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अब PFMS से होगी UP में चल रही केंद्रीय योजनाओं की मॉनिटरिंग, ये होंगे फायदे

यूपी में केंद्र से वित्त पोषित योजनाओं की अब पब्लिक फाइनेंशियल मैनेजमेंट सिस्टम (पीएफएमएस) के जरिए निगरानी की जाएगी। इस सिलसिले में पिछले दिनों केंद्रीय वित्त मंत्रालय से आलोक वर्मा की अगुवाई में आई टीम की वित्त सचिव के साथ बैठक भी हुई थी। अब इसको मूर्त रूप दिया गया है। केंद्रीय योजनाओं की निगरानी के लिए स्टेट और डिस्ट्रिक्ट एडवाइजरी ग्रुप का गठन किया गया है। जो योजनाओं को पीएफएमएस के जरिए लागू करने की संस्तुति देगी। यूपी में अब तक सिर्फ समाज कल्याण की पेंशन और स्कॉलरशिप आदि योजनाएं ही पीएफएमएस से जुड़ी हैं।

tiwarishalini
Published on: 31 Aug 2016 8:23 PM IST
अब PFMS से होगी UP में चल रही केंद्रीय योजनाओं की मॉनिटरिंग, ये होंगे फायदे
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लखनऊ: यूपी में केंद्र से वित्त पोषित योजनाओं की अब पब्लिक फाइनेंशियल मैनेजमेंट सिस्टम (पीएफएमएस) के जरिए मॉनिटरिंग की जाएगी। इस सिलसिले में पिछले दिनों केंद्रीय वित्त मंत्रालय से आलोक वर्मा की अगुवाई में आई टीम की वित्त सचिव के साथ बैठक भी हुई थी। अब इसको मूर्त रूप दिया गया है।

केंद्रीय योजनाओं की निगरानी के लिए स्टेट और डिस्ट्रिक्ट एडवाइजरी ग्रुप का गठन किया गया है। जो योजनाओं को पीएफएमएस के जरिए लागू करने की संस्तुति देगी। यूपी में अब तक सिर्फ समाज कल्याण की पेंशन और स्कॉलरशिप आदि योजनाएं ही पीएफएमएस से जुड़ी हैं।

स्टेट एडवाइजरी ग्रुप

प्रमुख सचिव वित्त की अध्यक्षता में एक स्टेट एडवाइजरी ग्रुप का गठन किया गया है। इसमें नियोजन, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, ग्राम्य विकास, बेसिक शिक्षा, कृषि और समाज कल्याण विभाग के प्रमुख सचिव या सचिव सदस्य होंगे। केंद्रीय वित्त मंत्रालय के आलोक कुमार वर्मा कंट्रोलर ऑफ एकाउंट ग्रुप के सदस्य सचिव होंगे।

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डिस्ट्रिक्ट एडवाइजरी ग्रुप

डीएम की अध्यक्षता में आठ सदस्यीय डिस्ट्रिक्ट एडवाइजरी ग्रुप का गठन किया गया है। इसमें सीएमओ, सीडीओ, बीएसए, जिला कार्यक्रम अधिकारी, जिला समाज कल्याण अधिकारी, जिला कृषि अधिकारी सदस्य होंगे। मुख्य या वरिष्ठ कोषाधिकारी ग्रुप के सदस्य सचिव होंगे।

क्या है पीएफएमएस ?

इस सिस्टम के जरिए योजनाओं के फंड के प्रवाह पर निचले स्तर तक निगरानी रखी जाती है। योजनाएं लागू करने वाली एजेंसियों को सही समय पर फंड उपलब्ध कराने और पीएफएमएस रीयल टाइम बैंक बैलेंस की सुविधा उपलब्ध कराता है। फंड उपयोग की रिपोर्ट भी इस सिस्टम के जरिए ली जाती है।

क्या होगा फायदा ?

-इससे वास्तविक लाभार्थियों तक लाभ पहुंच सकेगा।

-पीएफएमस के जरिए केंद्र सरकार योजना का हाल जान सकेगी।

-इससे यह पता च सकेगा कि पात्र को लाभ मिल रहा है या नहीं?

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केंद्र से वित्त पोषित की यह योजनाएं पीएफएमएस से जुड़ेंगी

-मिड डे मील

-बाल विकास पुष्टाहार

-राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान

-राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान

-सर्व शिक्षा अभियान

-नेशनल हेल्थ मिशन

-राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन

-मनरेगा

-राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा कार्यक्रम

-इंदिरा आवास

-प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना

-प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना

-जननी सुरक्षा योजना



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tiwarishalini

tiwarishalini

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