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Mirapur Bypolls in Muzaffarnagar: मतदान के दौरान पुलिस से भिड़ने वाली महिला व अन्य का सम्मान करेगी समाजवादी पार्टी

Mirapur Bypolls in Muzaffarnagar: मीरापुर विधानसभा सीट पर हुए उपचुनाव में ककरौली थाना क्षेत्र के ककरौली गांव में चुनाव के दौरान जमकर हंगामा हुआ था, जिसकी एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हुई है।

Amit Kaliyan
Published on: 21 Nov 2024 9:48 PM IST
Mirapur Bypolls in Muzaffarnagar: मतदान के दौरान पुलिस से भिड़ने वाली महिला व अन्य का सम्मान करेगी समाजवादी पार्टी
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Muzaffarnagar news (newstrack)

Mirapur Bypolls in Muzaffarnagar: मीरापुर विधानसभा सीट पर हुए उपचुनाव में ककरौली थाना क्षेत्र के ककरौली गांव में चुनाव के दौरान जमकर हंगामा हुआ था, जिसकी एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हुई है, जिसमें इंस्पेक्टर ककरौली राजीव शर्मा महिलाओं पर पिस्टल तानकर गोली मारने की बात कहते नजर आ रहे हैं। इस वीडियो में एक महिला तोहिदा की पुलिस से जमकर तू - तू, मैं - मैं भी होती हुई दिखाई दे रही है।

आपको बता दे की इस घटना के बाद चुनाव तो मीरापुर में शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न हो गया था लेकिन इस वीडियो के वायरल होने के बाद अब उत्तर प्रदेश की राजनीति गर्मा गई है। जिसके चलते आज सपा प्रमुख अखिलेश यादव के निर्देशन पर मुजफ्फरनगर से समाजवादी पार्टी का एक डेलिगेशन वायरल वीडियो में पुलिस का सामना करती महिला तोहिदा के घर पहुंचा था। जिसमें समाजवादी पार्टी के जिला अध्यक्ष जिया चौधरी और मीरापुर विधानसभा सीट के इस चुनाव में समाजवादी पार्टी की प्रत्याशी सुम्बुल राणा के ससुर पूर्व एमपी क़ादिर राणा के साथ अन्य सपा के नेता और कार्यकर्ता शामिल थे।

इस दौरान मीडिया से बात करते हुए मुजफ्फरनगर से समाजवादी पार्टी के जिला अध्यक्ष जिया चौधरी ने यह घोषणा की है कि समाजवादी पार्टी मीरापुर विधानसभा सीट के चुनाव को तुरंत निरस्त कर दोबारा चुनाव कराने की जहां मांग करती है, तो वहीं सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव भी जल्द ही तोहिदा और जिन लोगों ने कल के चुनाव में पुलिस का सामना किया था उनका सम्मान करेंगे।

सपा जिला अध्यक्ष जिया चौधरी की माने तो देखिए कल जिस तरीक़े से प्रशासन और पुलिस का रवैया था वह पूर्णतया रूप से लोकतंत्र की हत्या है, अगर मुसलमान को वोट डालने का अधिकार ही नहीं है, तो आप उन्हें मतदाता सूची में शामिल क्यों कर रहे हो। चुनाव आयोग से यह हमारा प्रश्न है। जिले के कप्तान, जिलाधिकारी व जो अन्य पुलिस के अधिकारी थे उन्होंने चुन चुन कर मुसलमान पर अत्याचार किया और उनको वोट डालने से रोका गया। एक तरफ निर्वाचन आयोग मत प्रतिशत बढ़ाने के लिए करोड़ों रुपए खर्च करता है विज्ञापन पर और प्रोत्साहन करता है कि ज्यादा से ज्यादा मतदान हो दूसरी तरफ कल चुनाव आयोग ने आंखे बंद कर लीं।

जिया चौधरी ने कहा अखिलेश यादव के हस्तक्षेप के बाद कुछ लोगों को सिर्फ एक दिखाने के लिए संकेत के लिए सस्पेंड किया गया, जो लोग पिस्टल तान रहे थे जो अधिकारी उनका बचाव (डीएम और कप्तान) कर रहे हैं, यह लोकतंत्र के लिए शर्मनाक बात है।



Ragini Sinha

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