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Lucknow News: RPI आठवले ने प्रदेश संगठन में किया विस्तार, महिला प्रकोष्ठ कार्यकारी प्रदेश अध्यक्ष समेत 4 अन्य को मिली जिम्मेदारी
Lucknow News: RPI आठवले के प्रदेश अध्यक्ष पवन भाई गुप्ता ने कहा कि शानू मल्ल कौशल, एक सामाजिक कार्यकर्ता हैं, जिन्होंने जमीनी स्तर पर महिलाओं के लिए विभिन्न काम किए हैं। खासकर गोरखा समाज की महिलाओं के अधिकारों के लिए उन्होंने खूब संघर्ष किया है।
Lucknow News ( Pic- Social- Media)
Lucknow News: उत्तर प्रदेश रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया (आठवले) के प्रदेश अध्यक्ष पवन भाई गुप्ता ने लखनऊ निवासी शानू मल्ल कौशल को महिला प्रकोष्ठ का कार्यकारी प्रदेश अध्यक्ष नियुक्त किया है। तो वहीं मोनिका मिश्रा को महिला प्रकोष्ठ के प्रदेश उपाध्यक्ष के रूप में जिम्मेदारी दी है।
किसको क्या मिली जिम्मेदारी
RPI आठवले के प्रदेश अध्यक्ष पवन भाई गुप्ता ने कहा कि शानू मल्ल कौशल, एक सामाजिक कार्यकर्ता हैं, जिन्होंने जमीनी स्तर पर महिलाओं के लिए विभिन्न काम किए हैं। खासकर गोरखा समाज की महिलाओं के अधिकारों के लिए उन्होंने खूब संघर्ष किया है। उनके पार्टी में जुड़ने से आरपीआई की महिला विंग को मजबूती मिलेगी और महिला अधिकारों की आवाज बुलंद होगी।
प्रदेश अध्यक्ष पवन भाई गुप्ता ने बताया कि लखनऊ की ही रहने वाली मोनिका मिश्रा को महिला प्रकोष्ठ के प्रदेश उपाध्यक्ष के रूप में मनोनीत किया गया है। कासगंज निवासी विकार ख़ान को कासगंज जिले के जिला महामंत्री, मुरादाबाद निवासी शाहनवाज आलम को प्रदेश उपाध्यक्ष, सलमान खान को युवा प्रकोष्ठ के प्रदेश महामंत्री के रूप में जिम्मेदारी दी गई है।
आरपीआई लगातार अपने संगठन का उत्तर प्रदेश में विस्तार कर रही है। प्रदेश स्तर, जिला स्तर, ब्लॉक, तहसील एवं ग्रामसभा लेवल तक संगठन को मजबूत किया जा रहा है और संविधान में सच्ची आस्था रखने वाले हर वर्ग को पार्टी से जोड़ने का काम किया जा रहा है।
मिल्कीपुर चुनाव ने आजाद समाज पार्टी की पोल खोल दी: पवन
पवन भाई गुप्ता ने कहा कि मिल्कीपुर विधानसभा उपचुनाव में आजाद समाज पार्टी के उम्मीदवार को केवल 5 हजार के करीब वोट मिले हैं। जिससे ये साबित हो गया है कि उत्तर प्रदेश के दलित समाज ने भीम आर्मी के हो-हल्ला करने वाली और विवाद उत्पन्न कर राजनीतिक लाभ लेने की फिराक वाली राजनीति को ठुकराया दिया है।
प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर हमेशा दलित समुदाय के युवाओं को जाति के नाम पर भड़काकर राजनीतिक लाभ लेना चाहते हैं। लेकिन वह इसमें बहुत सफल नहीं हो पाएंगे। आरपीआई ने हमेशा सकारात्मक राजनीति को बढ़ाया है। उत्तर प्रदेश के वंचित, पिछड़े, अल्पसंख्यक सहित संविधान को मानने वाले हर वर्ग के लिए आरपीआई एक नए विकल्प के रूप में जनता के सामने है।