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कोरोना मरीजों को मिलेगी राहत, रेलवे अब अपने अस्पतालों में लगाएगा ऑक्सीजन प्लांट

ऑक्सीजन के लिए परेशान मरीजों के लिए अब रेलवे ऑक्सीजन प्लांट लगाएगा। इसके लिए देशभर के 17 रेलवे जोन में बने केंद्रीय अस्पतालों को चिन्हित किया गया है।

B.K Kushwaha
Reporter B.K KushwahaPublished By Monika
Published on: 9 May 2021 6:20 AM GMT
Railways are building oxygen plants in there hospital
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रेलवे बना रहे ऑक्सीजन प्लांट (फोटो: सोशल मीडिया 

झांसी: ऑक्सीजन (Oxygen) के लिए परेशान मरीजों (Corona Patients) के लिए अब रेलवे (Railway) ऑक्सीजन प्लांट (Oxygen plant) लगाएगा। इसके लिए देशभर के 17 रेलवे जोन में बने केंद्रीय अस्पतालों (Central hospitals) को चिन्हित किया गया है। रेलवे बोर्ड ने यहां पर ऑक्सीजन प्लांट लगाने के लिए सभी महाप्रबंधकों को निर्देश देते हुए तत्काल प्लांट खोलने को कहा है। इतना ही नहीं, उन्हें प्लांट खोलने से जुड़े अधिकार भी सौंप दिए हैं, जो अभी तक रेलवे बोर्ड के पास थे।

बताते हैं कि देशभर में रेलवे के लगभग 17 केंद्रीय अस्पताल हैं, जिनमें न सिर्फ रेलवे कर्मचारी और उनके परिजनों का कोरोना संक्रमण का इलाज चल रहा है, बल्कि आम लोगों का भी इलाज यहां किया जा रहा है।

उत्तर मध्य रेलवे झांसी मंडल में मंडलीय रेलवे चिकित्सालय है, जहां रेलवे खुद का ऑक्सीजन प्लांट लगाने जा रही है, जिसके लिए झांसी रेल मंडल के अधिकारियों ने अस्पताल के लिए जगह तय कर प्लांट लगाने की प्रक्रिया शुरु कर दी है। इस अस्पताल में झांसी रेल मंडल के कर्मचारी इलाज करा रहे हैं। अस्पताल को एक दिन में 140 सिलेंडर ऑक्सीजन लगती है, जिसके लिए अभी वह दूसरे ऑक्सीजन प्लांट पर निर्भर है, लेकिन मई अंत तक प्लांट तैयार कर अस्पताल को सप्लाई देना शुरु कर देगा।

पहले खुद, फिर देगा दूसरों का

देशभर के 17 रेलवे जोन में कम से कम दो ऑक्सीजन प्लांट खोले जा रहे हैं। इन्हें जल्द से जल्द इन प्लांट की शुरु करने के लिए रेलवे जोन के महाप्रबंधकों को इस मद में खर्च की सीमा को 50 लाख रुपये बढ़ाकर दो करोड़ कर दी है। सूत्र बताते हैं कि मंडलीय अस्पताल में ही लगभग 80 से 90 लाख रुपये ऑक्सीजन प्लांट बनाने पर खर्च होगा। इस प्लांट की मदद से एक मिनट में 440 ऑक्सीजन बनाई जाएगी।

16 हजार कर्मचारियों के लिए

झांसी रेल मंडल में 16 हजार रेल कर्मचारी अधिकारी है। मौजूद हालात में झांसी मंडल में सैकड़ों रेल कर्मचारी कोरोना संक्रमण की चपेट में आ चुके हैं और इससे ज्यादा उनके परिजन संक्रमित हैं जिनका रेलवे अस्पताल व अन्य स्थानों पर इलाज चल रहा है, लेकिन ऑक्सीजन की कमी होने से पहले ही रेलवे ने खुद का प्लांट खोलने का कदम उठा लिया है।

यह कदम उठाया

-प्लांट खोलने के लिए सभी अधिकारी बोर्ड ने महाप्रबंधक को दिए

- अब मशीनों को खरीदा जाना है, लेकिन लॉकडाउन से दिक्कत आ रही

- मई तक प्लांट खोलने के लिए जेम्स में मशीने नहीं मिल रही, इसलिए बाजार से ही खरीदा जा रहा है

- प्लांट बनाने के बाद रेलवे इन्हें चलाने के लिए निजी हाथों में देगा

संदीप माथुर, मंडल रेल प्रबंधक झांसी मंडल (फोटो: सोशल मीडिया )

मंडल रेल प्रबंधक झांसी मंडल के संदीप माथुर का कहना है कि झांसी रेल मंडल के मंडलीय चिकित्सालय में रेलवे अपना खुद का आक्सीजन प्लांट खोलने जा रहा है। इसके लिए कार्य योजना तैयार की गई है। इसी योजना के तहत प्लांट पर काम शुरु किया जाएगा। प्लांट लगने से हमें दूसरों पर निर्भर नहीं होना होगा।

विद्युत लोको शेड,झांसी में रेलवे हास्पिटल में आक्सीजन सिलेंडर में लगने वाले जरूरी उपकरणों की साफ-सफाई करते हुए उन्हें काम लायक बना दिया गया। सीनियर इलेक्ट्रिकल इंजीनियर मयंक शांडिल्य के नेतृत्व में सुपरवाइजर सत्य प्रकाश मिश्रा, अमान सिद्दिकी, राजकपूर, जितेन्द्र खरे एवं अन्य लोगों की टीम ने बिना रुके आपातकालीन परिस्थिति में इन उपकरणों को ठीक किया और इन्हें रेल्वे हॉस्पिटल भिजवा दिया।

Monika

Monika

Content Writer

पत्रकारिता के क्षेत्र में मुझे 4 सालों का अनुभव हैं. जिसमें मैंने मनोरंजन, लाइफस्टाइल से लेकर नेशनल और इंटरनेशनल ख़बरें लिखी. साथ ही साथ वायस ओवर का भी काम किया. मैंने बीए जर्नलिज्म के बाद MJMC किया है

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