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Muzaffarnagar News: BKU का धरना, नरेश टिकैत ने कहा- अब आर पार होगी लड़ाई

Muzaffarnagar News: पुलिस द्वारा भारतीय किसान यूनियन के युवा जिलाअध्यक्ष कपिल सोम की हिस्ट्रीशीट खुलने से नाराज सैकड़ो कार्यकर्ता थाना प्रांगण में धरने पर बैठ गए है।

Amit Kaliyan
Published on: 25 Jun 2024 10:16 PM IST
Under the leadership of BKUs national president Naresh Tikait, they sat on a dharna in the police station premises
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बीकेयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत के नेतृत्व में थाना प्रांगण में धरने पर बैठ गए: Photo- Newstrack

Muzaffarnagar News: उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर जनपद में स्थित रतनपुरी थाना पुलिस द्वारा भारतीय किसान यूनियन के युवा जिलाअध्यक्ष कपिल सोम की हिस्ट्रीशीट खोली गई है। जिससे नाराज सैकड़ो कार्यकर्ता मंगलवार को बीकेयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत के नेतृत्व में थाना प्रांगण में धरने पर बैठ गए है।

इस दौरान बीकेयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत ने कहा कि कपिल सोम की हिस्ट्रीशीट खोलने की नौबत तो बनती ही नहीं है, क्योंकि जो केस उस पर है उन पर फाइनल रिपोर्ट लग चुकी है। उन्होंने कहा कि सरकार को लोकसभा चुनाव में बड़ा झटका लगा है, इसलिए उन्हें थोड़ा सा जनता को देखकर काम करना चाहिए ।

फाइनल रिपोर्ट लगने के बाद हिस्ट्री सीट खोलने का क्या मतलब है

नरेश टिकैत की मानें तो "यह जो कपिल सोम पर हिस्ट्री सीटर खोली है यह नौबत तो बनती ही नहीं, जो केस है उस पर तो फाइनल रिपोर्ट लग चुकी है। इस पर हिस्ट्री सीटर खोलने का क्या मतलब है तो यह तो एक दबाने का काम है क्योंकि वो मुजफ्फरनगर का युवा जिला अध्यक्ष है। तो आम जनता क्या सोचेगी, बिजली को लेकर यह है कि यह फोटो ले रहे हैं और उल्टा सीधा काम कर रहे हैं एवं मिल बैठ कर बात होनी चाहिए और हमने ना कभी बिल रोकना चाहा लेकिन यह सरकार नहीं किस तरह की बात चाह रही है जनता को भिड़ाना चाह रही है और कोई जिला ऐसा नहीं है जहां आंदोलन ना हो रहे हो तो ऐसे काम नहीं चलेगा, अभी किसी अधिकारी से बात नहीं हुई है लेकिन ऐसी बात नहीं बात तो होगी।


धरना लम्बा तो नहीं चलाएंगे क्योंकि अनुशासन में ही काम चलता है, पर इस तरह की नौबत क्यों आ रही है एवं सरकार की क्या मंशा है, क्योंकि सरकार को झटका भी बहुत लग लिया और लोकसभा के चुनाव हुए इसमें भी कितना झटका लगा तो थोड़ा सा जनता को देख कर काम करें यह नहीं की रेवड़.... की तरह हाँकते चलेंगे तो ऐसे काम नहीं चलेगा और जिस पर जो केस बनता हो वह कैसे लगाओ अगर किसी पर कोई केस नहीं बनता तो उसे पर जबरदस्ती क्यों थोपा जा रहा है।

यह किस जाति-मजहब एवं बिरादरी से ऊपर उठकर बिना बुलाये है और ज्यादा बड़ी हो जाए तो कोई थाना नहीं रहेगा जिसमें धरना प्रदर्शन ना हो तो हम नहीं चाहते कि इस तरह की नौबत आए एवं बैठकर बातचीत करें और जिस पर कैस बनता है उस पर कैस बनाओं जिसका समझौता होता है समझौते करो जो पहले से चला आ रहा है।"



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Shashi kant gautam

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