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Greater Noida News: निवेशकों के लिए ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने शुरू की नई योजना, जाने इस योजना के बारे में

ग्रेटर नोएडा में फैक्ट्री लगाने के इच्छुक छोटे बड़े निवेशकों के इस रुझान का संज्ञान लेते हुए अब ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने निवेशकों को औद्योगिक भूखंड उपलब्ध कराने की ओपन एंडेड योजना शुरू की है।

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Newstrack NetworkPublished By Shweta
Published on: 11 Oct 2021 11:55 AM GMT
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कॉन्सेप्ट फोटो (फोटोः सोशल मीडिया)

Greater Noida News: ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण (Greater Noida Industrial Development Authority) के क्षेत्र में बीते साढ़े चार वर्षों में रिकार्ड तोड़ निवेश आया है। प्रदेश सरकार (state government) की इंवेस्टर फ्रेंडली नीतियों (Investor Friendly Policies) से प्रभावित होकर देश और विदेश के 391 बड़े निवेशकों ने ग्रेटर नोएडा में अपनी फैक्ट्री (Greater Noida Factory) स्थापित करने के लिए जमीन ली है। ये निवेशक 26,530 करोड़ रुपए का निवेश कर ग्रेटर नोएडा में अपनी फैक्ट्री लगा रहे हैं। ग्रेटर नोएडा में फैक्ट्री लगाने के इच्छुक छोटे बड़े निवेशकों के इस रुझान का संज्ञान लेते हुए अब ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण (Greater Noida avdharna vikas pradhikaran) ने निवेशकों को औद्योगिक भूखंड उपलब्ध कराने की ओपन एंडेड योजना शुरू की है। इस योजना के तहत 450 वर्ग मीटर से लेकर 20 एकड़ तक के भूखंड निवेशकों को उपलब्ध कराए जाएंगे। आगामी 31 अक्टूबर तक आने वाले आवेदनों पर नवंबर के पहले सप्ताह में साक्षात्कार या ड्रा के जरिए आवंटन किया जाएगा। इन आवंटनों से प्राधिकरण को करीब 800 करोड़ रुपए का निवेश और 3000 लोगों को रोजगार मिलने की उम्मीद है।

कुल मिलकर अब औद्योगिक निवेश (awadik nivesh) के लिए ग्रेटर नोएडा की तरफ उद्यमियों का रुझान तेजी से बढ़ा है। इस वजह से ही ईज आफ डूइंग बिजनेस के मामले में नोएडा देश के कुछ चुनिंदा शहरों में एक बन गया है। देश व विदेशों की कई कंपनियां ग्रेटर नोएडा (Greater Noida me zamin) में जमीन पाने के लिए मांग कर रही थी। इसके चलते ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने उनकी मांगों को पूरा करने के लिए आठ नए औद्योगिक सेक्टर बसाने का फैसला किया है। इसके लिए करीब 900 हेक्टेयर जमीन खरीदने की कार्रवाई शुरू की गई है। अब इसी क्रम में अब 23 औद्योगिक भूखंडों की योजना लांच की गई है। ग्रेटर नोएडा के सीईओ नरेंद्र भूषण के अनुसार, प्राधिकरण के सेक्टर ईकोटेक- 10, ईकोटेक- वन, एक्सटेंशन वन, ईकोटेक -8, ईकोटेक -6, ईकोटेक -11 तथा सेक्टर -16 में औद्योगिक भूखंड आवंटित किए जाएंगे। इन भूखंडों पर ग्रीन कैटेगरी नॉन पोल्यूतिंग कैटेगरी के सभी तरह के उद्योग लगाए जा सकते हैं। इस योजना से जुड़ी जानकारी ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की वेबसाइट पर भी उपलब्ध करा दी गई है।

प्राधिकरण के अधिकारियों के अनुसार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) द्वारा सूबे में निवेश को बढ़ावा देने के लिए तैयार कराई गई औद्योगिक नीतियां देश तथा विदेश के निवेशकों को रास आ रही हैं। सूबे की आईटी तथा मैन्युफैक्चरिंग पालिसी, फ़ूड प्रोसेसिंग नीति और सौर ऊर्जा सेक्टर में निवेश को बढ़ावा देने के लिए दी गई रियायतों के चलते तमाम बड़े निवेशक राज्य में अपनी यूनिट लगाने को महत्व दे रहे हैं। इसके तहत ही बीते साढ़े चार वर्षों में देश एवं विदेश के 391 बड़े निवशक 26,530 करोड़ रुपए का निवेशक ग्रेटर नोएडा में अपनी फैक्ट्री लगा रहे हैं। चीन की विख्यात कंपनी ओप्पो और विवो भी ग्रेटर नोएडा में निवेश (Investing) कर रही हैं। इसके अलावा हिरानादानी ग्रुप, ड्रीम्सटच इलेक्ट्रानिक्स, इनोक्स एयर, लेमी प्लास्टिक मैन्युफैक्चरिंग जैसी कंपनियों ने अपना उद्यम स्थापित करने के लिए ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण से जमीन खरीदी है।

बीते एक साल में ग्रेटर नोएडा में फैक्ट्री (Greater Noida me Factory) लगाने के इच्छुक 46 निवेशकों को 1000 वर्ग मीटर से 20 एकड़ तक के भूखंड प्राधिकरण ने उपलब्ध कराए गए। ये 48 निवेशक 2000 करोड़ रुपये का निवेश कर यहां पानी फैक्ट्री लगाएंगे जिसमें करीब 8,200 लोगों को रोजगार मिलेगा। कई बड़ी कंपनियां भी ग्रेटर नोएडा में निवेश की इच्छुक हैं। ऐसे तमाम निवेशकों के लिए ही नई योजना लायी गई है। अधिकारियों का कहना है कि यह योजना ग्रेटर नोएडा क्षेत्र में निवेश के इच्छुक निवेशकों का उत्साह बढ़ाएगी । ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण चंद वर्षों में सबसे अधिक औद्योगिक निवेश कराने वाला देश का पहला प्राधिकरण बन जाएगा।

Shweta

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