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Mahoba News: गंभीर बताकर गर्भवती महिला को डॉक्टरों ने किया रेफर, एम्बुलेंस चालक और एमटी की सूझबूझ से हुई नार्मल डिलीवरी
Mahoba News: महोबा के जिला महिला अस्पताल में जिस गर्भवती महिला को डॉक्टरों ने गंभीर बताकर रेफर किया उसकी एम्बुलेंस में नार्मल डिलीवरी हुई।
Mahoba News: महोबा के जिला महिला अस्पताल में जिस गर्भवती महिला को डॉक्टरों ने गंभीर बताकर रिफर किया उसकी एम्बुलेंस में नार्मल डिलीवरी होने पर तैनात डॉक्टरों पर बिना जांच किये रिफर करने का आरोप लग रहा है, जबकि एम्बुलेंस एमटी और चालक की सूझबूझ से एम्बुलेंस में न केवल नार्मल डिलीवरी हुई बल्कि जच्चा और बच्चा दोनो ही सुरक्षित है। परिवार एम्बुलेंस एमटी और चालक को फरिस्ता बताकर धन्यवाद देते नही थक रहे।
हमेशा ही विवादों में रहने वाले महोबा जिला अस्पताल में लापरवाही के मामले कम होने का नाम नहीं ले रहे। आज फिर एक ऐसा ही मामला सामने आया है जिसमें जिस गर्भवती महिला को गंभीर बताकर जिला अस्पताल से रेफर कर दिया गया उसकी एंबुलेंस के अंदर ही नॉर्मल डिलीवरी होने पर अस्पताल के डॉक्टरों की कार्यशैली पर सवाल खड़े हो रहे हैं।
डॉक्टर ने ऑपरेशन करने की बात कही
बताया जाता है कि चरखारी में एग्रीकल्चर विभाग में सीनियर क्लर्क के पद पर तैनात राठ निवासी शंकर सिंह की 28 वर्षीय पत्नी ममता देवी को प्रसव पीड़ा होने पर पति शाम के समय महोबा के महिला जिला अस्पताल लेकर पहुंचा था। 12 वर्ष पूर्व ममता को पहला बच्चा हुआ था। अब प्रसव पीड़ा होने पर पति जब महिला अस्पताल लेकर पहुंचा तो वहां तैनात डॉक्टर ने उसे देखते ही सिजेरियन ऑपरेशन करने की बात कही और परिवार को बताया कि महिला की हालत नाजुक है उसकी नॉर्मल डिलीवरी नहीं हो सकती। उसका ऑपरेशन करना पड़ेगा या फिर उसे झांसी मेडिकल ले जाओ। अस्पताल में तैनात डॉक्टर ने गर्भवती महिला को रेफर कर दिया। ऐसे में पति शंकर सिंह अपनी पत्नी को एंबुलेंस से लेकर झांसी मेडिकल के लिए निकला था लेकिन मुश्किल 5 किलोमीटर जाने के दौरान ही महिला की प्रसव पीड़ा बढ़ने लगी जिस पर परिवार के लोग परेशान हो गए।
एंबुलेंस के अंदर ही नॉर्मल डिलीवरी
एंबुलेंस में मौजूद पायलट विक्रम और एमटी देवेंद्र कुमार ने एंबुलेंस को खड़ा कर अपनी सूझबूझ से महिला की न केवल नॉर्मल डिलीवरी कराई बल्कि जच्चा बच्चा भी दोनों स्वस्थ हैं। एंबुलेंस के अंदर ही नॉर्मल डिलीवरी होने को लेकर परिवार में खुशी है। परिवार के लोग एंबुलेंस के एमटी देवेंद्र कुमार और चालक विक्रम को फरिश्ता बता रहे हैं। पति का कहना है कि उनकी सूझबूझ से ही उनकी पत्नी की नॉर्मल डिलीवरी हुई है। लेकिन उसे इस बात बड़ा मलाल है कि जिला अस्पताल में तैनात डॉक्टर द्वारा उसकी पत्नी की हालत को गंभीर बताकर ऑपरेशन करने की बात कही जा रही थी।
गंभीर अवस्था बताकर महिला को रेफर कर दिया गया
यही नहीं गंभीर अवस्था बताकर उसकी पत्नी को रेफर कर दिया गया मजबूरन उसे झाँसी मेडिकल लेकर जा रहे थे लेकिन उसकी पत्नी की नार्मल डिलीवरी अस्पताल के डॉक्टरों की लापरवाही को उजागर कर रही है। उसका आरोप है कि बिना जांच किए ही डॉक्टरों द्वारा उसकी पत्नी को रेफर किया गया। गनीमत रही कि एम्बुलेंस एमटी और चालक की सूझबूझ से उसकी पत्नी की नार्मल डिलीवरी हो गई। एंबुलेंस चालक ने वापस जच्चा बच्चा को अस्पताल पहुंचाया। महिला और उसके बच्चे को अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
महिला जिला अस्पताल की ईएमओ डॉक्टर अमिता सिंह बताती है कि जच्चा बच्चा दोनों ही स्वस्थय है। नवजात को थोड़ी देर के लिए ऑक्सीजन में रखा गया है। हमने पहले ही बता दिया था कि रास्ते में भी डिलीवरी हो सकती है फिर भी परिवार के लोग ले गए थे।