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Mirzapur News: पर्वतरोही काजल पटेल ने सीएम से मांगी आर्थिक मदद, कई चोटियों को कर चुकी हैं फतह
Mirzapur News: देश जहां आज एक अगस्त को राष्ट्रीय पर्वतारोहण दिवस मना रहा है वही मिर्जापुर के किसान की बेटी धन के अभाव में अपने सपने को पंख नहीं दे पा रही।
Mirzapur News: उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर जिले के विकासखंड जमालपुर के हिनौती माफी गांव की रहने वाली काजल पटेल का धन के अभाव में पर्वतारोही का सपना अधूरा है। आज भी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मदद की गुहार लगा रही है। पर्वतारोही काजल पटेल कई पहाड़ी चोटियों को फतह जिले और प्रदेश का मान बढ़ाया है। 18 हजार फीट लद्दाख की ऊंची चोटी पर काजल तिरंगा भी फहरा चुकी है इसके साथ साथ आल इंडिया बेस्ट कैडेट का अवार्ड मिलने पर रक्षा विभाग प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित भी कर चुका है। पर्वतारोही बछेंद्री पाल से मिल चुकी है काजल पटेल लेकिन इस वक्त आर्थिक तंगी की वजह से परेशान है। पर्वतारोहण दिवस पर किसान की बेटी काजल पटेल ने एक बार फिर मुख्यमंत्री से मदद की गुहार लगा रही है।
जानिए कौन है काजल पटेल
देश जहां आज एक अगस्त को राष्ट्रीय पर्वतारोहण दिवस मना रहा है वही मिर्जापुर के किसान की बेटी धन के अभाव में अपने सपने को पंख नहीं दे पा रही। दुनिया के सबसे ऊंचे पर्वत माउंट एवरेस्ट पर तिरंगा लहराने का अपान है पर धन के अभाव में सपना पूरा होता नजर नहीं आ रहा है। दरअसल हम बात कर रहे हैं मिर्ज़ापुर के विकास खंड जमालपुर के हिनौती माफी गांव के रहने वाले किसान संतराम सिंह की बेटी पर्वतारोही काजल पटेल की जो दो वर्ष पहले पैसा जमा न होने के कारण एशियन ट्रेकिग कंपनी ने काजल को एवरेस्ट की चोटी पर चढ़ने से रोक दिया था, जिससे काजल का सपना अधूरा ही रह गया था ।
माउण्ट एवरेस्ट पर तिरंगा लहराने का सपना संजोये किसान की बेटी और एनसीसी व निमास की बेस्ट कैडेट अवार्ड विजेता पर्वतारोही काजल पटेल ने एवरेस्ट अभियान के फतह के लिए 25 लाख रूपये मदद की गुहार लगा चुकी है । इसके लिए पूर्व जिलाधिकारी अनुराग पटेल भी पर्वतारोही की फाइल मुख्यमंत्री को भेज चुके हैं लेकिन अभी तक केवल मायूसी ही हाथ लगी है । काजल पटेल एक बार फिर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मदद की गुहार लगाई है काजल पटेल ने कहा कि मदद हो जाए तो दुनिया के सबसे ऊंचे पर्वत माउंट एवरेस्ट पर तिरंगा लहरा देश का नाम रोशन कर पाऊंगी ।
लद्दाख में 18 हजार फीट की ऊंचाई पर फहरा चुकी है तिरंगा
प्रदेश का प्रतिनिधित्व कर पांच वर्ष पहले लद्दाख की 18 हजार फीट की ऊंचाई पर तिरंगा फहराने वाली पर्वतारोही काजल पटेल का चयन लद्दाख अभियान के लिए 2017 में किया गया था, जहां देश के विभिन्न प्रांतो से कुल 20 सदस्यीय टीम चुनी गयी थी, जिसमें उत्तर प्रदेश की वह अकेली बेटी थी । गिनीज बुक में अपना नाम दर्ज कराने का सपना देख रही काजल को केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल के प्रयास से भारत सरकार के खेल मंत्रालय काजल पटेल को अरूणाचल प्रदेश में स्थित भारतीय पर्वतारोहण फाउण्डेशन द्वारा संचालित माउण्ट एवरेस्ट चढ़ाई करने वाले एक विशेष ट्रेनिंग कोर्स में प्रवेश देकर प्रशिक्षित करा चुका है जहां प्रशिक्षण के दौरान बेस्ट कैडेट का अवार्ड मिला था ।पर्वतारोही काजल पटेल में दुनिया की ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर तिरंगा फहराने की जज्बा आज भी है, लेकिन उसे सरकार या किसी अन्य के द्वारा तीन वर्षों से मदद नहीं मिल सकी है ।
बछेंद्री पाल से भी कर चुकी है मुलाकात
काजल पटेल अपना प्रशिक्षण पूरी करने के बाद एवरेस्ट फतह करने वाली देश की पहली और दुनिया की पांचवीं भारतीय महिला बछेन्द्री पाल से 2019 में मुलाकात कर एवरेस्ट के विषय में जानकारी ली थी । बछेन्द्री पाल ने काजल को अपना मोबाइल नंबर देकर समय समय पर प्रशिक्षण के विषय में टिप्स देती रहती हैं ।काजल पटेल वाराणसी से बीएससी की पढ़ाई पूरी करने के बाद वह राम ललित सिंह महाविद्यालय कैलहट मिर्जापुर से बी.एड कर रही है, साथ सेना के लिए परीक्षा की तैयारी कर रही है । काजल का सपना है कि माउंट एवरेस्ट की चोटी पर भारतीय तिरंगा फहरा कर देश प्रदेश का नाम रोशन करूं -