प्रधानमंत्री ने काशी के मांझियों को 1 साल पहले दी थी ई बोट की सौगात, जानिए अब क्या है हाल

By
Published on: 26 May 2017 10:35 AM IST
प्रधानमंत्री ने काशी के मांझियों को 1 साल पहले दी थी ई बोट की सौगात, जानिए अब क्या है हाल
X

varanasi e boat poor condition

वाराणसी: देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गंगा को निर्मल और प्रदूषण मुक्त करने की दिशा में जो पहल की थी, वो थी गंगा में ई-बोट का संचालन। पीएम ने एक साल पहले मजदूर दिवस (1 मई) को अस्सी घाट पर 11 मांझियों को ई-बोट की सौगात दी थी।

पीएम ने खुद ई बोट की सवारी भी की थी, लेकिन जिस उद्देश्य और ताम-झाम के साथ इस ई-बोट को लांच किया गया था, वो एक साल में ही प्रशासनिक अंनदेखी और लापरवाही की भेट चढ़ गई है। 11 बोटों में से एक बोट है, जो अभी अस्तित्व में बची हुई है बाकि बोट्स से ई तो गायब हो चुका है।

आगे की स्लाइड में जानिए इन ई-बोट्स की बदहाली से जुड़े फैक्ट्स

varanasi e boat poor condition

ये है वाराणसी का अस्सी घाट, ये वही घाट है, जहां एक मई 2016 को पीएम मोदी ने ई बोट की सवारी करके के 11 मांझियों को ई बोट की सौगात दी। बोट के वितरण के समय पीएम ने कहा था कि इस बोट के कारण गंगा में प्रदूषण में नियंत्रण होगा और इसके अलावा नाविकों की जीवन स्तर में भी सुधार आएगा। यहीं नहीं इससे पर्यटकों को भी गंगा की सैर करते समय आनंद की अनुभूति होगी।

आगे की स्लाइड में जानिए इन ई-बोट्स की बदहाली से जुड़े फैक्ट्स

varanasi e boat poor condition

एक साल बाद जब इन बोट्स का हाल जानने के लिए अस्सी घाट जाया गया, तो देखने को मिला कि कुछ बोट घाट के किनारे औंधे मुंह गिरे पड़े हैं, तो कुछ बोट बदहाली की मार झेल रहे हैं। इनमें चार नांव गंगा में चलते हुए नजर आई, लेकिन वे बैटरी संचालित ना होकर पतवार या डीजल इंजन से चल रही थी। इन बोट्स से बैटरी का सिस्टम खत्म हो चुका है। यात्री भी कहते हैं कि अब ये ई बोट चार्ज नहीं होने के कारण पतवार के भरोसे ही है।

आगे की स्लाइड में जानिए इन ई-बोट्स की बदहाली से जुड़े फैक्ट्स

varanasi e boat poor condition

जिस मांझी ने अपने ई-बोट से पीएम मोदी को गंगा में सैर कराया था, उसने इस ई-बोट के बारे में बताया कि पीएम ने ये काम तो बहुत अच्छा किया था और उससे हम लोगों की कमाई पर भी अच्छा असर पड़ा था, लेकिन प्रशासनिक अनदेखी के चलते ज्याजातर नावे अपने पुराने ढर्रे पर ही संचालित होने लगी हैं। उसकी सबसे बड़ी वजह है कि बैटरी के चार्ज करने की व्यवस्था का ना होना।

आगे की स्लाइड में जानिए इन ई-बोट्स की बदहाली से जुड़े फैक्ट्स

varanasi e boat poor condition

इस इलाके के पार्षद कहते हैं कि शहर के बीजेपी नेता और स्थानीय अधिकारी देश के प्रधानमंत्री को सही तश्वीर नहीं दिखाते हैं, इसलिए ही आज एक साल में ही ई बोट की हालत ये हो चुकी है इसके अलावा जो स्वच्छा का अधिकारी ढींढोरा पीट रहे हैं, उसकी हकीकत जाननी है, तो वे कोई भी अस्सी घाट के किनारे खड़े होकर गंगा के पानी को देख सकते हैं कि वह नाले का पानी है या गंगा का।

आगे की स्लाइड में जानिए इन ई-बोट्स की बदहाली से जुड़े फैक्ट्स

varanasi e boat poor condition

शहर के मेयर रामगोपाल मोहले भी ये मानते हैं कि ई बोट का संचालन ठीक ढंग से नहीं हो रहा है क्योंकि उसे चार्जिंग की समस्या है। लेकिन उसके लिए भी वे पिछली सरकार को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं।

आगे की स्लाइड में जानिए इन ई-बोट्स की बदहाली से जुड़े फैक्ट्स

varanasi e boat poor condition

वैसे ये कोई सरकारी योजना नहीं थी। प्राइवेट संस्था ने पीएम के हाथ ई बोट का वितरण करा कर अपना उल्लू सीधा कर लिया और बदनामी सरकार के मत्थे जड़ दिया है। इसके लिए स्थानीय अधिकारी और वे मांझी भी जिम्मेदार हैं, जिन्हें सस्ते ब्याज पर ये नाव दिया गया था। अब वे पैसा देना ही नहीं चाहते तो इसमें पीएम मोदी क्या कर सकते हैं?

Next Story