलों की आवाजही से लोगों को धूप की तपिश का सामना नहीं करना पड़ा।
मौसम विभाग ने बताया, यूपी के ज्यादातर जिलों में बादल छाए हुए हैं। बारिश भले ही न हो, लोगों को गर्मी और उमस से भी राहत मिली है। हल्की धूप और बादलों की आंख मिचौली का खेल जारी है। प्रदेश के कई जिलों में आकाशीय बिजली गिरने का अलर्ट जारी किया गया है। जौनपुर और मिर्ज़ापुर में तो इस बाबत मंगलवार को स्कूल बंद रखे गए।
लखनऊ में आज बारिश के आसार
राजधानी लखनऊ के आसमान में बुधवार को भी बादलों की आवाजाही लगी रहेगी। धूप-छांव के इस खेल से लोगों को राहत मिलेगी। राजधानी के बड़े क्षेत्र में बारिश का भी अनुमान है। आशंका है कि, दोपहर से शाम तक बरसात हो सकती है। हालांकि, कई अन्य जिलों में भी बूंदाबांदी जारी है, जिस वजह से हवाएं राहत देगी। 04 अक्टूबर को राजधानी का अधिकतम तापमान 31 डिग्री सेल्सियस के करीब, जबकि न्यूनतम 24 डिग्री के आसपास रहने का अनुमान है। दिन में उत्तर-पूर्व दिशा से 10 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ़्तार से हवाएं चलेंगी। रात में बादलों का प्रभाव नजर आएगा।
बंगाल की खाड़ी में बन रहे सिस्टम ने बदला स्थान
मानसून समाप्त होने के बाद अक्टूबर महीने की पहली बारिश यूपी के जिलों में कहीं-कहीं देखने को मिल रही है। दरअसल, बंगाल की खाड़ी में एक सिस्टम बन रहा था, लेकिन उसका स्थान बदल जाने के कारण यूपी के बीच के हिस्से में बरसात का माहौल बन गया है। सीएसए के मौसम वैज्ञानिक डॉ. एस एन सुनील पांडेय ने बताया कि, दक्षिण-पश्चिम की वापसी हो चुकी है। वहीं, वाराणसी में बारिश की वजह से तापमान में बड़ी गिरावट दर्ज की गई है। मौसम विभाग का कहना है कि, आगामी दो दिनों में रिमझिम बारिश की आशंका है। हल्की-फुल्की बारिश ने धान की फसलों को नया जीवनदान दिया है। बूंदाबांदी ने धान की फसलों को संजीवनी प्रदान की है।