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Lok Sabha Election 2024: बेरोजगारी, महंगाई और लखीमपुर कांड जैसे मुद्दों पर वरुण गांधी को आवाज उठाना पड़ा भारी
Lok Sabha Election 2024: सूत्रों की मानें तो पीलीभीत लोकसभा सीट में बीते कई दशकों गांधी परिवार काबिज रहा, लेकिन कोई खास विकास नही हो पाया। हालांकि टिकट कटने के बाद से पीलीभीत की जनता काफी आक्रोशित जरूर है।
Lok Sabha Election 2024: यूपी की पीलीभीत लोकसभा सीट पर लोकसभा चुनाव इस समय दिलचस्प है। कांटे की टक्कर है, जबरदस्त बयानवाजी भी हो रही है। वादो की झड़ी भी लगाई जा रही है।वहीं, जो जमीनी और जनता से जुड़े मुद्दे है उन पर कोई सवाल नहीं करता नजर आ रहा है। जिसने इन सभी मुद्दों पर आवाज उठाई उसका टिकट कट गया। महंगाई, बेरोजगारी, अग्निवीर और लखीमपुर कांड जैसे मुद्दों पर आवाज उठाना वरुण गांधी को महंगा पड़ गया। पैराशूट से जितिन प्रसाद को बुलाया गया। फिर भी सीट पर खतरा मंडराता नजर आ रहा है।
कई बड़े दिग्गज नेताओं को जनसभाएं करनी पड़ रही है, नुक्कड़ सभाएं भी की जा रही है। गली-गली घूम कर डोर टू डोर जनता से रूबरू भी होना पड़ रहा है। यहां तक कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी पीलीभीत लोकसभा सीट के लिए प्रचार करने आना पड़ गया। फिर भी कोई गारंटी नजर नही आ रही कि बीजेपी की यह पुश्तैनी सीट निकाल पाएगी।
आखिर ऐसा क्या हुआ?
दरअसल यह सीट बीजेपी का गढ़ मानी जाती है। बीते कई दशकों से यह सीट बीजेपी के खाते में चढ़ती आ रही है। क्योंकि, यह सीट गांधी परिवार के हाथों में थी। मेनका गांधी और वरुण गांधी इस सीट से सांसद हैं। यहां तक कि देश विदेशों में भी पीलीभीत को लोग गांधी परिवार के नाम की वजह से जानते हैं। हालांकि, पीलीभीत को बाँसुरी नगरी, टाइगर रिजर्व और चावल उद्धोग व मिनी पंजाब के नाम से भी जानते है। पर यह सब बाद में पहले गांधी परिवार का नाम जुबान पर आता है। पर इस बार गांधी परिवार का बीजेपी ने पत्ता साफ कर दिया।
सूत्रों की मानें तो पीलीभीत लोकसभा सीट में बीते कई दशकों गांधी परिवार काबिज रहा, लेकिन कोई खास विकास नही हो पाया। हालांकि टिकट कटने के बाद से पीलीभीत की जनता काफी आक्रोशित जरूर है। इसकी वजह यह है कि भले गांधी परिवार इस सीट पर कोई विकास न कर पाया है। फिर भी जनता उन्ही को चाहती है क्योंकि उनके खून में ईमानदारी है। सत्ता में रहकर भी सत्ता के खिलाफ आवाज उठाना बहुत बड़ी बात है। अपनी ही सरकार को घेरना और ज्वलंत मुद्दों पर बात करना, चाहे मामला महंगाई से जुड़ा हो या अग्निवीर, या पेपर लीक से जुड़ा हो हर मुद्दों पर वरुण गांधी ने बात की।
जितिन प्रसाद यहां से बीजेपी प्रत्याशी है। लेकिन इस सीट पर अब तक कोई कमाल नही कर पा रहे हैं। सीएम से लेकर पीएम तक और कई मंत्री विधायक व अन्य प्रदेशों के मुख्यमंत्री भी जनसभाएं कर चुके है। यहां तक कि जितिन प्रसाद ने अपनी पत्नी नेहा प्रसाद को भी चुनाव प्रचार में उतार दिया है।