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Sambhal Hinsa : हिंसा में चार की मौत, कमिश्नर बोले - पुलिस ने नहीं चलाई गोली, फैलाया जा रहा भ्रम
Sambhal Hinsa : संभल में जामा मस्जिद के बाहर हिंसा को लेकर मस्जिद के इमाम जफर ने सोमवार को पत्रकारों से बातचीत की। उन्होंने हिंसा के लिए प्रशासन को जिम्मेदार ठहराया। वहीं, प्रशासन ने उनके बयानों को भ्रामक करार दिया है।
Sambhal Hinsa : उत्तर प्रदेश के संभल में रविवार को हुई हिंसा के दौरान चार लोगों की मौत हो गई और कई पुलिसकर्मी भी घायल हुए। हिंसा को लेकर मंडलायुक्त आंजनेय कुमार ने कहा कि पुलिस ने गोली नहीं चलाई है, ये मौतें देशी तमंचे की गोली से हुई हैं। उन्होंने कहा कि इन सभी मौतों की मजिस्ट्रेटी जांच होगी। उन्होंने कहा कि भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने लाठी चार्ज किया और आंसू गैस के गोले छोड़े थे। बता दें कि संभल प्रशासन ने हिंसा के बाद अफवाहों पर रोक लगाने के लिए इंटरनेट बंद कर दिया है। इसके साथ ही स्कूलों को भी बंद करने का आदेश जारी किया गया है।
संभल में जामा मस्जिद के बाहर हिंसा को लेकर मस्जिद के इमाम जफर ने सोमवार को पत्रकारों से बातचीत की। उन्होंने हिंसा के लिए प्रशासन को जिम्मेदार ठहराया। वहीं, प्रशासन ने उनके बयानों को भ्रामक करार दिया है। मुरादाबाद के कमिश्नर आंजनेय कुमार सिंह ने कहा कि उपद्रवियों ने हंगामें के दौरान फायरिंग की है, एक गोली पुलिस अधिकारी के पैर में भी लगी है। पुलिस ने भीड़ को नियंत्रित करने के लिए लाठीचार्ज किया और आंसू गैस के गोले छोड़े हैं। हिंसा के दौरान 15 से 20 पुलिसकर्मी भी घायल हो गए हैं। उन्होंने कहा कि एक पुलिस कांस्टेबल के सिर में चोट आई और डिप्टी कलेक्टर का पैर फ्रैक्चर हो गया।
उन्होंने कहा कि हिंसा तब शुरू हुई, जब सर्वेक्षण टीम सर्वे पूरा करने के बाद वापस जा रही थी। उन्होंने कहा कि इस दौरान तीनों ओर से भीड़ एकत्र हो गई और पत्थरबाजी करने लगे। पुलिस ने सर्वेक्षण टीम को सुरक्षित बाहर निकालने के लिए हल्का बल प्रयोग किया और आंसू गैस के गोले दागे। इसके साथ ही प्लास्टिक की गोलियों का इस्तेमाल किया गया है।
वहीं, पुलिस अधीक्षक (एसपी) कृष्ण कुमार ने उन रिपोर्टों का खंडन किया कि पुलिस ने भीड़ पर गोली चलाई। उन्होंने कहा कि गैर-घातक पेलेट गन का इस्तेमाल किया गया था। उन्होंने कहा कि पुलिस ने किसी भी ऐसे हथियार का इस्तेमाल नहीं किया गया, जिससे किसी की जान जा सके। उन्होंने कहा कि पुलिस ने 21 लोगों को हिरासत में लिया है। उनके पास के हथियार भी बरामद हुए है। उन्होंने कहा कि दो महिलाओं को भी हिरासत में लिया है, जिनके घर से गोलीबारी हुई थी। उन्होंने कहा कि हिंसा में शामिल लोगों पर राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (एनएसए) के तहत मामला दर्ज किया जाएगा, मरने वालों की पहचान कर ली गई है।
वहीं, जिला मजिस्ट्रेट राजेंद्र पेंसिया ने कहा कि हिंसा के दौरान जो लोग मारे गए हैं, उनमें से दो की मौत का कारण स्पष्ट हो चुका है। उनकी मौत देशी तमंचे की गोली लगने से हुई है। अन्य की मौतों का कारण पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के बाद सामने आएगा।