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Prayagraj MahaKumbh 2025: किन्नर अखाड़े की देवत्व यात्रा में दिखे भक्ति और मस्ती के रंग, विंटेज कार और चांदी के सिंहासन में किन्नर सवार
Prayagraj News: महाकुंभ में अपनी छावनी प्रवेश के लिए किन्नर अखाड़े ने भी अपनी पेशवाई निकाली इसे नाम दिया गया देवत्व यात्रा। जूना अखाड़े की अनुगामी बनकर किन्नर अखाड़े ने यह यात्रा निकाली जिसमें मस्ती और भक्ति के रंग ने सबको रंग डाला।
Prayagraj MahaKumbh 2025: प्रयागराज में किन्नर अखाड़े ने अपनी देवत्व यात्रा निकाल कर कुंभ क्षेत्र स्थित अपनी छावनी में प्रवेश किया। किन्नर अखाड़े की देवत्व यात्रा देखने के लिए सबसे अधिक लोग सड़कों पर दिखे।
किन्नर अखाड़े की देवत्व यात्रा देखने उमड़ा जन सैलाब
महाकुंभ में अपनी छावनी प्रवेश के लिए किन्नर अखाड़े ने भी अपनी पेशवाई निकाली इसे नाम दिया गया देवत्व यात्रा। जूना अखाड़े की अनुगामी बनकर किन्नर अखाड़े ने यह यात्रा निकाली जिसमें मस्ती और भक्ति के रंग ने सबको रंग डाला। देवत्व यात्रा में 51 चांदी के सिंहासन में किन्नर अखाड़े के महा मंडलेश्वर विराजमान होकर सड़कों से गुजरे।
किन्नर अखाड़ा की देवत्व यात्रा में सबसे आगे उनकी इष्ट माता बऊचरा, फिर अखाड़ा का ध्वज और उसके बाद किन्नर अखाड़ा के आचार्य महामंडलेश्वर डॉ. लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी का रथ था। इसके पीछे इनके अन्य पदाधिकारी। इसमें अंतरराष्ट्रीय महामंडलेश्वर डॉ. राजराजेश्वरी शिवप्रिया, उप्र किन्नर अखाड़ा की प्रदेश अध्यक्ष और उप्र किन्नर वेलफेयर बोर्ड की वरिष्ठ सदस्य महामंडलेश्वर कौशल्यानंद गिरि, महामंडलेश्वर पवित्रा नंद गिरी। पवित्रा नंद गिरी की विंटेज कार की सवारी ने भी सबका दिल जीत लिया।
डमरू धमाल ने सबको झकझोर दिया
किन्नर की देवत्व यात्रा में 51 डमरू की ध्वनि से डमरू धमाल नृत्य ने सबको जगा दिया। किन्नर अखाड़े की आचार्य महामंडलेश्वर डॉ. लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी ने बताया कि किन्नर अखाड़ा में 200 से अधिक पदाधिकारी इस यात्रा में शामिल हुए। किन्नर अखाड़े का शिविर महाकुंभ के सेक्टर-16 संगम लोवर मार्ग में लग रहा है। देवत्व यात्रा का समापन इसी स्थान पर हुआ।