Meerut News: महापौर सुनीता वर्मा बोलीं, शहर का सर्वांगीण विकास मेरा एक ही लक्ष्य रहा

Meerut: महापौर सुनीता वर्मा का दावा है कि अपने पांच साल के कार्यकाल के दौरान उनका एक ही लक्ष्य शहर का सर्वांगीण विकास कराना रहा है।

Sushil Kumar
Published on: 14 Dec 2022 1:59 PM GMT
Meerut News In Hindi
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महापौर सुनीता वर्मा

Meerut News: जिला पंचायत सदस्य के रूप में राजनीति का ककहरा सीखने वाली मेरठ की महापौर सुनीता वर्मा को जनता ने 2017 में महानगर की प्रथम नागरिक चुना। आने वाली आठ जनवरी को उनका कार्यकाल खत्म होने वाला है। सुनीता वर्मा का दावा है कि अपने पांच साल के कार्यकाल के दौरान उनका एक ही लक्ष्य शहर का सर्वांगीण विकास कराना रहा है। विपरीत परिस्थितियों के बावजूद वें इसमें काफी हद तक सफल भी रही हैं।

सुनीता वर्मा कहती हैं- महापौर के रुप में मुझे कांटों का ताज मिला था। शहर में पानी, पथ प्रकाश, सफाई, कूड़ा निस्तारण प्लांट, मल्टी लेबल वाहन पार्किंग, अतिक्रमण, जलभराव से मुक्ति, डेरियां आदि समस्याओं का अंबार लगा था। मेरे द्वारा इनमें से कई समस्याओं का समाधान कराया गया।

मेरठ शहर को स्वच्छता सर्वेक्षण 2021 में 27 वीं रैंक हासिल

मेरठ नगर निगम को दस लाख से अधिक आबादी वाले शहरों में सबसे तेज स्वच्छता में आगे बढ़ने वाले शहरों में सर्वोच्च स्थान प्राप्त करने पर सम्मानित किया गया। मेरठ शहर को स्वच्छता सर्वेक्षण 2021 में 27 वीं रैंक हासिल हुई है। मेरठ शहर को पहली बार राष्ट्रीय स्तर पर ऐसा अवार्ड मिला है। महापौर सुनीता वर्मा ने वर्तमान नगर निगम बोर्ड की उपलब्धियों पर चर्चा करते हुए कहा कि चार साल में गांवड़ी और लोहिया नगर में डंप कूड़े के निस्तारण के लिए दो प्लांट लगाए गए। तीसरा प्लांट मंगतपुरम में लगाने की तैयारी है। इस वजह से मेरठ नगर निगम को पहली बार स्वच्छता के मामले में 2021 के सर्वेक्षण में 27 वीं रैंक प्राप्त हुई। गार्बेज फ्री सिटी के लिए एक स्टार मिला और फास्टेट मूवर बिग सिटी का अवार्ड प्राप्त हुआ। इसके साथ ही बीते चार सालों में शहर की स्ट्रीट लाइट व्यवस्था को दुरुस्त किया गया। शहर के प्रत्येक वार्ड में एलईडी स्ट्रीट लाइट लगवाने का काम किया। मलिन बस्तियों तक विकास कार्य को पहुंचाया। शहर की बड़ी समस्या आवारा कुत्तों की नसबंदी के लिए आपरेशन थियेटर बनाने का निर्णय नगर निगम बोर्ड ने ही लिया है।

निगम में हमेशा तनाव की स्थिति बनी रहती है: सुनीता वर्मा

सुनीता वर्मा बातचीत में अपना दर्द व्यक्त करना भी नहीं भूलती हैं। वें कहती हैं, विपक्षी दल का महापौर होने के कारण नगर आयुक्त उनकी नहीं सुनते। आरोप है कि महापौर को दरकिनार करके वे भाजपा के पार्षदों के दबाव में रहते हैं। निगम में हमेशा तनाव की स्थिति बनी रहती है। अवस्थापना निधि और 14वां वित्त आयोग के तहत निगम को सालाना 100 करोड़ से ज्यादा राशि प्राप्त होती है लेकिन उसमें अपने प्रस्ताव शामिल कराने के लिये महापौर को मिन्नतें करनी पड़ती थी।

व्यापारिक दृष्टि से व्यापार का एक प्रमुख केंद्र: मेयर

प्रदेश सरकार ने महापौर को अवस्थापना निधि तथा 14 वां वित्त आयोग की राशि से कराये जाने वाले विकास कार्यो की प्रशासनिक और वित्तीय स्वीकृति प्रदान करने वाली समिति का अध्यक्ष बना दिया है। बजट के अभाव में शहर के विकास की अधूरी योजनाओं को पूरा करने के लिए नगर निगम मेयर सुनीता वर्मा ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से 400 करोड़ बजट की मांग कर चुकी है। इस संबंध में मेयर ने बकायदा एक पत्र जारी कर मुख्यमंत्री को शहर के विकास की समस्या से अवगत कराते हुए बजट की मांग की है। मेयर ने पत्र के माध्यम से बताया कि मेरठ नगर निगम एनसीआर अन्तर्गत आता और दिल्ली के समीप सर्किल में आने के कारण व्यापारिक दृष्टि से व्यापार का एक प्रमुख केंद्र है। यहां पर पावरलूम, पाइप बैंड, कैंची समेत विभिन्न विश्वस्तरीय सामान का निर्माण किया जाता है। वहीं नगर निगम 141.40 वर्ग किमी में फैला जिसमें नगर की सड़कों की लंबाई लगभग 2000 किमी है। मेयर ने बताया कि पिछले कुछ वर्षो में नगर निगम के विकास कार्य बजट के अभाव में रुके हुए हैं। जिससे आमजन प्रभावित हो रहा है।

Deepak Kumar

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