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Jhansi News: ई-कॉमर्स वेबसाइट पर उपलब्ध होंगे झांसी की ग्रामीण महिलाओं के बनाए उत्पाद
Jhansi News: महिलाओं को आत्मनिर्भर और स्वावलंबी बनाने के लिए योगी सरकार की एक और पहल। ग्रामीण महिलाएं खुद ही मार्केटिंग की भी जिम्मेदारी निभा रही हैं।
Jhansi News: प्रदेश की योगी सरकार महिलाओं को आत्मनिर्भर और स्वावलंबी बनाने के लिए कई तरह की योजनाओं का संचालन कर रही है। सरकार की योजनाओं का लाभ लेकर अब झांसी की स्वयं सहायता समूह की महिलाओं के बनाये उत्पाद ई-कॉमर्स वेबसाइट के जरिये बेचे जाने की तैयारी हो रही है।
झांसी जिले के मऊरानीपुर ब्लॉक के ग्राम भटपुरा की महिलाओं का समूह कई तरह के साबुन तैयार करने और बिक्री के काम में जुटा है। अब इस स्थानीय उत्पाद की गुणवत्ता और पैकेजिंग को बेहतर कर इसे ई- कॉमर्स वेबसाइट अमेजन और फ्लिपकार्ट के माध्यम से बेचने की तैयारी चल रही है। उत्तर प्रदेश राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन की सहायता से मिलन महिला स्वयं सहायता समूह नाम की महिलाओं का समूह पिछले लगभग दो वर्षों से बॉथ सोप बनाने के काम में जुटा है। इस समूह में कुल 11 सदस्य हैं, जिनमें से 3 महिलाएं साबुन बनाने और बिक्री से जुड़ा काम संभालती हैं।
आर्थिक सहायता के साथ ही दिया गया प्रशिक्षण
मिलन स्वयं सहायता समूह की अध्यक्ष शबीना बानो, सदस्य बरकत बेगम और मदीना साबुन बनाने और बिक्री का जिम्मा संभालती हैं। इन महिलाओं को साबुन बनाने के लिए सांचा, गैस और अन्य तरह की सामग्री के अलावा आजीविका मिशन ने आर्थिक मदद के साथ ही महिलाओं को प्रशिक्षण दिलाने का भी काम किया है।
रोज, लेमन और नीम फ्लेवर के लगभग हर महीने 100 किलो से अधिक साबुन तैयार करती हैं, जिनसे 1100 से अधिक पीस तैयार होते हैं। तैयार साबुन की बिक्री मऊरानीपुर क्षेत्र में ही की जाती है। महिलाओं का कहना है कि वे जितना भी साबुन तैयार करती हैं, उन सबकी बिक्री हो जाती है और अब उत्पादन बढ़ाने की तैयारी भी चल रही है।
गुणवत्ता को और बेहतर करने का प्रयास
शबीना बानो ने बताया कि साबुन बनाने के लिए जरूरी सामग्री कानपुर और भोपाल से मंगाया जाता है। कोशिश की जा रही है कि पैकेजिंग की गुणवत्ता को बेहतर करके इसे ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफार्म के माध्यम से बेचा जाए। इसके लिए आजीविका मिशन तकनीकी मदद उपलब्ध करा रहा है। झांसी के उपायुक्त उद्योग अजय कुमार ने बताया कि समूह की सदस्यों को आर्थिक मदद और प्रशिक्षण देकर उनके काम को शुरू कराया गया है। समूह की महिलाओं के बनाए साबुन ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफार्म पर बिक्री के लिए उपलब्ध हो सकें, इस बात के प्रयास किए जा रहे हैं।