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इस स्कूटर को बना दिया कार, एलईडी- कैमरा और नाश्ते पानी की व्यस्था भी है इसमें
क्या आपने कभी ऐसा स्कूटर देखा जिसमे वो सारी सुविधाएं उपलब्ध हो जो एक लग्जरी कार में होती है। इतना ही नहीं इस स्कूटर में कैमरा भी लगा है। जिसको स्कूटर में लगी एक एलईडी से कनेक्ट किया गया है। स्कूटर चलाने के बाद पीछे की गाड़ियों को एलईडी पर देखा जा सके।
शाहजहांपुर: क्या आपने कभी ऐसा स्कूटर देखा जिसमे वो सारी सुविधाएं उपलब्ध हो जो एक लग्जरी कार में होती है। इतना ही नहीं इस स्कूटर में कैमरा भी लगा है। जिसको स्कूटर में लगी एक एलईडी से कनेक्ट किया गया है। स्कूटर चलाने के बाद पीछे की गाड़ियों को एलईडी पर देखा जा सके। इसके अलावा स्कूटर में दो पानी की टोटी भी लगाई गई है। जिसमें एक टोटी से गर्म पानी और दूसरी से ठंडा पानी निकलता है। साथ ही स्कूटर में नाश्ते के लिए दो डिब्बे लगाए गए है जिसमें हर वक्त नमकीन बिस्कुट रखा रहता है। स्कूटर को कार का रूप देने वाला कोई और नहीं बल्कि राष्ट्रपति के चुनाव से लेकर एमपी एमएलए समेत 18 चुनाव लड़ने वाले शख्स ने बनाया है। स्कूटर जब रोड पर निकलता है तो लोग उसको निहारते रहते है और तारीफ करते नहीं थकते।
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दरअसल इस स्कूटर के मालिक है वैधराज किशन। वैधराज किशन एक वैध है। और देसी नुस्खों से लोगों का इलाज करते है। वैधराज किशन ने इस स्कूटर को तीस साल पहले खरीदा था। उस वक्त इसकी कीमत करीब 37 हजार रुपये थी। अब ऐसे स्कूटर तो लोग खरीदना नहीं पसंद करते है। लेकिन वैधराज किशन ने स्कूटर को और कीमती बना दिया है। वैधराज किशन अक्सर दिल्ली, मेरठ और कानपुर जाते रहते है। लेकिन उनके पास कार नहीं है। यही वजह है कि उन्होंने स्कूटर को ही कार का रूप दे दिया। और कार मे जितनी सुविधाएं होती हैं। वह सभी सुविधाएं उन्होंने स्कूटर में तलाश ली।
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उन्होंने स्कूटर के पीछे साईड मे एक कैमरा लगवाया है। और स्कूटर के हैंडिल पर एक एलईडी लगवाई है। पीछे से आने वाली गाड़ी कैमरे के जरिए एलईडी पर दिखाई देती है। स्कूटर पर लगे कैमरे का सहारा वह तब लेते है जब वह कहीं हाईवे पर सफर करते है। जब वह सिटी में स्कूटर से निकलते है तब वह इस एलईडी पर गाने सुनते है और देखते भी है। लंबा सफर स्कूटर से तय करने की वजह से उन्होंने स्कूटर में पानी की दो टोटियां लगवाई है। एक से ठंडा पानी आता है तो दूसरी से गर्म पानी निकलता है। करीब 10 लीटर ठंडा पानी और दो लीटर गर्म पानी हर वक्त स्कूटर में रहता है। इसके अलावा स्कूटर मे वैधराज किशन ने नाश्ते के लिए दो डिब्बे भी लगाए है। जिसमें हर समय नमकीन और बिस्कुट रहता है। ये सारी सुविधाएं एक कार में नहीं बल्कि एक स्कूटर में है। यही कारण है कि जब वैधराज किशन स्कूटर से शहर में निकलते है तो हर कोई उनके स्कूटर को निहारता रहता है।
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वैधराज किशन के मुताबिक तीस साल पहले स्कूटर को खरीदने के बाद इसके कई बार पेंट करा चुके है। इस स्कूटर से वह हजारो किलोमीटर का सफर कर चुके है। तीस साल पहले 37 हजार का स्कूटर खरीदा था। लेकिन कार जैसी सुविधाए कराने में 75 हजार रूपए से ज्यादा लग चुके हैं।।। वह इससे गाजियाबाद तक स्कूटर से जाते है उसके बाद स्कूटर वहां खड़ा कर देते हैं और उसके बाद दिल्ली में वह दूसरी सवारियों का सहारा लेते है। मेरठ लखनऊ और कानपुर भी वह इसी स्कूटर से जाते है। कार न होने के कारण हमने स्कूटर को कार जैसा बनाया है। इससे मेरी पत्नी गीता देवी 21 साल का बेटा रजत और 17 साल बेटा गौरव भी बेहद खुश है। वैधराज किशन अपने स्कूटर की वजह से आज पूरे शहर में मशहूर हो गए है।
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वैधराज किशन की एक खासियत और है। उन्होंने 1974 से चुनाव लड़ना शुरू किया। राष्ट्रपति चुनाव से लेकर छोटे बङे 18 चुनाव लड़ चुके है। लेकिन एक बार भी वह जीत नहीं पाए। दो बार उनकी पत्नी भी नगरपालिका का चुनाव लड़ चुकीं है। लेकिन उनकी भी हार हुई। वैधराज किशन एक बार राष्ट्रपति का चुनाव लड़े है। तीन लोकसभा चुनाव लड़ चुके है। एक एमएलसी का चुनाव लड़े। एक एमएलए का चुनाव लड़े। तीन बार नगरपालिका के चेयरमैन का चुनाव लड़ा और 9 बार सभासद का भी चुनाव लड़े चुके है। लेकिन जीते एक बार भी नहीं। जबकि 2014 मे वैद्यराज किशन ने लोकदल पार्टी से लोकसभा का चुनाव लड़ा था। जिसमे उनकों 7000 हजार वोट मिले थे। लेकिन अब आने वाले लोकसभा चुनाव में वह फिर से चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं।
खास बात ये है कि वह चुनाव मे जीतने का प्रचार प्रसार भी स्कूटर से ही करते है। और जब चुनाव लड़ने से पहले वह पर्चा दाखिल करने जाते है तो उनका हर बार एक अलग अंदाज होता है। कभी वह अर्थी पर बैठकर जाते है तो कभी वह गधे पर बैठकर जाते है। फिलहाल वैधराज किशन चुनाव जीत पाए या नहीं लेकिन शहर की जनता उन्हें स्कूटर की वजह से खूब पहचानती है।