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Gorakhpur News: कोरोना काल में गर्भनिरोधक की 'छाया' में गोरखपुर, इस्तेमाल करने में नौवां स्थान
गोरखपुर जिला कोरोना काल में कंडोम के इस्तेमाल में तो अव्वल है ही गर्भनिरोधक गोली छाया का उपयोग करने भी आगे हैं।
Gorakhpur News: उत्तर प्रदेश का गोरखपुर जिला कोरोना काल में कंडोम के इस्तेमाल में तो अव्वल है ही गर्भनिरोधक गोली छाया का उपयोग करने भी आगे हैं। प्रदेश में गोली इस्तेमाल करने के मामले में गोरखपुर को नौंवा स्थान मिला है। छाया गोली परिवार नियोजन के साथ ही महिलाओं को एनीमिया से भी बचाती है।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के जिला कार्यक्रम प्रबंधक पंकज आनंद ने बताया कि जनपद में छाया गोली के प्रति दम्पत्ति का रूझान बढ़ा है। इस साल कोविड काल में 11 से 31 जुलाई के बीच चले विश्व जनसंख्या स्थिरता पखवाड़े के दौरान 15997 छाया गोली वितरित की गयी। प्रदेश में पखवाड़े के दौरान छाया गोली के इस्तेमाल के मामले में जिले को नौवां स्थान प्राप्त हुआ है। महिलाएं जब तक गर्भधारण न करना चाहें तब तक इसका इसका इस्तेमाल कर सकती हैं। इस गोली का शरीर पर किसी भी प्रकार का प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ता है।
चिकित्सक डॉ.स्वाति त्रिपाठी का कहना है कि न्यू कंट्रासेप्टिव साप्ताहिक गोली छाया न केवल परिवार नियोजन का साधन है, बल्कि एनीमिया के प्रबंधन में भी कारगर है। जिले में परिवार नियोजन सेवाओं से संबंधित जिला स्तरीय प्रशिक्षक डॉ. स्वाति बताती हैं कि साप्ताहिक गोली छाया का महिलाएं तब तक सेवन कर सकती हैं, जब तक वह गर्भधारण न करना चाहें। इस गोली का शरीर पर किसी भी प्रकार का प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ता है। इस टैबलेट की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि छाया नान स्टीराइडल और नान हार्मोनल गर्भनिरोधक है। अतः इसका सेवन वे सभी महिलाएं कर सकती हैं जो किन्हीं कारणों से हार्मोनल गर्भनिरोधक गोलियां नहीं ले सकतीं।
गोली लेने से पहले चिकित्सकीय जांच जरूरी
डॉ. त्रिपाठी का कहना है कि छाया गोली का इस्तेमाल नवविवाहित दम्पत्ति, महिलाएं जिनका हाल ही में प्रसव हुआ हो और वह महिलाएं जो दो बच्चों के बीच अंतर रखना चाहती हैं, कर सकती हैं। छाया गोली के सेवन से महिलाओं को माहवारी के दौरान खून कम निकलता है जिससे उनमें एनीमिया की रोकथाम में काफी मदद मिलती है। इसका सेवन स्तनपान कराने वाली महिलाएं भी प्रसव के तुरंत बाद कर सकती हैं। यह गोली शुरू के तीन महीने तक सप्ताह में दो बार, जबकि चौथे महीने से सप्ताह में एक बार खानी है। इस गोली को शुरू करने से पहले महिला की चिकित्सकीय जांच आवश्यक होती है।
उन्होंने बताया कि छाया गोली माहवारी शुरू होने के पहले दिन से, प्रसव के तुरंत बाद से और गर्भपात के तुरंत बाद या फिर सात दिन के अंदर चिकित्सकीय जांच के बाद शुरू कर सकते हैं। यह गोली सभी आशा कार्यकर्ता और एएनएम के पास उपलब्ध रहती है। छाया गोली खाने से कुछ माह तक मासिक अनियमित हो सकता है, लेकिन गोली के नियमित सेवन से यह ठीक हो जाता है।