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Gorakhpur News Today: गोरखपुर को मेट्रोपोलिटन सिटी का दर्जा, चुनावी दांव या बदला है कुछ? जानें जमीनी हकीकत

Gorakhpur News Today: खाद कारखाना, एम्स, लाइट मेट्रो, लिंक एक्सप्रेस-वे की बुनियाद पर मेट्रोपोलिटन सिटी का दर्जा गोरखपुर की सूरत ही नहीं, सीरत भी बदलने वाली है।

Purnima Srivastava
Report Purnima SrivastavaPublished By Chitra Singh
Published on: 20 Nov 2021 9:44 AM IST (Updated on: 20 Nov 2021 10:04 AM IST)
gorakhpur metropolitan city
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गोरखपुर मेट्रोपॉलिटन सिटी (डिजाइन फोटो- सोशल मीडिया)

Gorakhpur News Today: योगी कैबिनेट द्वारा गोरखपुर को मेट्रोपोलिटन सिटी (Metropolitan City) बनाने के प्रस्ताव पर मुहर ऐसे समय लगी है, जब विधानसभा चुनाव को चंद महीने ही बचे हैं। यही नहीं सरकार का पूरा फोकस पूर्वांचल पर ही है। मेट्रोपोलिटन सिटी के प्रस्ताव को मंजूरी से गोरखपुर में लाइट मेट्रो (Light Metro) को चलाने का रास्ता भी साफ हो गया है। हालांकि जिस तेजी से गोरखपुर में नगरीय सुविधाओं से लेकर औद्योगिक तक का विकास हो रहा है, उससे साफ है कि सीएम सिटी मेट्रोपोलिटन सिटी बनने की पूरी अर्हता रखता है।

खाद कारखाना (Fertilizer Factory Gorakhpur), एम्स (AIIMS), लाइट मेट्रो, लिंक एक्सप्रेस-वे (Link Expressway Gorakhpur latest news) की बुनियाद पर मेट्रोपोलिटन सिटी का दर्जा गोरखपुर (gorakhpur metropolitan city) की सूरत ही नहीं सीरत भी बदलने वाली है। गोरखपुर के चारों तरफ फोरलेन का जाल बिछ चुका है, या फिर निर्माण कार्य अंतिम चरण है। गोरखपुर विकास प्राधिकरण से लेकर नगर निगम के कदमों से जिस तेजी से शहर का विस्तार हो रहा है, उससे भविष्य के गोरखपुर की सुनहरी तस्वीर नजर आती है। नगर निगम ने 32 गांवों को अपनी सीमा में शामिल कर लिया है। इन गांवों के विकास के लिए 200 करोड़ के प्रोजेक्ट को भी मंजूरी मिल चुकी है। नगर निगम के साथ ही गोरखपुर विकास प्राधिकरण को भी निर्माण कार्य को लेकर जिम्मेदारी मिली है।

मुख्यमंत्री की पहली बैठक में बढ़े थे मेट्रोपोलिटन सिटी की ओर कदम

मुख्यमंत्री बनने के बाद योगी ने वर्ष 2017 में जब जीडीए सभागार में पहली बैठक की थी, तभी मेट्रोपोलिटन सिटी का खाका अफसरों के सामने खींच दिया था। एक के एक बाद योजनाओं का हकीकत में बदला जाना इसी दूरदृष्टि का नतीजा है। प्राणि उद्यान चालू है। एम्स और खाद कारखाने का लोकार्पण 7 से 9 दिसम्बर के बीच कभी भी पीएम नरेन्द्र मोदी (Narendra Modi) के हाथों हो जाएगा। बीते कुछ वर्षों में कौवाबाग अंडर पास, नंदानगर अंडर पास से लेकर बीआरडी मेडिकल कॉलेज में इंसेफेलाइटिस मरीजों के लिए 500 बेड के अस्पताल का लोकार्पण हुआ है।

गोरखपुर (फाइल फोटो- न्यूज ट्रैक)

चार फाइव स्टार होटलों वाला शहर होगा गोरखपुर

कुशीनगर में इंटरनेशनल एयरपोर्ट (Kushinagar International Airport) के साथ गोरखपुर में सैलानियों की आमद की उम्मीद में कारोबारियों ने कवायद शुरू कर दी है। रामगढ़झील इलाके में जल्द ही तीन फाइव स्टार होटल वजूद में आ जाएंगे। मोहद्दीपुर में रेडिसन ब्लू पहले से ही वजूद में आ चुका है। सर्किट हाउस से बुद्ध प्रवेश द्वार की ओर से क्रम से मैरियट, ताज एवं हालिडे इन ग्रुप के होटल खोलने की तैयारी है। मैरियट होटल का काम अंतिम चरण में है। वहीं दो अन्य होटलों को लेकर भी कवायद शुरू हो चुकी है। रामगढ़ताल क्षेत्र में ऐश्प्रा समूह की ओर से बनाए जा रहे भवन में मैरियट ग्रुप का होटल खुलेगा। चंपा देवी पार्क के पास होटल के लिए चिह्नित जमीन पर तकनीकी दिक्कत को दूर कर लिया गया है। बिल्डर शोभित दास का कहना है कि यहां ताज ग्रुप का होटल खोला जाएगा।


बिछ गया फोरलेन का संजाल

सोनौली से गोरखपुर में प्रवेश के लिए फोरलेन का काम अंतिम चरण में है। गोरखनाथ मंदिर के पास ट्रैफिक जाम की समस्या हमेशा के लिए खत्म हो चुकी है। इसके लिए खुद मुख्यमंत्री ने मंदिर की दुकानों पर बुलडोजर चलवा दिया। वहीं जेल बाईपास के लिए 200 करोड़ रुपये मंजूर हो गए। फोरलेन का 50 फीसदी काम पूरा हो चुका है। असुरन से मेडिकल होते हुए महराजगंज और मोहद्दीपुर से देवरिया तक फोरलेन का निर्माण भी अंतिम चरण में है। गोरखपुर-वाराणसी फोरलेन का काम भी तेजी से चल रहे हैं। गोरखपुर रिंग रोड के लिए जंगल कौड़िया से जगदीश पुर फोरलेन का बनना शेष है। इसकी डीपीआर को मंजूरी मिल गई है। इसके बनने से करीब 58 किमी का रिंग रोड तैयार हो जाएगा।

नगर निगम और जीडीए भी मेट्रोपोलिटन सिटी के लिए सक्रिय हुए

मेट्रोपोलिटन शहर को लेकर नगर निगम, जलनिगम से लेकर आवास विकास अपनी कार्यशैली को बदलने को तैयार दिख रहे हैं।जीडीए जहां 46 अवैध कालोनियों को महायोजना 2031 के माध्यम से वैध करने को लेकर कवायद में जुटा है तो नगर निगम ने स्वच्छ सर्वेक्षण-2020 की रैकिंग में लंबी छलांग लगाई है। पिछली बार 10 लाख से कम आबादी वाले शहरों में गोरखपुर नगर निगम को 226वीं रैंक मिली थी। इस बार 144 रैंक की छलांग लगाते हुए 82वीं रैंक हासिल की है। सालिड वेस्ट मैनेजमेंट के लिए सहजनवा क्षेत्र में जमीन की तलाश पूरी हो गई है। जीडीए को योजनाओं का विस्तार करना होगा। जीडीए जगदीशपुर इलाके में नया गोरखपुर बनाने को तैयार है।



Chitra Singh

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