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Kaushambi Crime News: राशन कार्ड का खेल, पात्र कार्ड धारकों को निरस्त कर कोटेदार कर रहे कालाबाजारी

कौशांबी जनपद में राशन वितरण की व्यवस्था पर पूर्ति निरीक्षक और कोटेदारों की सांठगांठ से राशन माफिया पूरी तरह से हावी हैं और पात्र कार्ड धारकों को निरस्त कर राशन कालाबाजारी हो रही है।

Ansh Mishra
Report Ansh MishraPublished By Shashi kant gautam
Published on: 25 July 2021 8:32 AM IST (Updated on: 9 Aug 2021 3:59 PM IST)
inspectors and the Kotedars and black marketing of ration is taking place by canceling the eligible card holders.
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Black marketing of ration card

Kaushambi Crime News: उत्तर प्रदेश के कौशांबी जनपद में राशन वितरण की व्यवस्था पर पूर्ति निरीक्षक और कोटेदारों की सांठगांठ से राशन माफिया पूरी तरह से हावी हैं। जिससे गरीबों को राशन नहीं मिल पाता। तमाम तरह के आंकड़े बाजी के खेल में जरूरतमंद गरीब राशन पाने से वंचित रह जाते हैं। राशन पाने के लिए वह कोटेदार से लेकर पूर्ति कार्यालय तक का चक्कर लगाते रहते लेकिन फिर भी गरीबों की समस्याओं का समाधान नहीं हो पाता। इसी तरह का एक मामला करारी कस्बे का सामने आया है।

करारी कस्बे की रहने वाली आशा देवी पत्नी विद्या प्रकाश बेहद गरीब परिवार से जुड़ी हैं। आशा के पति सड़क पर चाट की ठेलिया लगाकर वह परिवार का जीविकोपार्जन करते हैं। कोरोना काल में सरकार ने व्यापार और बाजार बंद करा दिया जिससे उनके ठेलिया का व्यापार भी बंद हो गया और उनके सामने तो दो जून की रोटी की समस्या उत्पन्न हो गई। गरीब का राशन कार्ड नम्बर-117440029236 बना था जिस पर राशन देने से कोटेदार सतीश ने इंकार कर दिया। उसे सलाह दिया कि वह फिर से ऑनलाइन राशन कार्ड का आवेदन कर दें जिस पर गरीब ने कोटेदार की बात मान कर राशन कार्ड का ऑनलाइन फिर से आवेदन कर दिया जो विभाग में 117440035350 पर कोटेदार धनश्याम की दुकान पर दर्ज है।

कालाबाजारी में लिप्त कोटेदार

विभागीय लोगों का कहना है कि विभाग में ऑनलाइन आवेदन के बाद भी गरीब को दोबारा राशन कार्ड नहीं जारी किया गया। पहले राशन कार्ड को विभाग द्वारा निरस्त कर दिया गया, जिससे गरीब को बीते 7 महीने से राशन नहीं मिल पाया। सरकारी राशन पाने के लिए गरीब कोटेदार से लेकर जिला अधिकारी की चौखट तक फरियाद कर चुका है। लेकिन कालाबाजारी में लिप्त कोटेदारों और माफियाओं की गुलामी करने वाले पूर्ति निरीक्षक ने गरीब के राशन कार्ड को बहाल कर उसे राशन देने की व्यवस्था नहीं शुरू की है। जिससे जिला पूर्ति कार्यालय के पूर्ति निरीक्षकों के भ्रष्टाचार में लिप्त होने का अंदाजा लगाया जा सकता है।

गरीब के राशन कार्ड को गलत तरीके से निरस्त किया गया

इस मामले पर जब जिला पूर्ति अधिकारी से बात की गई तो उन्होंने कहा कि आज वह बाहर हैं और सोमवार को इस मामले का निस्तारण कराएंगे अब सवाल उठता है कि जरूरतमंद व गरीब के राशन कार्ड को गलत तरीके से निरस्त कर दिया गया है। जरूरतमंद पात्र व्यक्तियों के राशन कार्ड पर गलत रिपोर्ट लगाकर निरस्त करने वाले पूर्ति निरीक्षक को जिला पूर्ति अधिकारी और कोटेदार को क्या दंड देंगे।



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Shashi kant gautam

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