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Kanpur Violence: मास्टरमाइंड बोला- जुमे का दिन था, राष्ट्रपति-प्रधानमंत्री शहर में थे, ..हमारा मकसद तो पूरा हुआ

Kanpur Violence: यूपी पुलिस द्वारा पूछताछ में मुख्य साजिशकर्ता हाशमी ने बताया कि, 3 जून को कानपुर हिंसा और बवाल का दिन पहले से तय था। बताया कि हिंसा के पीछे देश को एक 'संदेश' देने की उसकी मंशा थी।

aman
Written By aman
Published on: 6 Jun 2022 12:28 PM IST (Updated on: 6 Jun 2022 1:02 PM IST)
kanpur violence mastermind hayat zafar hashmi told why the day of friday was fixed
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kanpur violence (File Photo) 

Kanpur Violence : कानपुर हिंसा मामले में जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है, सारे सबूत बाहर आ रहे हैं। इस हिंसा के मास्टरमाइंड हयात जफर हाशमी (Hayat Zafar Hashmi) ने पुलिस पूछताछ में कई बड़े खुलासे किए। यूपी पुलिस द्वारा पूछताछ में मुख्य साजिशकर्ता हाशमी ने बताया कि, 3 जून को कानपुर हिंसा और बवाल का दिन पहले से तय था। क्योंकि, इस दिन देश के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद (Ramnath Kovind), प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ((PM Narendra Modi)) और सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) शहर में ही थे। उसने ये भी बताया कि इस हिंसा के पीछे देश को एक 'संदेश' देने की उसकी मंशा थी, जो पूरी हुई।

बताया 3 जून ही हिंसा के लिए क्यों चुना?

यूपी पुलिस ने जब कानपुर हिंसा के मुख्य साजिशकर्ता हयात जफर हाशमी से पूछा कि, भारतीय जनता पार्टी प्रवक्ता नूपुर शर्मा (BJP Spokesperson Nupur Sharma) ने 26 मई को एक टीवी डिबेट में पैगम्बर मोहम्मद पर विवादित बयान दिया। तो 27 मई को भी जुमे की नमाज थी, तब प्रदर्शन क्यों नहीं किया? इस पर हाशमी का जवाब था, 3 जून को शहर में राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री आने वाले थे। साथ ही, जुमा भी था। इसलिए यही दिन बवाल के लिए मुकर्रर किया गया। हालांकि, यूपी पुलिस, खुफिया एजेंसी सहित अन्य को भी पहले से इसी बात की आशंका थी, मगर हयात जफर हाशमी ने स्वयं ही इस पर मुहर लगा दी।

'हमारा मकसद तो पूरा हुआ'

ज्ञात हो कि, पुलिस लगातार हयात जफर हाशमी (Hayat Zafar Hashmi), उसके साथी जावेद (javed), सुफियान (Sufyan) और राहिल (Rahil) से अलग-अलग पूछताछ की। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, पूछताछ में कई ऐसे सवाल थे जिसमें चारों के जवाब एक ही थे। इन सभी ने कहा, कि जिस तरह नूपुर शर्मा ने विवादित बयान (Nupur Sharma controversial statement) दिया, भविष्य में ऐसा कोई न करे। इसलिए उन्होंने सख्ती से विरोध किया। कानपुर हिंसा के इन आरोपियों बताया कि उनका मकसद इस बात को देश के शीर्ष तक पहुंचाना था। उनका मकसद पूरा हो गया। बता दें, उनके ऐसा कहने का इशारा राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री को लेकर था।

कानपुर में ही बंद कर दिया था मोबाइल

एक बड़े मीडिया समूह की खबर की मानें तो, हिंसा के मास्टरमाइंड ने पुलिस को बताया कि हिंसा भड़कने के कुछ समय बाद ही जफर हाशमी और उसके साथी अलग-अलग हो गए थे। मगर, उन्हें डर था कि कहीं उनका नाम मामले में न आ जाए। लिहाजा इन लोगों ने तुरंत ही शहर छोड़ दिया। उन्होंने बताया कि, उनका मोबाइल कानपुर में ही बंद हो गया था। इसलिए उनकी अंतिम लोकेशन शहर की ही मिली।

पूरे प्रदेश में प्रदर्शन की साजिश

पुलिस पूछताछ में इन आरोपियों ने बताया कि, एमएमए जौहर फैंस एसोसिएशन (MMA Johar Fans Association) पूरे प्रदेश में है। तमाम लोग उससे जुड़े हैं। पूछताछ में उन्होंने बताया, कि इसी तरह का विरोध-प्रदर्शन हर शहर में होना था। क्योंकि, नूपुर शर्मा का बयान बर्दाश्त करने लायक नहीं था।

हाशमी का मोबाइल उगल रहा राज

कानपुर जिले की नई सड़क इलाके में हुए बवाल को लेकर मास्टरमाइंड हयात जफर हाशमी (MasterMind Hayat Zafar Hashmi) के मोबाइल से राज बाहर आने लगे हैं। पुलिस को हाशमी के मोबाइल में कुल 141 व्हाट्सएप ग्रुप मिले हैं। बताया जा रहा है करीब-करीब सभी ग्रुप में 'बाजार बंदी' और बवाल की बातचीत प्राप्त हुई है। हिंसा के दिन की भी पल-पल का अपडेट इन ग्रुपों में दिया गया था।



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aman

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Content Writer

अमन कुमार - बिहार से हूं। दिल्ली में पत्रकारिता की पढ़ाई और आकशवाणी से शुरू हुआ सफर जारी है। राजनीति, अर्थव्यवस्था और कोर्ट की ख़बरों में बेहद रुचि। दिल्ली के रास्ते लखनऊ में कदम आज भी बढ़ रहे। बिहार, यूपी, दिल्ली, हरियाणा सहित कई राज्यों के लिए डेस्क का अनुभव। प्रिंट, रेडियो, इलेक्ट्रॉनिक और डिजिटल मीडिया चारों प्लेटफॉर्म पर काम। फिल्म और फीचर लेखन के साथ फोटोग्राफी का शौक।

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